Andhra Pradesh News : पहली बार हाईकोर्ट ने 8 IAS अफसरों को एक साथ माना अवमानना ​का दोषी, सुनाई ये सजा

Andhra Pradesh News : दोषी आईएएस अधिकारियों द्वारा माफी मांगने के बाद अदालत ने अपने फैसले को संशोधित करते हुए सभी को किसी कल्याणकारी अस्पताल में एक साल तक समाज सेवा करने का आदेश दिया है।

Update: 2022-03-31 10:01 GMT

आंध्र प्रदेश हाईकोर्ट। 

Andhra Pradesh News : आंध्र प्रदेश के इतिहास में पहली बार ऐसा हुआ है जब हाईकोर्ट ( Andhra Pradesh High Court ) ने 31 मार्च यानि गुरुवार को एक साथ 8 अखिल भारतीय प्रशासनिक सेवा ( IAS Officers ) के अधिकारियों को अदालती आदेशों की अवमानना ​​का दोषी ( Court of Contempt ) करार दिया है। हाईकोर्ट ने आईएएस अधिकारियों को दो सप्ताह की जेल की सजा सुनाई है। हालांकि, बाद में दोषी अधिकारियों ने एचसी से माफी मांग ली है। इसके बाद आंध्र प्रदेश हाईकोर्ट ने अपने फैसले को संशोधित करते हुए उन्हें एक साल के लिए कल्याणकारी अस्पतालों में समाज सेवा करने का निर्देश दिया है।

इससे पहले दो सितंबर 2021 को भी आंध्र प्रदेश उच्च न्यायालय ( Andhra pradesh High Court ) ने 4 सेवारत आईएएस अधिकारियों और एक सेवानिवृत्त आईएएस अधिकारी को 10 फरवरी, 2017 के अदालती आदेश की ''जानबूझकर अवज्ञा'' करने के लिए अवमानना ​का दोषी ठहराया था। सभीा को अलग-अलग कारावास की सजा भी सुनाई थी। मुख्य सचिव आदित्य नाथ दास सहित तीन अन्य आईएएस अधिकारियों को मामले में छोड़ दिया गया, क्योंकि उनके खिलाफ आरोप खारिज कर दिया गया था। आईएएस अधिकारियों में प्रधान वित्त सचिव शमशेर सिंह रावत, मुख्यमंत्री के अतिरिक्त सचिव रेवू मुत्याला राजू, एसपीएस नेल्लोर जिला कलेक्टर के वी एन चक्रधर बाबू और पूर्व कलेक्टर एम वी शेषगिरि बाबू दोषी पाए गए थे।

Andhra Pradesh News : इसी तरह 22 जून 2021 को भी आंध्र प्रदेश हाईकोर्ट ( AP high Court ) ने एक याचिका ( writ petition ) पर सुनवाई की थी। उक्त मामले में भी दो आईएएस अधिकारियों पर अदालत के फैसले को लागू नहीं करने का आरोप लगाया गया था। सुनवाई के दौरान आईएएस अधिकारी ( IAS Officers ) चिरंजीवी चौधरी और गिरिजा शंकर कोर्ट में पेश हुए। सुनवाई के बाद कोर्ट ने दोनों को दोषी करार देते हुए एक हफ्ते जेल की सजा सुनाई। इस मामले में सुनवाई के दौरान आंध्र प्रदेश उच्च न्यायालय ने 36 कर्मचारियों को नियमित करने के लिए अप्रैल में जारी आदेशों को लागू नहीं करने पर नाराजगी व्यक्त की थी। अदालत ने आईएएस अधिकारी गिरिजा शंकर और आईएफएस अधिकारी चिरंजीवी चौधरी को आदेशों को लागू करने के लिए बार-बार निर्देशों की अवहेलना करने और उनके आचरण से नाराज होकर अदालत के आदेशों की अवहेलना करने के लिए जेल की सजा सुनाई। 

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