UP: 2 बेटियों का मानसिक बीमार पिता खाने लगा लोहा, ऑपरेशन में जो निकला डॉक्टरों के भी उड़े होश

डॉक्टरों की टीम ने शुक्रवार को रात साढ़े 12 बजे से तीन बजे तक करन का ऑपरेशन किया। ऑपरेशन में युवक के पेट से 4 इंची लम्बी कई कीलें, एक छोटा पेचकस, एक 6 इंच लम्बी रेती, एक 6 इंची सरिये का टुकड़ा सहित कपड़े सिलने वाली कई सुईयां निकली हैं। डॉक्टरों का कहना है कि युवक मानसिक बीमार है जिस कारण वह क्या खा रहा है उसे होश नहीं रहता।

Update: 2020-10-04 06:53 GMT

जनज्वार, उन्नाव। लखनऊ-उन्नाव राजधानी मार्ग पर स्थित एक नर्सिंग होम में पेट दर्द होने पर भर्ती हुए युवक की जाँच करने के बाद डॉक्टरों तक के होश उड़ गए। अल्ट्रासाऊम्ड में युवक के पेट में लोहा होने की बात तो पुख्ता हुई पर जो निकला वो अप्रत्याशित था। मानसिक बीमार युवक जब होश में आया तो बताया कि उसे पता ही नहीं चलता कि कब यह सब खा लेता था।

उन्नाव के भटवा निवासी 20 वर्षीय करन पुत्र कमलेश अपनी मां पत्नी व दो बेटियों 13 वर्षीय कोमल व 9 वर्षीय तनु सहित रहता है। करन की मां व पिता ने बताया कि वह उनका इकलौता बेटा है, तीन साल से मानसिक तौर पर बीमार चल रहा है। उसके पेट में लगातार दर्द रहता है। अधिक दर्द होने पर उसे उपचार के लिए आज अस्पताल लेकर गए जिसमें पेट से लोहा निकला है। कुछ भी खा लेता है उसे होश नहीं रहता है।

राजधानी मार्ग पर स्थित चन्द्रकुसुम अस्पताल के संचालक राधारमण अवस्थी ने बताया कि भटवा उन्नाव निवासी करन अपनी मां के साथ अस्पताल आया था। बीते कुछ दिनो से उसे खाने के बाद उल्टियां होने की शिकायत हो रही थी। चिकित्सीय जांच में उसके आमाशय में कुछ दिखाई दिया। एक्सरे और अल्ट्रासाउण्ड से पेट में लोहे की चीजें होने का अनुमान हुआ। जिसके बाद उन्होने डॉक्टर पवन सिंह, आशीष कुमार, संतोष शर्मा व सर्वेश कुमार की टीम बनाकर युवक का इलाज करवाया।

डॉक्टरों की टीम ने शुक्रवार को रात साढ़े 12 बजे से तीन बजे तक करन का ऑपरेशन किया। ऑपरेशन में युवक के पेट से 4 इंची लम्बी कई कीलें, एक छोटा पेचकस, एक 6 इंच लम्बी रेती, एक 6 इंची सरिये का टुकड़ा सहित कपड़े सिलने वाली कई सुईयां निकली हैं। डॉक्टरों का कहना है कि युवक मानसिक बीमार है जिस कारण वह क्या खा रहा है उसे होश नहीं रहता।

ऑपरेशन के बाद आमाशय से निकली कीलें, सरिया, रेती व कपड़े सिलने वाली कीलें देखकर सर्जन सहित मौजूद सभी डॉक्टरों के होश उड़ गए। पाँच सदस्यीय टीम ने लगभग ढ़ाई घण्टे की मशक्कत के बाद सभी चीजें युवक के पेट से निकाली। डॉक्टरों का कहना है कि यदि समय से उसका उपचार ना होता तो जान भी जा सकती थी। वहीं होश में आने पर युवक का कहना है कि वह कब कील आदि खा लेता था उसे पता ही नहीं चलता था।  

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