पुरुषों से ज्यादा महिलाएं होती हैं डिप्रेशन की शिकार, समय से इलाज न मिलना हो सकता है खतरनाक

डिप्रेशन के संकेत नजर आने के बाद भी अक्सर लोग इसे समझ नहीं पाते हैं जिसके चलते यह समस्या और बढ़ती जाती है। डिप्रेशन पुरुषों की तुलना में महिलाओं में ज्यादा देखने को मिलता है। डिप्रेशन के लक्षण कई बार धीरे-धीरे नजर आते हैं और समय के साथ ये खतरनाक रूप ले सकता है...

Update: 2023-11-01 06:55 GMT

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जनस्वास्थ्य चिकित्सक डॉ. एके अरुण की टिप्पणी

Women's Health : डिप्रेशन की समस्या को हल्के में नहीं लेना चाहिए। महिलाओं में ये समस्या ज्यादा देखने को मिलती है। इसके लक्षणों को पहचानें और अगर आपके आसपास कोई डिप्रेशन का शिकार है तो उसकी मदद करें।

डिप्रेशन एक मानसिक परेशानी है जिस पर अक्सर ध्यान नहीं दिया जाता है। शरीर में किसी प्रकार की चोट लगने पर, कोई परेशानी होने पर हम उसे ट्रीट करते हैं, लेकिन दिमाग से जुड़ी इस स्थिति पर ध्यान नहीं देते हैं। डिप्रेशन एक ऐसी स्थिति है जो कई तरह की परेशानियों का कारण बन सकती है। हमारे शारीरिक स्वास्थ्य की तरह मानसिक स्वास्थ्य का सही होना भी बहुत जरूरी है। डिप्रेशन की समस्या आज के वक्त में बहुत आम हो गई है, लेकिन फिर भी कई बार लोग संकोच की वजह से इसके बारे में बात नहीं करते हैं। डिप्रेशन के संकेत नजर आने के बाद भी अक्सर लोग इसे समझ नहीं पाते हैं जिसके चलते यह समस्या और बढ़ती जाती है। डिप्रेशन पुरुषों की तुलना में महिलाओं में ज्यादा देखने को मिलता है। डिप्रेशन के लक्षण कई बार धीरे-धीरे नजर आते हैं और समय के साथ ये खतरनाक रूप ले सकता है।

महिलाओं में डिप्रेशन के कई कारण हो सकते हैं जिनमें जेंडर गैप, हीनभावना का आना, हार्मोन्स में बदलाव और पोस्टपार्टम डिप्रेशन शामिल है। डाइटीशियन नेहा महाजन ने अपने इंस्टाग्राम अकाउंट पर महिलाओं में डिप्रेशन के लक्षणों के बारे में बताया है। आइए इस बारे में जानते हैं।

यह महिलाओं में डिप्रेशन का सबसे आम लक्षण है। मूड स्विंग्स पीरियड्स के दौरान भी होते हैं लेकिन अगर आपको जरूरत से ज्यादा मूड स्विंग्स हो रहे हैं, किसी भी बात पर आपको चिड़चिड़ापन महसूस होता है, कभी-कभी बिना बात के भी आपको रोना आ जाता है तो आपको सचेत होने की जरूरत है।

किसी भी चीज में इंटरेस्ट न आना

डिप्रेशन होने पर आपको अपनी पसंदीदा चीजों में भी इंटरेस्ट आना बंद हो जाता है। अगर आपको किसी भी चीज में रुचि महसूस नहीं हो रही है, हर काम में आपका इंटरेस्ट खत्म सा होता जा रहा है, अपनी फेवरेट फिल्म देखना हो, दोस्तों के साथ घूमना हो, सब कुछ आपको बेकार लगने लगा है, तो ये डिप्रेशन का लक्षण हो सकता है।

नींद नहीं आना

डिप्रेशन की वजह से नींद न आने की समस्या हो सकती है। अक्सर जिन महिलाओं को डिप्रेशन होता है वो रात में देर तक जागते हुए अपने बीते हुए कल या फिर अपने आज, और आने वाले कल से जुड़ी बातों को लेकर परेशान रहती है। किसी भी बात को सोचते हुए, हर गलत चीज का दोषी खुद हो ही मानना भी डिप्रेशन का एक लक्षण है।

बेचैनी महसूस होना

डिप्रेशन की वजह से अक्सर महिलाओं को बेचैनी भी महसूस होती है। कई बार तो एंग्जाइटी इतनी बढ़ जाती है कि उसे कंट्रोल करना मुश्किल हो जाता है। इसके अलावा डिप्रेशन की वजह से आपको हमेशा थकान भी महसूस हो सकती है।

क्या करें?

-अगर आपके आस-पास किसी महिला में आपको डिप्रेशन के लक्षण दिख रहे हैं तो उसे स्पेस दें। उसकी बात सुनें और समझने की कोशिश करें।

-अक्सर अपने दिल की बात न कह पाने, किसी ट्रामा या गिल्ट की वजह से भी महिलाएं डिप्रेशन का शिकार हो जाती हैं, ऐसे में उनकी स्थिति को समझना बहुत जरूरी है।

-डिप्रेशन से परेशान महिलाएं अक्सर अकेलापन महसूस करती हैं। इस वजह से उन्हें घबराहट भी होने लगती है। उन्हें भरोसा दिलाएं कि वो अकेली नहीं हैं।

-उन पर चिल्लाने या गुस्सा करने के बजाय उनकी मानसिक स्थिति को समझने की कोशिश करें।

-अगर लक्षण ज्यादा है तो किसी मनोचिकित्सक से जरूर मिलें। इसमें संकोच करने या घबराने की कोई बात नहीं है।

होमियोपैथी

डिप्रेशन के मामले में होमियोपैथी का इलाज बेहतर माना जाता है! यह चिकित्सा आपको ख़तरनाक एलोपैथी की दवाओं से बचाती है। अपने होमियोपैथिक चिकित्सक से मिलें।

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