Medical education : आज से हिंदी में MBBS की पढ़ाई, ऐसा करने वाला MP बना देश का पहला राज्य
MBBS in Hindi from Madhya Pradesh : एमपी सरकार हिंदी में पेशेवर शिक्षा के दायरे को बढ़ाने के लिए प्रतिबद्ध है। आने वाले दिनों में मेडिकल के साथ इंजीनियरिंग, पॉलीटेक्निक, नर्सिंग और पैरामेडिकल शिक्षा भी हिंदी में उपलब्ध कराई जाएगी।
MBBS in Hindi from Madhya Pradesh : सामान्यतौर पर हिंदी पृष्ठभूमि वाले छात्रों को अंग्रेजी बहुत परेशान करती है। अब ऐसे छात्रों को निराश होने की जरूरत नहीं है। ऐसा इसलिए कि आज मध्य प्रदेश ( Madhya pradesh ) देश का ऐसा पहला राज्य बनने जा रहा है जहां मेडिकल की पढ़ाई अब हिंदी ( Medical education in hindi ) में की जा सकेगी।
एनॉटामी, फिजियोलॉजी और बायोक्रेमेस्ट्री की पुस्तकें हिंदी में पाठ्यक्रम तैयार हो चुकी हैं। रविवार यानि 16 अक्टूबर को लाल परेड ग्राउंड में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ( Amit shah ) और राज्य के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ( Shivraj Singh Chauhan ) हिंदी में एमबीबीएस कोर्स (MBBS course in Hindi) की शुरुआत इन किताबों का विमोचन कर करेंगे। इसी के साथ मध्य प्रदेश के खाते में एक और बड़ी उपलब्धि जुड़ जाएगी। हिंदी में पाठ्यक्रम तैयार करने के लिए गांधी मेडिकल कॉलेज भोपाल में हिंदी वाररूम "मंदार" तैयार किया गया है। बता दें कि नई शिक्षा नीति में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मातृभाषा पर जोर दे रहे हैं। इसी कड़ी में मध्य प्रदेश में एमबीबीएस के हिंदी पाठ्यक्रम की शुरुआत की जा रही है।
एक दिन पहले हिंदी की व्यापकता एक विमर्श कार्यक्रम के दौरान शिवराज सिंह ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का संकल्प है कि मेडिकल ( Medical ) और इंजीनियरिंग ( Engineering ) की पढ़ाई मातृ-भाषा में होनी चाहिए। उनके इस संकल्प को पूरा करने के लिए प्रदेश में मेडिकल की पढ़ाई हिंदी ( MBBS education in hindi ) में कराने का निर्णय लिया गया है, जो 16 अक्तूबर को साकार होने जा रहा है।
मुख्यमंत्री शिवराज ने कहा कि अंग्रेजी के सरल और चलन में आ चुके शब्दों के देवनागरी लिपि में ज्यादा से ज्यादा उपयोग से मेडिकल और तकनीकी शिक्षा की पढ़ाई छात्रों के लिए सरल और सहज होगी। इसके साथ ही हिंदी में पढ़ाई से कस्बों और ग्रामीण तबके के छात्रों को मेडिकल एजुकेशन हासिल करने के अवसर मिलेंगे। मध्य प्रदेश की यह पहल सामाजिक क्रांति सिद्ध होगी। मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि राज्य सरकार हिंदी में पेशेवर शिक्षा के दायरे को बढ़ाने के लिए प्रतिबद्ध है। मेडिकल के साथ ही इंजीनियरिंग, पॉलीटेक्निक, नर्सिंग और पैरामेडिकल शिक्षा भी हिंदी में उपलब्ध कराई जाएगी।
सीएम ने बताया कि चिकित्सा शिक्षा ( medical education ) मंत्री विश्वास कैलाश सारंग के नेतृत्व में शासकीय मेडिकल कॉलेज के 97 डॉक्टरों की टीम ने 4 माह के परिश्रम से MBBS प्रथम वर्ष की एनॉटामी, फिजियोलॉजी और बायोक्रेमेस्ट्री की किताबें हिंदी में लिखकर तैयार कर ली हैं। फिलहाल, द्वितीय वर्ष की किताबों पर कार्य किया जा रहा हैं। उन्होंने आगे कहा कि चरणबद्ध तरीके पीजी कक्षाओं के लिए भी हिंदी में किताबें तैयार की जाएंगी।