High Court Order : हिंदू विधवा मामले में हाईकोर्ट ने दिया महत्वपूर्ण फैसला, गुजारा में असमर्थ हो तो ससुर से मांग सकती है भरण-पोषण का हक
High Court Order : छत्तीसगढ़ हाई कोर्ट (Chhattisgarh High Court) के जस्टिस गौतम भादुड़ी की डिवीजन बेंच ने एक सुनवाई के दौरान कहा कि पति की मौत के बाद अगर ससुर अपनी बहु को घर से बेदखल कर देता है तो पीड़ित बहु को कानूनी रूप से भरण पोषण का हकदार होगा...
High Court Order : छत्तीसगढ़ हाई कोर्ट (Chhattisgarh High Court) के जस्टिस गौतम भादुड़ी की डिवीजन बेंच ने एक सुनवाई के दौरान कहा कि पति की मौत के बाद अगर ससुर अपनी बहु को घर से बेदखल कर देता है तो पीड़ित बहु को कानूनी रूप से भरण पोषण का हकदार होगा। यानि ऐसे स्थिति में विधवा हो चुकी महिला कोर्ट के समक्ष अपने भरण पोषण का दावा कर सकती है। दरअसल इस मामले में हाई कोर्ट ने फैमिली कोर्ट के निर्णय को सही ठहराया है।
महिला ने किया था भरण-पोषण का दावा
दरअसल, कोरबा की रहने वाली युवती का विवाह 14 साल पहले जांजगीर-चांपा निवासी युवक से हुआ था। विवाह के बाद 2012 में महिला के पति की असमय मृत्यु हो गई। इसके बाद उसके ससुर और ससुराल वालों ने उसे घर निकाल दिया। महिला अपने मायके में रहने लगी। इस दौरान विधवा महिला ने 2015 में जांजगीर-चांपा फैमिली कोर्ट में परिवाद दायर की। इसमें उसने ससुर और ससुराल पक्ष से भरण पोषण राशि देने की मांग की। फैमिली कोर्ट ने महिला के पक्ष में फैसला देते हुए ससुर को आदेशित किया कि विधवा बहू को भरण पोषण राशि दे।
फैमिली कोर्ट के फैसले को चुनौती
विधवा महिला के पक्ष में फैमिली कोर्ट के फैसले को ससुराल वालों ने हाईकोर्ट में चुनौती दी थी। याची पक्ष ने फैमिली कोर्ट के आदेश को अवैधानिक बताया। साथ ही दावा किया कि हिंदू विवाह अधिनियम के तहत कोई भी महिला अपने पति से भरण पोषण के लिए दावा कर सकती है, लेकिन उसकी मौत के बाद ससुरालवालों पर दावा नहीं कर सकती इसलिए फैमिली कोर्ट के आदेश को खारिज किया जाए।
विधवा महिला कर सकती है भरण-पोषण का दावा
छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट (Chhattisgarh High Court) की डिवीजन बेंच ने दोनों पक्षों की सुनवाई के बाद कहा कि हिंदू विवाह अधिनियम के तहत महिला के पति की मौत के बाद बहू की परवरिश की जिम्मेदारी ससुर और ससुरालवालों पर होती है। ऐसे में बहू से विवाद होने या उसे घर से बाहर निकालने पर उसके भरण पोषण की जिम्मेदारी ससुरालवालों की है। कोर्ट ने साफ शब्दों में कहा है कि पति की मौत के बाद विधवा महिला अपने ससुर या ससुरालवालों पर भरण पोषण के लिए दावा (widow claim maintenance) कर सकती है।