Election Commission : चुनाव आयोग ने जारी किया नया आदेश, चुनावी राज्यों में 22 जनवरी तक रहेगा रैलियों पर प्रतिबंध

Election Commission : सभी पांच राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले चुनाव आयोग ने इन पांचों राज्यों में 22 जनवरी तक रैलियों और रोड शो पर लगे प्रतिबंध को बढ़ा दिया है। वहीं राजनीतिक पार्टियों को इस दौरान केवल वर्चुअल रैली करने की इजाजत दी गई है...;

Update: 2022-01-15 14:35 GMT
Gujarat Election 2022 : गुजरात चुनाव के लिए तारीखों का ऐलान होगा आज, 12 बजे इलेक्शन कमीशन की प्रेस कॉन्फ्रेंस

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Election Commission : सभी पांच राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले चुनाव आयोग ने इन पांचों राज्यों में 22 जनवरी तक रैलियों और रोड शो पर लगे प्रतिबंध को बढ़ा दिया है। वहीं राजनीतिक पार्टियों को इस दौरान केवल वर्चुअल रैली करने की इजाजत दी गई है। मालूम हो कि कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलो को देखते हुए चुनाव आयोग ने सभी चुनावी राज्यों उत्तर प्रदेश (Uttar pradesh), पंजाब (Punjab), उत्तराखंड (Uttarakhand), गोवा (Goa) और मणिपुर (Manipur) में सार्वजनिक रैली, रोड शो और बाइक रैली समेत अन्य चीजों पर प्रतिबंध लगाया था। साथ ही गोवा, मणिपुर, पंजाब, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड राज्यों में चुनाव आयोग ने राजनीतिक दलों को कुछ छूट भी दी। बता दें कि इन राज्यों में विधानसभा चुनाव 10 फरवरी से 7 मार्च तक सात चरणों में होंगे।

राजनीतिक पार्टियों के लिए ये रहेगी छूट

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार चुनाव आयोग ने सभी राजनीतिक दलों को अधिकतम 300 व्यक्तियों या हॉल की क्षमता के 50% के साथ इनडोर बैठकें करने की अनुमति दे दी। साथ ही इसके अलावा सभी राजनीतिक दलों को चुनाव आयोग ने मॉडल कोड ऑफ कंडक्ट (MCC) के प्रावधानों और कोरोना (COVID) के व्यापक दिशानिर्देशों का पालन करने का निर्देश दे दिया है। साथ ही चुनाव आयोग ने राज्य/जिला प्रशासन को MCC और कोरोना संक्रमण से संबंधित सभी निर्देशों का अनुपालन सुनिश्चित करने का निर्देश दिया।

लगाए गए ये प्रतिबंध

बता दें कि इससे पहले उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, गोवा, पंजाब और मणिपुर में चुनाव की तारीखों का ऐलान करते समय चुनाव आयोग ने कोरोना महामारी को देखते हुए 15 जनवरी तक रैलियों, रोड शो और जनसभाओं पर और सार्वजनिक कार्यक्रम पर पूरी तरह रोक लगा दी थी और वर्चुअल रैली करने की अनुमति दी थी। साथ ही चुनाव आयोग ने इन राज्यों में कैंपेन को लेकर गाइडलाइंस जारी की थी। जिसमें नुक्कड़ सभाओं पर भी बैन लगाया गया था। इसके साथ ही डोर-टू-डोर कैंपेन के लिए लोगों की संख्या 5 निश्चित की गई थी। इतना ही नहीं वोटों की गिनती के बाद विजय जुलूस निकालने पर भी प्रतिबंध लगाया गया था।

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