संगीन होता जा रहा एंटीलिया केस, जहां मिली थी मनसुख हिरेन की लाश, वहां एक और शव बरामद
एंटीलिया केस में अब एक और थ्रिलर आया सामने, जहां पर संदिग्ध कार मालिक मनसुख हिरेन की लाश बरामद हुयी थी, वहां से और और शव बरामद किया गया है...
जनज्वार। उद्योगपति मुकेश अंबानी के घर के आगे विस्फोटक बरामद होने का मामला संगीन होता जा रहा है। सरकारी एजेंसियां जैसे-जैसे जांच को आगे बढ़ा रही है किसी थ्रिलर सिनेमा की तरह घटनाक्रम उजागर हो रहे हैं और गुत्थी उलझती दिखाई दे रही है। अब इस मामले में एक और नई कड़ी जुड़ गयी है। जहां पर संदिग्ध कार मालिक मनसुख हिरेन की लाश बरामद हुयी थी, वहां से और और शव बरामद किया गया है।
राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) के वरिष्ठ अधिकारियों ने मीडिया को बताया था कि मुंबई पुलिस अधिकारी सचिन वझे अरबपति उद्योगपति मुकेश अंबानी के घर के बाहर बम रखने के लिए ज़िम्मेवार थे, जिसे उन्होंने एक सफल पुलिस वाले के रूप में अपनी प्रतिष्ठा को बहाल करने के लिए एक साजिश के तहत किया। एनआईए के अनुसार विस्फोटक से भरे वाहन के आसपास के रहस्य को सुलझा लिया गया है।
जानकारी के मुताबिक मुंब्रा के रेती बंदर जगह पर जहां मनसुख हिरेन की लाश मिली थी, वहां एक शव बरामद हुआ है। गौरतलब है कि 5 मार्च को स्कॉर्पियो के कथित मालिक मनसुख हिरेन की लाश संदिग्ध हालत में बरामद की गयी थी, जबकि कुछ दिन पहले ही मनसुख ने इस गाड़ी के गुम होने की रिपोर्ट दर्ज कराई थी।
एएनआई ने ट्वीट किया है, 'मुंब्रा के रेती बंदर इलाके में जो शव मिला है, उसकी पहचान 48 वर्षीय सलीम अब्दुल के तौर पर हुई है जो उसी इलाके का रहने वाला है। शव को पुलिस को सौंप दिया गया है।' हालांकि, सलीम अब्दुल के शव मिलने की घटना का मनसुख हिरेन की मौत या अंबानी केस से कोई लेना-देना है या नहीं, अब तक इसकी कोई जानकारी सामने नहीं है।
गौरतलब है कि मनसुख हिरेन की मौत मामले में महाराष्ट्र के आतंकवाद निरोधक दस्ता यानी एटीएस ने क्राइम ब्रांच के अधिकारी सचिन वझे समेत 25 लोगों से पूछताछ कर बयान दर्ज किया है। कार के कथित मालिक मनसुख हिरेन की संदिग्ध मौत पर काफी सवाल उठ रहे हैं और यह केस लगातार उलझता जा रहा है। मनसुख हिरेन की पत्नी ने भी सरेआम आरोप लगाया है कि उनके पति की मौत का जिम्मेदार सचिन वझे है।
एटीएस के हवाले से जो खबर आयी उसमें कहा गया हकि व्यापारी मनसुख हिरेन की डायटम जांच (डूबकर मौत से संबद्ध मेडिकल जांच) रिपोर्ट से पता चलता है कि जब वह पानी में गिरे थे तब वह जिंदा थे। हालांकि यह रिपोर्ट निर्णायक नहीं है। महाराष्ट्र का आतंकवाद निरोधक दस्ता (एटीएस) हिरेन की रहस्यमय मौत की लगातार जांच कर रहा है। यह बात गौर करने वाली है कि डायटम जांच डूबकर होने वाली मौत की जांच एवं उसकी पुष्टि में एक अहम माध्यम होती है।
इस संबंध में एक अधिकारी ने मीडिया को बताया कि डायटम जांच रिपोर्ट से पता चलता है कि हिरेन जब पानी में गिरे थे तब वह जिंदा थे। उनके फेफड़े में पानी घुस जाने की पुष्टि हो रही है। हमने इस डायटम बोन नमूने को हरियाणा स्थित अपराध विज्ञान प्रयोगशाला में भेजा है। उजांचकर्ताओं को डायटम जांच रिपोर्ट मिल गई है, लेकिन यह निर्णायक नहीं है। विसरा, रक्त नमूने, नाखून क्लिपिंग की रिपोर्ट का भी हम इंतजार कर रहे हैं।
एटीएस के डीआईजी शिवदीप ने भी मीडिया के सामने डायटम बोन नमूने हरियाणा स्थित प्रयोगशाला में भेजे जाने की पुष्टि की थी। उन्होंने बयान दिया कि एटीएस उन तीन डॉक्टरों का बयान दर्ज करेगी, जिन्होंने कालवा में छत्रपति शिवाजी महाराज अस्पताल में हिरेन का पोस्टमार्टम किया था।
गौरतलब है कि उद्योगपति मुकेश अंबानी के दक्षिण मुंबई स्थित आवास के पास 25 फरवरी को विस्फोटक और धमकी भरे पत्र के साथ एक स्कॉर्पियो एसयूवी कार संदिग्ध हालत में बरामद की गयी थी।
इस घटना के बाद मनसुख हिरेन नाम के शख्स ने दावा किया था कि जो कार अंबानी के घर के आगे बरामद की गयी है, वह उनकी है जोकि चोरी हो गयी थी। यह मामला उस समय पेंचीदा हो गया जब पांच मार्च को ठाणे में एक नदी किनारे हिरेन मृत पाए गए थे। हिरेन की पत्नी ने दावा किया कि उनके पति ने एसयूवी पिछले साल नवंबर में वझे को दी थी और उन्होंने फरवरी के पहले हफ्ते में यह कार लौटाई थी। हालांकि वझे ने इस आरोप को झूठा करार दिया था।