निजीकरण के खिलाफ यूपी के विद्युत निगम कर्मचारी ऊर्जामंत्री के गृहजनपद में अनिश्चितकालीन हड़ताल पर

विद्युत कर्मचारियों का कहना है की विभाग का निजीकरण किए जाने से कर्मचारियों में आक्रोश है, बिजली विभाग का निजीकरण करने का प्रस्ताव ना पास हो इसीलिए बिजली कर्मचारियों में आक्रोश है और बिजली कटौती कर आंदोलन की राह थाम लिया है.....

Update: 2020-10-05 14:02 GMT

संतोष देव गिरि की रिपोर्ट

मिर्जापुर। उत्तर प्रदेश के ऊर्जा एवं अतिरिक्त ऊर्जा स्रोत राज्यमंत्री रमाशंकर सिंह पटेल के गृह जनपद मिर्जापुर में निजीकरण के विरोध में विद्युत कर्मी अनिश्चित कालीन हड़ताल पर चले गए हैं। इससे विद्युत व्यवस्था चरमरा जाने के साथ ही गर्मी के मारे लोगों का बुरा हाल हो उठा है, हालांकि अभी तक विद्युत व्यवस्था बहाल नहीं हो पाई है, अलबत्ता प्रशासन द्वारा विद्युत पावर हाउसों पर पुलिस का पहरा बिठा दिया गया है। उधर आंदोलनरत कर्मचारी भी निजीकरण के विरोध में पूरी तरह से आर-पार की लड़ाई के मूड़ में नजर आ रहे हैं।

सूबे के ऊर्जा राज्यमंत्री के गृह जनपद खासकर उनके विधानसभा क्षेत्र मड़िहान के विद्युत विभाग उपखण्ड अहरौरा में अवर अभियंता सहित सभी विद्युत कर्मचारी अनिश्चित काल के लिए हड़ताल पर हैं। अवर अभियंता सहित विद्युत कर्मचारियों के अनिश्चित काल के लिए हड़ताल पर होनेे की सूचना पर उपजिलाधिकारी चुनार अहरौरा पॉवर हाउस पर हड़ताल पर बैठे अवर अभियंता सहित कर्मचारियों को मनाने में विफल रहे हैं। हड़ताल पर बैठे अवर अभियंता सहित कर्मचारियों ने चेताया है कि बिजली विभाग का अनिश्चित हड़ताल के चलते बिजली 3 दिन तक नहीं आएगी।

विद्युत कर्मचारियों का कहना है की विभाग का निजीकरण किए जाने से कर्मचारियों में आक्रोश है। बिजली विभाग का निजीकरण करने का प्रस्ताव ना पास हो इसीलिए बिजली कर्मचारियों में आक्रोश है और बिजली कटौती कर आंदोलन की राह थाम लिया है। निजीकरण के विरोध में विद्युत कर्मचारियों के अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले जाने से जिला मुख्यालय से लेकर ग्रामीण अंचलों में विद्युत आपूर्ति पूरी तरह से ठप हो जाने से लोग परेशान देखे जा रहे हैं। जनपद में सभी जगह बिजली नदारत है। कुुछ इलाकों में तो भोर से ही विद्युत आपूर्ति व्यवस्था बाधित है। आपूर्ति ठप होने से उपभोक्ता व पावर कनेक्शन धारक परेशान है। विद्युत उपकेंद्रों पर लेखपाल और पुलिस बल तैनात कर दिया गया है।


दूसरी ओर यूपी के मुख्य सचिव राजेन्द्र कुमार तिवारी ने विद्युत कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति द्वारा प्रदेशव्यापी प्रस्तावित आंदोलन के दृष्टिगत विद्युत आपूर्ति सुचारू रखने हेतु वीडियो काॅन्फ्रेन्सिंग के माध्यम से सभी मण्डलायुक्तों, जिलाधिकारियों एवं वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक कर सुचारू विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित कराने के लिए मण्डलायुक्तों, जिलाधिकारियों एवं वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों को दिशा-निर्देश दिये हैं। कहा है कि आंदोलन से निपटने के लिए सभी तैयारियां पूरी कर सुचारू विद्युत आपूर्ति में बाधा उत्पन्न करने वाले कर्मचारियों के विरूद्ध कठोर कार्यवाई की जायेगी।

विद्युत सब स्टेशनों एवं विद्युत केन्द्रों में वैकल्पिक स्टाॅफ व सुरक्षा बलों की तैनाती की कार्य योजना तैयार कर सभी जनपदों में राउण्ड-द-क्लाॅक कण्ट्रोल रूम स्थापित एवं क्रियाशील बनाया जाए। अधिकारी जनता से संवाद बनाये रखेंगे तथा आंदोलन के कारण जन सामान्य को न होने दे कोई परेशानी, बावजूद इसके सुबह से ही विद्युत कटौती से जनमानस का भी मिजाज बिगड़ने लगा है।

कई जनपदों में विद्युत आपूर्ति ठप्प

विद्युत विभाग के निजीकरण के विरोध में कई जनपदों में विद्युत आपूर्ति ठप्प है। पावर कारपोरेशन लिमिटेड के कर्मचारियों एवं अधिकारियों द्वारा हड़ताल होने के कारण कई जनपदों के विद्युत आपूर्ति ठप्प है। मीरजापुर नगर में पूर्वाह्न 11 बजे से बिजली गायब है। "देगी सरकार, लेंगे अधिकारी कर्मचारी और भुगत रही है जनता" सबका बस एक ही सवाल है कि बिजली कब आएगी ? कोई कह रहा है 'नेता जी इनवर्टर जवाब देने वाला है -----।''

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