9 अगस्त को ही दौरा कर लौटे थे गोरखपुर मेडिकल कॉलेज से मुख्यमंत्री और दूसरे दिन ही हुई 30 बच्चों की मौत, गोरखपुर न्यूज लाइन वेबसाइट ने कल ही चेता दिया था आॅक्सीजन का स्टॉक हो चुका है खत्म, आॅक्सीजन कंपनी के अधिकारियों ने कल ही लिखित में दे दी थी सूचना
सवाल वही कि क्या ऐसे चलेगा योगी का राज, यही है दमखम वाले मुख्यमंत्री की बिसात
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के संसदीय क्षेत्र गोरखपुर में हुई है मौत, मरने वालों में इंसेफलाइटिस के मरीज और नवजात बच्चे शामिल, हॉस्पीटल पर 63 लाख से अधिक का था बकाया इसलिए नहीं आया था आॅक्सीजन, बांसगांव के सांसद कमलेश पासवान भी पहुंचे थे मृतकों को देखने, उन्होंने भी माना आॅक्सीजन की कमी से हुई थी मौत
गोरखपुर, जनज्वार। गोरखपुर बीआरडीपीजी मेडिकल कॉलेज के नहेरु चिकित्सालय में आॅक्सीजन की कमी के कारण आज 30 बच्चों की मौत हो गयी। गोरखपुर के जिलाधिकारी राजीव रौतेला ने बताया कि पिछले 48 घंटे में 30 बच्चों की मौत हो चुकी है। हालांकि सरकार का कहना है कि कोई मौत आॅक्सीजन की कमी से नहीं हुई। अस्पताल में 100 सिलिंडर होने की बात प्रशासन ने कही है।
9 अगस्त को जब मुख्यमंत्री मेडिकल कॉलेज के इंसेफलाइटिस वार्ड के दौरे पर पहुंचे तब मुख्य चिकित्साधिकारी ने सबकुछ ठीक होने की बात कही थी। ऐसे में सवाल यह उठता है कि क्या अधिकारी मुख्यमंत्री को सही स्थिति नहीं बताते और सरकार को चाहे—अनचाहे यह फजीहत झेलनी पड़ती है।
गौरतलब है कि पिछले लंबे समय से मेडिकल कॉलेज में आॅक्सीजन के पेमेंट का मामला लंबित था। सरकार ने हमेशा की तरह इन मौतों की मजिस्ट्रेटियल जांच के आदेश दे दिए हैं। हॉस्पीटल के अधिकारियों के अनुसार आॅक्सीजन की कमी की दोषी वह एजेंसी है जो जिसके पास आॅक्सीजन उपलब्ध कराने का ठेका था।
अस्पताल में 23 बच्चों की मौत 10 अगस्त को ही हो गयी थी, जिनमें से 12 बच्चे इंसेफलाइटिस के मरीज थे। शेष 7 बच्चों के मौत की सूचना आज शाम मिली है। हर रोज दर्जनों बच्चे इंसेफलाइटिस के रोक के कारण इस अस्पताल में भर्ती होते हैं, जबकि इस वार्ड में मात्र 8 डॉक्टर हैं।
पढ़िए गोरखपुर न्यूज लाइन के संपादक मनोज सिंह की फैक्ट शीट जिन्होंने सबसे पहले 10 अगस्त को ही आॅक्सीजन की कमी का कर दिया था खुलासा
बीआरडी मेडिकल कालेज के सेन्टल आक्सीजन पाइन लाइन आपरेटरों ने कल ही 10 अगस्त को गोरखपुर मेडिकल कालेज के प्राचार्य, प्रमुख चिकित्सा अधीक्षक, एनएचएम के नोडल अधिकारी को पत्र लिखकर इस बावत जानकारी दे दी है।
इस पत्र में कहा गया है कि लिक्विड आक्सीजन सप्लाई करने वाली कम्पनी पुष्पा सेल्स ने पिछला भुगतान नहीं होने की स्थिति आक्सीजन की सप्लाई करने से मना कर दिया है। इस पत्र में कहा गया है कि आज सुबह 11 बजे तक लिक्विड आक्सीजन की रीडिंग 900 है जिससे आज रात तक ही आक्सीजन सप्लाई हो पाएगा।
पुष्पा सेल्स कम्पनी ने मेडिकल कालेज में लिक्विड आक्सीजन का प्लांट स्थापित किया है जिससे मेडिकल कालेज से सम्बद्ध नेहरू चिकित्सालय में आक्सीजन सप्लाई की जाती है जिससे टामा सेंटर, वार्ड नम्बर 100, 12, 10, 14 व अन्य वार्डों में भर्ती मरीजों को आक्सीजन दी जाती है। इसमें तीन ऐसे वार्ड हैं जिसमें इंसेफेलाइटिस के मरीज भर्ती होते हैं।
पुष्पा सेल्स कम्पनी ने एक अगस्त को बीआरडी मेडिकल कालेज के प्राचार्य को पत्र लिखकर कहा था कि मेडिकल कालेज पर 63.65 लाख बकाया है जिसका भुगतान बार-बार पत्र लिखने के बाद भी नहीं हो रहा है।