IIM से लीडरशिप ट्रेनिंग लेंगे दिल्ली के स्कूल प्रिंसिपल
सिसोदिया ने कहा कि इस कार्यक्रम के तहत 700 स्कूलों के प्राचार्यो को प्रशिक्षण मिल चुका है, शिक्षाविदों से लेकर प्रशासन तक और योजना बनाने से लेकर निर्णय लेने तक मैं चाहता हूं कि स्कूल विकेंद्रीकृत स्वायत्त संस्थान बनें और शिक्षा का दायित्व संभालें...
नई दिल्ली। आईआईएम अहमदाबाद दिल्ली सरकार के 50 स्कूलों के प्राचार्यो को नेतृत्व और सशक्तीकरण प्रशिक्षण देगा। इसके लिए आईआईएम अहमदाबाद के साथ एससीईआरटी दिल्ली ने समझौता किया है। इसके तहत विगत चार साल से प्राचार्यो को प्रशिक्षण मिल रहा है। प्राचार्य प्रशिक्षण कार्यक्रम का उद्देश्य नेतृत्व दक्षता का निर्माण, उन्हें सशक्त बनाने और अपने स्कूल के प्रति जवाबदेही पैदा करना है।
दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने सोमवार को वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से प्रिंसिपल ट्रेनिंग प्रोग्राम के नए बैच के पहले सत्र को संबोधित किया। उन्होंने कहा, 'चार साल पहले जब हमने यह प्रशिक्षण प्रारंभ किया था, तब प्राचार्यो को स्कूल स्तर पर स्वायत्त निर्णय लेने का अधिकार दिया गया। उन्हें एसएमसी फंड का प्रभारी बनाया गया ताकि स्थानीय जवाबदेही बने। अब आईआईएम अहमदाबाद से अनुरोध है कि हमारे स्कूलों के प्राचार्यो को और सशक्त बनाने में हमारी मदद करें।'
सिसोदिया ने प्रशिक्षण कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा, 'इस कार्यक्रम के तहत 700 स्कूलों के प्राचार्यो को प्रशिक्षण मिल चुका है। शिक्षाविदों से लेकर प्रशासन तक और योजना बनाने से लेकर निर्णय लेने तक मैं चाहता हूं कि स्कूल विकेंद्रीकृत स्वायत्त संस्थान बनें और शिक्षा का दायित्व संभालें।'
दिल्ली सरकार के मुताबिक स्कूलों के प्राचार्यो के लिए यह महत्वपूर्ण है कि वे अपने स्कूलों का पूरा दायित्व लें। दिल्ली सरकार अपने स्कूलों को विकेंद्रीकृत स्वायत्त संस्थाओं के रूप में देखना चाहती है।
मनीष सिसोदिया ने कहा कि प्राचार्य ही स्कूल चलाते हैं। मंत्री और अधिकारी सिर्फ फैसिलिटेटर हैं। स्कूल प्राचार्यो का दायित्व है कि स्कूलों के सुचारू संचालन पर ध्यान दें और उनके सुधार की दिशा में काम करें। स्कूल चलाना प्रत्येक स्कूल के प्रिंसिपल की जिम्मेदारी है जो पूरे स्कूल की व्यवस्था के लिए केंद्रीय भूमिका निभाते हैं।
मनीष सिसोदिया ने कोरोना महामारी के दौरान यह प्रशिक्षण कार्यक्रम संचालित करने के लिए आईआईएम अहमदाबाद को धन्यवाद दिया। अनिश्चितता के इस दौर में जब स्कूल बंद हैं और नियमित कक्षाएं नहीं हो रही हैं, ऑनलाइन लर्निग का महत्व बढ़ जाता है। सिसोदिया ने कहा, 'ऑनलाइन शिक्षण कोई सम्पूर्ण समाधान नहीं हो सकता है, लेकिन यह आज की जरूरत है। सिसोदिया ने सभी स्कूल प्रिंसिपलों से इसके लिए पूरी तरह से प्रतिबद्ध होने का अनुरोध किया।'
इस दौरान आईआईएम अहमदाबाद की निहारिका वोहरा ने स्कूल प्रिंसिपल की भूमिका पर प्रकाश डाला। राजीव शर्मा ने नवाचारों के लिए समाज और स्कूल की भूमिका पर चर्चा की।