प्रेम करने वाली छात्रा ने पहले मेडिकल स्टाफ को फिर मजिस्ट्रेट को बताया संविधान देता है उसे प्यार करने का अधिकार
प्रेम करने वाली लड़की ने दिखाया साहस, बोली अपनी मर्जी से प्यार किया है किसी से नहीं डरने वाली...
जनज्वार। उत्तर प्रदेश के बरेली स्थित थाना किला में तोड़फोड़ के बाद शहर में तनाव की वजह बने एक प्रेमी जोड़े के तेवरों से अब पुलिस भी सांसत में है। अजमेर से गिरफ्तारी के बाद प्रेमी ने छात्रा से निकाह कर लेने का दावा किया है तो वहीं छात्रा भी उसके बचाव में पूरी ताकत से जुट गई है।
कानून की किसी मंझी हुई खिलाड़ी की तरह छात्रा ने अपने कानूनी अधिकारों का पाठ पहले अस्पताल के मेडिकल स्टाफ को पढ़ाया फिर पुलिस और मजिस्ट्रेट के सामने भी लगातार दलीलें रखती रही। उसकी दलीलों से बैकफुट पर आई पुलिस छात्रा का मेडिकल नहीं करा सकी, जिसके बाद मजिस्ट्रेट को उसे नारी निकेतन भेजना पड़ा।
पुलिस सूत्रों का कहना है कि अजमेर के होटल से मिलने के तुरंत बाद ही लड़की ने दो टूक कहा था कि वह बालिग है और अपनी मर्जी से प्रेमी बिलाल के साथ आई है। हालांकि लड़की ने शादी कर लेने की बात नहीं कही है। लेकिन बिलाल ने छात्रा से निकाह कर लेने का दावा किया है।
पुलिस के मुताबिक लड़की को जब मेडिकल परीक्षण के लिए अस्पताल लाया गया तो आधार कार्ड और हाईस्कूल के प्रमाण पत्रों को सामने रखकर उसने खुद के बालिग होने का दावा किया और मेडिकल परीक्षण कराने से इनकार कर दिया। छात्रा ने कहा कि वह बालिग हो चुकी है। इसके सभी प्रमाणपत्र उसके पास मौजूद हैं तो भला वह क्यों मेडिकल परीक्षण कराएगी।
अस्पताल स्टाफ ने जब लड़की से मेडिकल कराने को कहा तो वह भड़क गई और अस्पताल स्टाफ से भिड़ गई। इसके बाद मौके पर मौजूद पुलिस वालों ने उच्चाधिकारियों से निर्देश लिए और फिर छात्रा को बगैर मेडिकल कराए ही अस्पताल से ले गए। शाम को पुलिस ने छात्रा को एसीएम द्वितीय अरुणमणि के यहां पेश किया। पुलिस ने यहां दी अर्जी में कहा कि अवकाश की वजह से न्यायालय बंद हैं और न्यायिक मजिस्ट्रेट मौजूद नहीं हैं।
ऐसे में लड़की की सुपुर्दगी को लेकर पुलिस को निर्देश दें कि उसे किसकी सुपुर्दगी में दिया जाए। लड़की ने यहां भी खुद के बालिग होने का दावा किया तो मजिस्ट्रेट ने लड़की से पूछा कि वह कहां जाना चाहती है। इस पर छात्रा ने अपने घर जाने से इनकार कर दिया। उसने प्रेमी बिलाल के साथ जाने की बात कही। लेकिन लड़की को कानूनी तौर पर बालिग मानने के लिए अभी उसके प्रमाण पत्रों की जांच होनी है और निर्णय न्यायालय को करना है।
इसलिए मजिस्ट्रेट ने उसे नारी निकेतन भेजने का आदेश दिया। पुलिस ने कहा कि सोमवार को भी न्यायालय में अवकाश है। ऐसे में मजिस्ट्रेट ने छात्रा को मंगलवार को न्यायालय खुलने तक नारी निकेतन में रखने का आदेश दिया है। न्यायालय में अवकाश होने की वजह से छात्रा को एसीएम टू की कोर्ट में पेश किया गया था। सोमवार को भी न्यायालय में अवकाश है, इसलिए तब तक छात्रा को मजिस्ट्रेट ने नारी निकेतन भेजा है।
एसएसपी बरेली रोहित सिंह सजवाण ने बताया कि मंगलवार को कोर्ट खुलने पर छात्रा को न्यायालय में पेश किया जाएगा। न्यायालय में छात्रा जो बयान देगी उसके आधार पर फैसला कोर्ट को करना है।