Gorakhpur News : गोरखपुर की पूजा ने इलेक्ट्रिक बस के ड्राइवर के रूप में संभाला कार्यभार, अंडर 19 टीम से खेल चुकी हैं हॉकी

Gorakhpur News : पूजा अब लड़कियों के लिए ड्राइविंग एकेडमी खोलना चाहती हैं। पूजा बताती हैं कि वह भारी वाहन इसलिए चला रही हैं कि ताकि लड़कियों को संदेश पहुंचे कि कोई काम नामुमकिन नहीं है....

Update: 2021-12-11 09:10 GMT

(इलेक्ट्रिक बस का जिम्मा संभालेंगी पूजा प्रजापति)

Gorakhpur News : उत्तर प्रदेश के गोरखपुर (Gorakhpur) में हॉकी की राष्ट्रीय खिलाड़ी पूजा प्रजापति (Pooja Prajapati) खूब चर्चाओं मे है। पूजा प्रजापति ने जिले में पहले भारी वाहन का ड्राइविंग लाइसेंस  (Driving Liecence) लिया था अब उसने नगर निगम द्वारा शहर में संचालित की जाने वाली इलेक्ट्रिक बस की स्टेयरिंग को थाम लिया है। पूजा हॉकी के अलावा तैराकी में अन्य लड़कियों के लिए प्रेरणास्त्रोत बनी हुई हैं।

नगर निगम की इलेक्ट्रिक बस (Electric Bus) में ड्राइवर के रूप में जिम्मा संभालने के बाद से हर कोई उसके हौसले की तारीफ कर रहा है। पूजा ने जब ट्रक की स्टेयरिंग थामी तो परिवार ने तो सपोर्ट किया लेकिन पढ़ोसियों ने चिढ़ाना शुरू कर दिया था। पूजा बताती हैं कि पापा का पूरा सपोर्ट था लेकिन भारी वाहन चलाने पर पड़ोसी चिढ़ाते थे। कहते थे कि अच्छे परिवार की होकर ट्रक चलाओगी।

पूजा बताती हैं कि उसकी हमेशा से इच्छा रही कि वह काम करूं जो लड़कियों के लिए वर्जित मानी जाती है। इसी जिद के चलते साल 2015 में भारी वाहन का ड्राइविंग लाइसेंस हासिल किया। पूजा ने नोएडा में टाटा द्वारा आयोजित भारी वाहनों की रेस प्रतियोगिता में भी हिस्सा लिया।

पूजा अब लड़कियों के लिए ड्राइविंग एकेडमी खोलना चाहती हैं। पूजा बताती हैं कि वह भारी वाहन इसलिए चला रही हैं कि ताकि लड़कियों को संदेश पहुंचे कि कोई काम नामुमकिन नहीं है। 

पूजा ने पांच साल पहले स्वीमिंग सीखना शुरू किया। अब वह सैयद मोदी स्टेडियम में पुराने खिलाड़ियों से मोर्चा लेती हैं। स्वीमिंग कोच संतोष श्रीवास्तव कहते हैं कि पूजा में सीखने और कुछ कर गुजरने का गजब का जज्बा है। पूजा के पिता बेचन प्रसाद बड़े ट्रांसपोर्टर हैं। सहजनवा में उनका पेट्रोल पंप है।

पूजा के दो भाई और दो बहनों की शादी हो चुकी है। बहुमुख प्रतिभा की धनी पूजा महाराष्ट्र और गुजरात में हुई कई प्रतियोगिताओं में अंडर 19 टीम का नेतृत्व कर चुकी हैं। एनएसएस की तरफ से वह गणतंत्र दिवस की परेड में भी शिरकत कर चुकी हैं। एनसीसी में सी सर्टिफिकेट हासिल कर चुकी हैं। पूजा बताती हैं कि मुख्यमंत्री से मुलाकात हुई तो लड़कियों के लिए ड्राइविंग एकेडमी खोलने का अनुरोध करूंगी। इससे महिलाओं को रोजगार मिलेगा और आत्मविश्वास भी बढ़ेगा।

 महिला पीजी कॉलेज एमएड में विभागाध्यक्ष डॉ. रेखा श्रीवास्तव बताती हैं कि सांस्कृति प्रस्तुतियों से लेकर हर खेल में पूजा माहिर है। वह उन लड़कियों के लिए प्रेरणास्त्रोत है जो समाज में कुछ अलग पहचान बनाना चाहते हैं।

अकेले पूजा ही नहीं बल्कि उनकी मां सोनमती देवी के साथ दो अन्य बहनें भी चार पहिया गाड़ी चलाती हैं। परिवार में गाड़ी होने के चलते किसी को ड्राइविंग सीखने में दिक्कत नहीं हुई। पूजा बताती हैं कि मां ने हमेशा बताया कि कोई काम असंभव नहीं है। जो लीक से हटकर काम करता है वहीं जिंदगी में सफल होता है। 


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