उत्तराखण्ड के चर्चित अंकिता भंडारी हत्याकांड की CBI जांच को लेकर सड़कों पर उतरी जनता, धामी सरकार पर VIP अपराधी को बचाने का आरोप

Update: 2025-03-22 12:31 GMT
उत्तराखण्ड के चर्चित अंकिता भंडारी हत्याकांड की CBI जांच को लेकर सड़कों पर उतरी जनता, धामी सरकार पर VIP अपराधी को बचाने का आरोप
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Ramnagar News : उत्तराखण्ड के चर्चित अंकिता भंडारी हत्याकांड की सीबीआई जांच कर वास्तविक वीआईपी अपराधी के खिलाफ कार्रवाई की मांग को लेकर महिला एकता मंच ने आज 22 मार्च को लखनपुर चौक पर धरना देकर जुलूस निकाला।

सभा का संचालन करते हुए मंच की संयोजक ललिता रावत ने बताया अंकिता भंडारी की हत्या 18 सितंबर 2022 को कर दी गई थी। वह उत्तराखंड के पौड़ी जिले के वंनतरा रिजॉर्ट रिजॉर्ट में रिसेप्शनिस्ट के रूप में काम करती थी। वहां पर वीआईपी के लिए विशेष सेवा का उस पर दबाव बनाया गया। वीआईपी द्वारा अंकिता द्वारा इंकार करने पर उसकी हत्या कर दी गई। सबूतों को मिटाने के उद्देश्य से अंकिता का कमरा भाजपा सरकार ने बुल्डोजर से ध्वस्त कर दिया।

धरने को संबोधित करते हुए कौशल्या ने कहा कि अंकिता भंडारी हत्याकांड की सीबीआई जांच की मांग की आवाज सोशल मीडिया तक ही सिमट कर रह गई है, जबकि जनता को इसके लिए सड़कों पर उतरकर प्रदर्शन करना चाहिए।

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समाजवादी लोक मंच के मुनीश कुमार ने कहा कि अंकिता को विशेष सेवा के लिए बाध्य करने के पीछे भाजपा के बड़े नेता का नाम सामने आ रहा है, यही कारण है कि केंद्र और राज्य की भाजपा सरकार मामले की सीबीआई जांच करवाने के लिए तैयार नहीं है। उन्होंने कहा कि देश की न्यायपालिका भी जनता को न्याय नहीं दे पा रही है। देश सर्वोच्च अदालत ने अंकिता भंडारी हत्याकांड की सीबीआई जांच को अस्वीकार करने से अपराधी तत्वों को बल मिलेगा।

उपपा नेता प्रभात ध्यानी ने कहा कि धामी सरकार जनता के हित में काम करने की जगह सरकार के 3 साल पूरे होने का जश्न मना रही है। उत्तराखंड के हालात दिन प्रतिदिन खराब हो रहे हैं। अस्पतालों में जनता को इलाज नहीं मिल रहा है तथा महिला अपराधों में लगातार वृद्धि हो रही है तथा जंगली जानवरों के हमले में लोग रोज मारे जा रहे हैं।

सरस्वती जोशी ने कहा कि सरकार की महिला विरोधी नीतियों के कारण महिलाओं की सुरक्षा खतरे में है। देश के कानून इतने कमजोर हैं कि शक्तिशाली लोग हमेशा बचकर निकल जाते हैं और आम लोग इंसाफ के लिए भटकते रहते हैं। भाजपा का बेटी पढ़ाओ, बेटी बचाओ का नारा एक ढकोसला बनकर ही रह गया है।

सभा को तुलसी जोशी, जन कवि बल्ली सिंह चीमा, छिम्वाल,किरन आर्य, ललित उप्रेती, रोहित रोहिला, सुमित, पीसी जोशी, तारा बेलवाल आदि ने संबोधित किया।

कार्यक्रम में भगवती नेगी, दुर्गा सैनी, सीमा तिवाड़ी,माया नेगी, रश्मि, दीपा आर्य, तुलसी जोशी, आफरीन, पुष्पा, लता, कमला, धना, माया तिवाड़ी, रेनू सैनी, हर्षिता, भावना, मधु आर्य समेत सैकड़ों महिलाएं शामिल रहीं।

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