'नये कानूनों के लागू होने से कृषि क्षेत्र हो जायेगा कॉरपोरेट्स और बहुराष्ट्रीय निगमों का गुलाम'
जनज्वार, रामनगर। जनज्वार, रामनगर। कल रविवार 14 फरवरी को उत्तराखण्ड के रामनगर स्थित ग्राम कालिया चौराहे पर किसान संघर्ष समिति द्वारा दिल्ली के बॉर्डर पर किसान आंदोलन के दौरान शहीद हुए 200 से अधिक किसानों तथा दो वर्ष पूर्व हुए पुलवामा कांड के शहीद जवानों को मोमबत्ती जलाकर श्रद्धांजलि दी गयी।
श्रद्धांजलि सभा में वक्ताओं ने कहा कि तीनों कृषि कानून केवल देश के किसानों के खिलाफ़ ही नहीं है बल्कि देश के उस आम आदमी के खिलाफ हैं, जो अन्न खाकर जिंदा है। इन काले कानूनों को लागू करने के बाद देश की कृषि कॉरपोरेट जगत तथा बहुराष्ट्रीय निगमों की गुलाम हो जाएगी।
वक्ताओं ने कहा कि कृषि कानून में सरकार ने पूंजीपति वर्ग को अपने गोदामों में असीमित मात्रा में कृषि उत्पाद भरने की खुली छूट दे दी है तथा कानून में लिख दिया है कि सरकार कृषि उत्पादों के दोगुने दाम होने तक कोई दखलअंदाजी नहीं करेगी।
सभा में वक्ताओं ने रिपब्लिकन टीवी के मालिक अर्णब गोस्वामी के पुलवामा कांड को लेकर लीक हुए उनके व्हाट्सएप्प संदेशों की जांच कराने तथा 26 जनवरी को दिल्ली में ट्रैक्टर रैली के दौरान शहीद हुए किसान नवमीत सिंह की मृत्यु के मामले की न्यायिक जांच कराने की मांग भी की।