दिल्ली महिला आयोग ने पीड़िता को दिया 25 लाख का मुआवजा

Update: 2017-09-25 12:30 GMT

अबतक किसी भी राज्य महिला आयोग ने किसी पीड़िता को इतनी बड़ी मुआवजा राशि नहीं दी होगी। मुआवजे की यह राशि पीड़िता के सीधे खाते में जाएगी, मिलेगी भी अलग—अलग वर्षों में जिससे पीड़िता बन सके देश की सक्षम नागरिक...

दिल्ली, जनज्वार। आम आदमी पार्टी की दिल्ली सरकार फिर एक बार अपने सकारात्मक पहल को लेकर चर्चा में है। दिल्ली सरकार के अंतर्गत काम करने वाले दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति जयहिंद ने एक बलात्कार पीड़िता को 25 लाख का मुआवजा देने का निर्णय लिया है।

आयोग ने यह निर्णय बाल न्यायालय द्वितीय के उस निर्णय के बाद दिया जिसमें न्यायालय ने पीड़िता को मुआवजे के लिए कहा था।

महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति जयहिंद के मुताबिक, 'पीड़िता के साथ हुए अपराध की तीव्रता को तो कम नहीं किया जा सकता, पर उसको नई जिंदगी शुरू करने और दुबारा नई उर्जा के साथ खड़े होने का साहस जरूर दिया जाना चाहिए। और हमने कानून विशेषज्ञों, मानवाधिकार कार्यकर्ताओं और बाल अधिकार पर काम करने वाले एनजीओ के सुझावों के बाद यह कदम उठाया है।'

उत्तरी दिल्ली में रहने वाले एक रिक्शा चालक की 5 वर्षीय बेटी के साथ वर्ष 2011 में रेप हुआ। अपराधी ने पहले पार्क में खेल रही बच्ची के चेहरे और सिर पर हमला किया। इससे वह अधमरी हो गयी। अधमरी हालत में अपराधी ने उसका रेप किया। जब उसे लगा कि बच्ची मर गयी है तो उसे वहीं छोड़कर चला गया।

वारदात के कुछ घंटे बाद किसी की निगाह पड़ी तो पुलिस की मदद से बच्ची अस्पताल ले जाई गयी। डॉक्टरों ने इलाज के दौरान पाया कि उसके सिर, चेहरे और योनी पर गहरे चोट के निशान हैं और योनी के अंदर गहरे जख्म हैं।

11 साल की बच्ची की सुनवाई करते हुए बाल न्यायालय द्वितीय के जज ने आदेश दिया कि बच्ची के पालन—पोषण और बेहतर जीवन के लिए आयोग मुआचजा दे। उसके बाद महिला आयोग ने यह फैसला लिया।

उत्तर दिल्ली में रह रही बच्ची और उसके परिवार में पिता रिक्शा चलाकर घर चलाते हैं। वह रिक्शे से महीने में 8 हजार रुपए कमा लेते हैं। आयोग ने 25 लाख रुपए की राशि पीड़ित लड़की के नाम से देने का निर्णय लिया है, जिसमें पढ़ाई, भोजन, दवा, अन्य दैनिक खर्च और उच्च शिक्षा का बजट शामिल है। लड़की को 25 लाख की राशि की आखिरी किश्त उसके 22 साल के होने पर मिलेगी।

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