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Bhima Koregaon case : गौतम नवलखा को बड़ी राहत, SC ने 1 माह के लिए हाउस अरेस्ट की दी इजाजत, इन शर्तों का करना होगा पालन

Janjwar Desk
10 Nov 2022 10:46 AM GMT
भीमा कोरेगांव केस : गौतम नवलखा को बड़ी राहत, सुप्रीम कोर्ट ने 1 माह के लिए हाउस अरेस्ट की दी इजाजत
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भीमा कोरेगांव केस : गौतम नवलखा को बड़ी राहत, सुप्रीम कोर्ट ने 1 माह के लिए हाउस अरेस्ट की दी इजाजत

Bhima Koregaon case : देश की शीर्ष अदालत ( Supreme court ) ने आदेश दिया कि गौतम नवलखा ( Gautam Navlakha ) को उनकी बीमारी को देखते हुए 48 घंटे के भीतर हाउस अरेस्ट ( Housr arrest ) किया जाए।

Bhima Koregaon case : सुप्रीम कोर्ट ( Supreme Court ) ने भीमा कोरेगांव के 73 वर्षीय आरोपी और सामाजिक कार्यकर्ता गौतम नवलखा ( Gautam navlakha ) को आज यानि 10 नवंबर को बड़ी राहत दी है। शीर्ष अदालत ने आदेश दिया कि गौतम नवलखा को उनकी बीमारी को देखते हुए 48 घंटे के भीतर हाउस अरेस्ट ( House arrest ) किया जाए। गौतम नवलखा भीमा कोरेगांव ( Bhima Koregaon case ) मामले में साल 2020 से जेल में हैं।

शीर्ष अदालत ने क्या कहा

सुप्रीम कोर्ट ( Supreme court ) में गुरुवार को भीमा कोरोगांव मामले की सुनवाई है। शीर्ष अदालत ने कहा कि गौतम अदलखा ( Gautam Navlakha ) 2020 से जेल में हैं। इससे पहले उन्हें एक बार हाउस अरेस्ट में रखा गया था। पहली नजर में इस बात के कोई सबूत नहीं है कि उन्होंने हाउस अरेस्ट का दुरुपयोग किया हो। उनके खिलाफ इस मामले के अलावा कोई आपराधिक पूर्ववृत्त नहीं है। इसएिल कम से कम एक महीने की अवधि के लिए उनहें हाउस अरेस्ट में रहने देना चाहिए।

सुप्रीम कोर्ट ( Supreme Court ) ने हाउस अरेस्ट ( House arrest ) के लिए पुलिस को उनके आवास की तलाशी लेने और उसके मूल्यांकन में जरूरत पड़ने पर निरीक्षण करने की इजाजत दी है। ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि नवलखा नजरबंदी का दुरुपयोग न करें। अदालात ने कहा कि हम इस मामले में साफ कर देना चाहते हैं कि सर्च का दुरुपयोग नहीं किया जाना चाहिए। याचिकाकर्ता को परेशान करने का कोई बहाना नहीं होना चाहिए।

( Gautam Navlakha ) गौतम नवलखा ने अपनी बहन के घर में हाउस अरेस्ट करने की मांग की थी। सुनवाई के दौरान इस बात पर सहमति बनी कि वह एक वैकल्पिक आवास की व्यवस्था करेंगे जहां वह अपने 71 वर्षीय साथी के साथ रहेंगे।

इन शर्तों का करना होगा पालन

1. उनके घर के बाहर पुलिस कर्मियों को तैनात किया जाएगा और सीसीटीवी कैमरे कमरों के बाहर और निवास के प्रवेश और निकास बिंदुओं पर लगाए जाएंगे।

2. इंटरनेट, लैपटॉप या किसी संचार उपकरण का उपयोग नहीं करेंगे।

3. पुलिसकर्मियों द्वारा उपलब्ध कराए गए मोबाइल फोन पर पुलिस की मौजूदगी में दिन में एक बार 10 मिनट के लिए फोन कॉल की अनुमति होगी।

4. घर से बाहर निकलने यानि पुलिस कर्मियों की कंपनी में सैर के अलावा वह इस तरह की सैर के दौरान कोई और शामिल नहीं होगा।

5. गौतम अदलखा साथी के फोन सहित किसी अन्य फोन का उपयोग नहीं करेंगे। साथी के मोबाइल में इंटरनेट नहीं होना चाहिए। कॉल और एसएमएस करने के लिए एक बुनियादी फोन, लेकिन कॉल या मैसेज डिलीट नहीं किया जाए।

6. एनआईए नवलखा और उसके साथी द्वारा की गई कॉलों की निगरानी कर सकती है।

7. वह बंबई से बाहर नहीं जाएंगे।

8. उसे केबल टीवी का उपयोग करने और समाचार पत्र पढ़ने की अनुमति होगी।

9. वह भीमा कोरेगांव मामले में किसी गवाह से कोई संपर्क नहीं करेंगे।

10. परिवार के अधिकतम दो सदस्य सप्ताह में एक बार तीन घंटे के लिए उनसे मिलने जा सकते हैं। परिवार के सदस्यों की सूची 3 दिनों के भीतर एनआईए को उपलब्ध कराई जाएगी।

11. ऐसे आगंतुकों की अनुमति होने पर भी किसी इलेक्ट्रॉनिक गैजेट की अनुमति नहीं दी जाएगी।

12. जेल मैनुअल नियमों के अनुसार वकील से मिलने की अनुमति होगी। वह 3 दिनों में वकीलों के नाम एनआईए को देंगे।

13. उन्हें हाउस अरेस्ट के लिए स्थानीय जमानतदार पेश करना होगा।

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