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मध्य प्रदेश

सुबह परिजनों ने किया अंतिम संस्कार, शाम को जिंदा घर लौटा शख्स!

Janjwar Desk
12 Dec 2020 3:50 PM GMT
सुबह परिजनों ने किया अंतिम संस्कार, शाम को जिंदा घर लौटा शख्स!
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Photo:social media

यह अनूठा वाकया मध्य प्रदेश के श्योपुर तहसील के बड़ौदा का बताया जाता है, गुरुवार की शाम लगभग 7 बजे शहर के पुल दरवाजा स्थित श्मशान घाट के पास एक अज्ञात व्यक्ति का शव पुलिस ने बरामद किया था...

जनज्वार। मध्यप्रदेश से एक हैरतअंगेज मामला सामने आया है। यहां परिजनों ने सुबह जिसका अंतिम संस्कार कर दिया, शाम होते-होते वह जिंदा घर वापस आ गया। हालांकि यह किसी मृत व्यक्ति के दुबारा जिंदा होने का मामला नहीं है, बल्कि परिजनों और स्थानीय पुलिस की भूल से मृतक की शिनाख्त में गड़बड़ी हुई। इस घटना के बाद जहां इलाके में सनसनी मच गई, वहीं पुलिस प्रशासन के हाथ पांव फूले हुए हैं।

जिन लोगों ने शव की शिनाख्त अपने परिजन के रूप में की और उसका अंतिम संस्कार कर दिया, वास्तव में वह उनका परिजन नहीं, बल्कि कोई और था। सुबह में अपना परिजन मान उनलोगों ने उस शव का अंतिम संस्कार कर दिया और उनका लापता परिजन शाम में वापस आ गया।

हालांकि इसमें सबसे बड़ा सवाल यह है कि मृतक की शिनाख्त में पुलिस और परिजनों की तरफ से इतनी बडी चूक हुई कैसे और जिस शव का अंतिम संस्कार किया गया, आखिरकार वह कौन था।

यह अनूठा वाकया मध्य प्रदेश के श्योपुर तहसील के बड़ौदा का बताया जाता है। गुरुवार की शाम लगभग 7 बजे शहर के पुल दरवाजा स्थित श्मशान घाट के पास एक अज्ञात व्यक्ति का शव पुलिस ने बरामद किया था।

शव की शिनाख्त कराने के उद्देश्य से पुलिस ने मृतक की तस्वीर सोशल मीडिया पर वायरल कर दी। तस्वीर को देखकर शुक्रवार की सुबह बड़ौदा निवासी बंटी शर्मा पुलिस के पास पहुंचा। बंटी ने मृतक को अपना भाई दिलीप शुक्ला बताया। बंटी शर्मा ने बताया कि दिलीप मानसिक रूप से कमजोर है और पिछले कुछ दिनों से लापता है।

इसके बाद पुलिस ने शव का पोस्टमार्टम कराया। उस के बाद बंटी शर्मा ने शव को प्राप्त कर लिया। पुलिस ने भी पंचनामा आदि अपनी कागजी कार्रवाई पूरी कर ली। दिलीप शुक्ला को मृत समझकर उसके परिजनों ने शुक्रवार सुबह को उसका विधिवत अंतिम संस्कार कर दिया।

लेकिन रात 8 बजे दिलीप घर लौट आया, जिसे देखकर न सिर्फ आस पड़ोस के बल्कि परिवार के लोग भी चौंक गए। अंतिम संस्कार के बाद उसे जिंदा देख घर में पसरा मातम खुशी में बदल गया।

हालांकि उसके जिंदा लौट आने के बाद अज्ञात शव की शिनाख्त कर उसका अंतिम संस्कार करने वाले परिवार के सदस्य अब डर से सामने आने से कतरा रहे हैं। दिलीप के परिजनों का कहना है कि फोटो और हुलिया के आधार पर शिनाख्त की, पर शिनाख्त करने में गलती हो गई।

वहीं, पुलिस अपनी कार्रवाई को जायज बता रही है। साथ ही अज्ञात शव की तस्वीर के सहारे उसकी नए सिरे से पहचान करने की कोशिश में जुट गई।

वैसे कुछ लोगों ने दावा किया है कि मृतक उनका परिजन है। वे लोग उसकी पहचान करने के लिए आनेवाले हैं। यह भी बताया जा रहा है कि जिस अज्ञात व्यक्ति का शव मिला था, वह भेला भीमलत गांव निवासी रामकुमार आदिवासी था। उसके परिजन आनेवाले हैं। पुलिस का कहना है कि अब उन्हें अस्थियां दिलवाई जाएंगी।

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