UP : मुस्लिम बुजुर्ग से नृशंसता मामले में मुख्य आरोपी प्रवेश गुर्जर का मोबाइल खोल सकता है कई राज

बहुचर्चित लोनी केस में मुस्लिम बुजुर्ग की पिटाई के आरोपी प्रवेश का मोबाईल बरामद, कई राज खुलने की उम्मीद...

Update: 2021-06-26 09:48 GMT

गाजियाबादः यूपी में इन दिनों दो घटनाओं की बहुत चर्चा है। पहली लोनी में बुजुर्ग के साथ मारपीट, जबरन दाढ़ी काटना और बाद में उसे धार्मिक रंग देने का मामला। और दूसरा धर्मांतरण रैकेट का खुलासा। लोनी वाली घटना पर पुलिस लगातार कार्रवाई कर रही है। मामले में आरोपी प्रवेश का मोबाईल फोन पुलिस ने बरामद कर लिया है। माना जा रहा है कि इस मोबाईल फोन के मिलने से पूरी घटना को लेकर कई अहम खुलासे हो सकते हैं।

प्रवेश का मिला मोबाइल

लोनी बॉर्डर पुलिस ने बुजुर्ग अब्दुल समद के साथ हुई मारपीट के आरोपी प्रवेश को रिमांड पर लेने के बाद उससे पूछताछ की। जिसके आधार पर 5 जून को हुई घटना से जुड़ीं कई चीजें मिली हैं। सीओ लोनी अतुल सोनकर ने जानकारी दी है कि इस मामले में घटना का वीडियो प्रवेश के जिस मोबाइल से बनाया गया था, उसे पुलिस ने बरामद किया है। इसके साथ ही बुजुर्ग को धमकाने के लिए इस्तेमाल किए गए तमंचे और दाढ़ी काटने वाली कैंची भी पुलिस ने बरामद की है। मामले जांच की जा रही है।

मिली जानकारी के मुताबिक, अब्दुल समद से मारपीट का वीडियो प्रवेश के मोबाइल से बनाया गया था। पुलिस ने उस मोबाइल को तो बरामद कर लिया है, लेकिन उसमें वह वीडियो नहीं मिला है। अब पुलिस मोबाइल को एफएसएल के पास भेज रही है। ताकि वीडियो को रिकवर किया जा सके। जानकारी दे दें कि प्रवेश को रंगदारी मामले में पीसीआर पर लिया गया था। प्रवेश के मोबाइल पर बने मारपीट के वीडियो को एडिट कर सोशल मीडिया पर डाला गया था।

पुलिस इस बात का भी पता लगाने में जुटी है कि वीडियो को किन-किन लोगों को भेजा गया। बता दें कि बिना ऑडियो वाले इस वीडियो में बुजुर्ग की दाढ़ी काटने के मामले को धार्मिक रंग दिया गया था। इस पूरे मामले में पुलिस ने प्रवेश समेत 10 लोगों को गिरफ्तार भी किया है। पुलिस की अब तक की जांच में ये बात सामने आयी है कि घटना ताबीज के विवाद में हुई थी। इस मामले में सोशल मीडिया फेसबुक पर गलत जानकारी के साथ फेसबुक लाइव करने वाले सपा नेता उम्मेद पहलवान को भी पुलिस गिरफ्तार कर चुकी है और अभी अन्य नामों की भी जांच की जा रही है।

इस पूरी घटना को सांप्रदायिक रंग देने की मामले में पुलिस नई रणनीति बना रही है, ताकि भ्रामक जानकारी फैलाने वालों के खिलाफ शिकंजा कसा जा सके। बता दें कि इस घटना को धार्मिक रंग देने के आरोप में पुलिस ट्विटर इंडिया समेत 9 लोगों पर केस दर्ज कर चुकी है। अब इनके खिलाफ आगे की कार्रवाई के लिए पुलिस कानूनी सलाह ले रही है। दरअसल पुलिस ने ट्विटर इंडिया के एमडी को बयान दर्ज कराने के लिए लोनी बॉर्डर थाने में बुलाया था। ट्विटर के बयान दर्ज कराने के लिए नहीं आने पर सेक्शन 41 के तहत कार्रवाई की बात की गई थी। इसे लेकर ट्विटर इंडिया के एमडी कर्नाटक हाई कोर्ट गए थे। वहां से उन्हें 29 जून तक की राहत मिली है। ऐसे में गाजियाबाद पुलिस के अधिकारी कर्नाटक हाईकोर्ट के इस आदेश की स्टडी के बाद ही आगे कोई फैसला करने की बात कह रहे हैं। वहीं एफआईआर में शामिल कुछ अन्य नामों को भी पुलिस ने नोटिस जारी किए थे, जिनमें से कुछ ने हाईकोर्ट का रुख किया है।

माना जा रहा है कि पुलिस वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से ट्विटर इंडिया हेड और एफआईआर में शामिल अन्य लोगों से बात कर सकती है। हालांकि अभी तक अधिकारिक रूप से वीडियो कॉन्फ्रेंस की बात नहीं की गई है। लेकिन पुलिस इस पर विचार कर रही है।

बता दें कि 24 जून को पुलिस की गिरफ्तारी से बचने के लिए प्रवेश गुर्जर ने किसी दूसरे मामले में कोर्ट में सरेंडर कर दिया था। इसके बाद दाढ़ी काटने के मामले में उसके वकील परविंदर नागर ने उसे कोर्ट से अंतरिम जमानत दिला दी थी।

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