Medical Seats Left Vacant in Bihar : बिहार में मेडिकल की पढ़ाई में क्यों दिलचस्पी नहीं ले रहे छात्र? जानिए कॉलेजों में कितनी सीटों पर नहीं हुआ नामांकन

Medical Seats Left Vacant in Bihar : बिहार में इस बार सभी 11 सरकारी मेडिकल कॉलेजों में दाखिले की 79 सीटें खाली रह गई हैं। वहीं प्राइवेट मेडिकल कॉलेजों की भी 446 सीटें खाली हैं। इसका मतलब है कि इस बार बिहार के मेडिकल कॉलेजों के 525 सीटों पर नामांकन के लिए उम्मीदवार नहीं मिले हैं...

Update: 2022-04-05 09:48 GMT

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Medical Seats Left Vacant in Bihar : जहां एक ओर विदेश में जाकर मेडिकल की पढ़ाई करने के लिए होड़ लगी रहती हैं वहीं बिहार (Bihar) में मेडिकल की सीटें (Medical Seats) पूरी भर भी नहीं पा रही है। बिहार में इस बार सभी सरकारी 11 मेडिकल कॉलेजों में दाखिले की 79 सीटें खाली रह गई हैं। वहीं प्राइवेट मेडिकल कॉलेजों की भी 446 सीटें खाली हैं। इसका मतलब है कि इस बार बिहार के मेडिकल कॉलेजों के 525 सीटों पर नामांकन के लिए उम्मीदवार नहीं मिले हैं।

जहां एक ओर बिहार में विपक्ष की ओर से लगातार मेडिकल की सीटों को बढ़ाने की मांग की जा रही थी वहीं इस बीच एक बिहार से एक ऐसा आंकड़ा सामने आया है जो अचरज में डालने वाला है। बिहार के सरकारी मेडिकल कॉलेजों में 85 प्रतिशत सीटों पर दूसरे चरण के नामांकन के बाद भी 79 सीटें नहीं भर पायी है।

बिहार में ऐसा पहली बार हुआ है जब बिहार के सभी सरकारी 11 मेडिकल कॉलेजों में सीटें खाली बच गयी हैं। इसके साथ-साथ निजी मेडिकल कॉलेजों की 446 सीटें भी खाली हैं। यानी कुल मिलाकर बिहार में मेडिकल की 525 सीटें खाली हैं।

आपको बता दें कि बीते दिनों रूस-यूक्रेन युद्ध के दौरान ​यूक्रेन से जब मेडिकल छात्रों की वापसी हो रही थी तो बिहार में विपक्षी दलों की ओर से यह मांग की गयी थी कि प्रदेश के मेडिकल कॉलजों में सीटें बढायी जाए ताकि छात्रों को मेडिकल की पढ़ाई करने के लिए विदेश नहीं जाना पड़े।

अब सरकार के सूत्रों की ओर से बताया जा रहा है बिहार के सरकारी मेडिकल कॉलेजों में खाली बच गयी एमबीबीएस (MBBS) की 79 सीटों पर पांच अप्रैल से मॉपअप राउंड प्रक्रिया के तहत नामांकन होंगे। एडमिशन के लिए बिहार संयुक्त प्रवेश प्रतियोगिता परीक्षा पर्षद (BCICEB) ने सोमवार को अपनी रिवाइज्ड मेरिट लिस्ट भी जारी कर दी है। अंडर ग्रेजुएट मेडिकल एडमिशन काउंसेलिंग (UGMAC) 2021 से जुड़े सभी छात्रों को मॉपअप राउंड में मौजूद हेकर होकर एडमिशन के लिए सीट सुरक्षित करना होगा।

बिहार के किस सरकारी मेडिकल कॉलेज में कितनी सीटें खाली

जेकेटीएमसी एंड हॉस्पिटल मधेपुरा : 21

इएसआइसी मेडिकल कॉलेज बिहटा : 9

जीएमसी बेतिया: 9

आइजीआइएमएस : 7

एनएमसी: 6

जेएलएनएमसी भागलपुर: 5

पटना मेडिकल कॉलेज : 5

एसकेएमसी मुजफ्फरपुर: 5

वीआइएमएस पावापुरी : 5

एएनएमएमसी गया: 5

डीएमसी लहेरियासराय: 2

वहीं बोर्ड के विशेष कार्य पदाधिकारी अनिल कुमार सिन्हा (Anil Kumar Sinha) की ओर से कहा गया है कि जिन कैंडिडेट का BDS कोर्स में सीट आवंटन होता है उन्हें उसी दिन पर्षद कार्यालय में आकर दाखिला लेना होगा, वरना एडमिशन कैंसिल माना जाएगा।

बिहार में केवल सरकारी ही नहीं, निजी मेडिकल कॉलेजों में भी सीटें खाली रह गयी हैं। बिहार के प्राइवेट मेडिकल कॉलेजों में 1050 सीटों पर नामांकन होना है। मॉपअप राउंड में बिहार के प्राइवेट मेडिकल कॉलेजों में 446 सीटें खाली है। प्राइवेट डेंटल कॉलेज की कुल 240 सीटों में 130 सीटें खाली रह गयी हैं। इन खाली सीटों पर मॉपअप राउंड के तहत नामांकन पांच से 10 अप्रैल तक चलेंगे। स्टूडेंट्स को 12 लाख रुपये और प्राइवेट डेंटल कॉलेजों में एडमिशन लेने वालों को 50 हजार रुपये का डिमांड ड्राफ्ट बना कर लाना होगा। पहली बार सरकारी डेंटल कॉलेज में भी 30 में से 25 सीटें खाली बच गयी है।

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