किसान विरोधी काले कानून लेना ही होगा वापस, आंदोलन को कश्मीर से लेकर कन्याकुमारी तक किया जायेगा तेज : मेधा पाटेकर

मेधा पाटेकर ने कहा कि इस आंदोलन को अब कश्मीर से लेकर कन्याकुमारी तक तेज किया जाएगा और उसी के तहत देश के सभी जिलों में किसान संगठनों द्वारा आंदोलन किया जाएगा....

Update: 2020-12-04 05:23 GMT

इंदौर, जनज्वार। पिछले 8 दिन से चल रहे किसान आंदोलन को लेकर देश के जिले-जिले में आंदोलन तेज करने का संकल्प लिया गया है। इसी के तहत कॉरपोरेट विरोध दिवस मनाया गया तथा इंदौर में भी विभिन्न किसान और मजदूर संगठन सहित जन संगठनों ने संयुक्त रूप से गांधी प्रतिमा तिराहे पर धरना दिया। धरने का नेतृत्व मेधा पाटकर, रामस्वरूप मंत्री, प्रमोद नामदेव, रूद्र पाल यादव, अरुण चौहान, अजय यादव आदि ने किया।

धरनास्थल पर हुई सभा को संबोधित करते हुए अखिल भारतीय किसान संघर्ष समन्वय समिति की वर्किंग ग्रुप की सदस्य तथा एनएपीएम की नेता मेधा पाटेकर ने कहा कि देश का यह किसान आंदोलन अभूतपूर्व है और सरकार को किसान विरोधी काले कानूनों को रद्द करना ही होगा, साथ ही संसद में किसान नेता राजू शेट्टी द्वारा कर्जा मुक्ति और किसान हित के बिल पेश किए हैं उन्हें लागू किया जाना चाहिए।

मेधा पाटेकर ने कहा कि इस आंदोलन को अब कश्मीर से लेकर कन्याकुमारी तक तेज किया जाएगा और उसी के तहत देश के सभी जिलों में किसान संगठनों द्वारा आंदोलन किया जाएगा।

सभा को संबोधित करते हुए किसान संघर्ष समिति के मालवा निमाड़ संयोजक रामस्वरूप मंत्री ने कहा कि मध्य प्रदेश की सरकार को भी पंजाब, छत्तीसगढ़ और राजस्थान की सरकार की तरह एमएसपी को लेकर लाए गए किसान हितेषी बिल पास करना जाना चाहिए, उसके उल्टे शिवराज सिंह सरकार कृषि उपज मंडियों को भी निजी हाथों में और पूंजीपतियों को सौंपने की साजिश रच रही है। इसका पुरजोर विरोध किया जाएगा।

सभा को अरुण चौहान, विनीत तिवारी, कैलाश लिंबोदिया, रूद्र पाल यादव ,अर्शी खान ,अजय यादव ,राजेंद्र अटल, बिल्कीस बी मंसूरी ,,प्रमोद नामदेव, किशोर कोडवानी, सोहनलाल शिंदे, सामाजिक कार्यकर्ता पखुड़ी आदि ने भी संबोधित किया ।

पिछले 8 दिनों से चल रहे दिल्ली में घेरा डालो डेरा डालो आंदोलन के समर्थन में आयोजित इस धरना आंदोलन का आयोजन अखिल भारतीय किसान संघर्ष समन्वय समिति, संयुक्त किसान मोर्चा, अखिल भारतीय किसान सभा, अखिल भारतीय किसान खेत मजदूर संगठन, युवा विद्यार्थी संगठन, किसान संघर्ष समिति, एटक, सीटू, नर्मदा बचाओ आंदोलन, समाजवादी समागम, आम आदमी पार्टी, जनता श्रमिक संघ, लोकतांत्रिक जनता दल, मध्य प्रदेश घरेलू कामकाजी ट्रेड यूनियन सहित विभिन्न जन संगठनों ने किया था।

धरने में प्रमुख रूप से पूर्व पार्षद सोहनलाल शिंदे, रजनीश जैन, अंचल सक्सेना, दुर्गेश भाई, अशोक दुबे, छेदी लाल यादव, जयप्रकाश गुगरी, रामस्वरूप मंत्री, भरतसिह यादव, अकबर अहमद, मोहम्मद अली सिद्धकी, मौलाना शाहिद भाई, भागीरथ कछुवाय, शची शेख, एसके दुबे, प्रभा यादव, अशोक शर्मा, जगदीश पटेल, कमलाबाई, सुधीर लाड, अजय लागू ,सोमेंद्र भाई सहित बड़ी संख्या में महिला और पुरुष कार्यकर्ता शामिल थे।

कार्यकर्ताओं ने धरने की समाप्ति पर कृषि बिल वापस लेने की मांग के समर्थन में कृषि बिलों की होली जलाई तथा गांधी प्रतिमा के समक्ष मोमबत्ती जलाकर 35 साल पूर्व हुई भोपाल गैस त्रासदी के शहीदों को श्रद्धांजलि दी।

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