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यूपी के जालौन में पुलिस और जिला प्रशासन की मिलीभगत से चल रहा अवैध खनन का खुल्ला खेल, हाशिये पर किसान

Nirmal kant
23 Dec 2019 3:31 PM IST
यूपी के जालौन में पुलिस और जिला प्रशासन की मिलीभगत से चल रहा अवैध खनन का खुल्ला खेल, हाशिये पर किसान
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उत्तर प्रदेश के जालौन में पुलिस और जिला प्रशासन की मिलीभगत से चल रहा अवैध खनन, माफियाओं की बेतवा की जलधारा पर बनाए अवैध पुल, किसानों को सता रही सिंचाई की चिंता..

कानपुर से मनीष दुबे की रिपोर्ट

जनज्वार। उत्तर प्रदेश में खनन प्रक्रिया शुरू होते ही मौरंग माफिया सक्रिय हो चुके हैं, जो अधिक मुनाफे के चक्कर में नियम कानूनों को ताक पर रखकर अवैध खनन करने से भी गुरेज नहीं कर रहे हैं। जालौन में माफिया और जिला प्रशासन की मिलीभगत के चलते अवैध खनन जोरों पर है। माफिया बेतवा की जलधारा को रोककर अवैध पुल बनाते हुए किसानों की जमीनों से रास्ता बनाकर अवैध खनन को अंजाम दे रहे हैं।

शनिवार 21 दिसंबर को अवैध खनन की शिकायत पर कार्यवाही करने एसडीएम व सीओ मौके पर पहुंचे, इस दौरान अवैध खनन चल ही रहा था, इसके बावजूद कोई कार्यवाही नहीं की गई। प्रशासन ने जांच की बात कहते हुए मामले से पल्ला झाड़ लिया। इससे खनन माफियाओं के हौसले बुलंद हैं।

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गौरतलब है कि जालौन में खनन माफियाओं ने अवैध खनन का अब अनोखा तरीका अख्तियार किया है। बेतवा में अवैध खनन के लिए जालौन के खनन माफियाओं ने समीपवर्ती जनपद हमीरपुर के मौरंग माफियाओं से हाथ मिलाकर एक दूसरे की सीमा में खनन करने का कारोबार शुरू किया है। जिसके लिए माफियाओं ने मिलकर बेतवा की जलधारा को रोकते हुए उस पर अवैध पुल बना रखा है। अब आसपास के गांवों के किसानों को अपने खेतों की सिंचाई की चिंता सता रही है।

किसानों की जमीनों से बना दिया रास्ता

मौरंग माफियाओं ने अपने इस गोरखधंधे को अंजाम देने के लिए किसानों की जमीनों से कच्चा रास्ता तक बना लिया है, जिसके चलते किसानों की सैकड़ों एकड़ उपजाऊ जमीनों की फसलें बर्बाद हो रही हैं। किसानों के द्वारा फसलों की बर्बादी और सिंचाई की चिंता प्रशासन को समय-समय पर बताई गई।

जालौन में चल रहे इस अवैध खनन व किसानों की मिली शिकायतों के बाद उरई के एसडीएम व सीओ ने जालौन की सीमा से सटे घुरोली खण्ड संख्या 2 मौरंग खदान पर छापेमारी की। टीम को मौके पर कच्चे अवैध पुल और रास्ते भी मिले, लेकिन अधिकारियों ने कोई कार्यवाही नहीं की और केवल जांच का आश्वासन दिया, जिससे कहीं न कहीं मामले में जिला प्रसाशन की संलिप्तता भी नजर आ रही है।

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स बारे में एसडीएम उरई विकास कश्यप कहते हैं, 'इस समय एक घाट हमीरपुर में चल रहा है और एक घुरौली में चल रहा है। इन घाटों का रास्ता हमीरपुर से जा रहा है। ऐसा अभी देखने में आया है कि रास्ते में पाइप डालकर वाहनों के लिए रास्ता बना लिया गया है। नदी पे इन्होंने जो भी बनाया है, यदि लीगल है तो ठीक है और यदि जांच में इल्लीगल पाया जाएगा तो अवैध होगा। और उचित कार्रवाई की जाएगी।

मौरंग खदान संचालक तकदीर सिंह कहते हैं, अभी आप लोग तो खंड संख्या 26/2 चिंदवारी खदान पे खड़े हैं। इसकी माइनिंग क्लीयर्ड है। हमें जहां जहां मार्कडाउट हुआ, सब अभी शुरू हुआ है। 26 एकड़ का खण्ड है और नदिया की धारा में जो बदलाव आया है, वो कहीं भी चेंज नहीं है। नदी की धारा को रोंककर जो रास्ता बनाया गया है, उसके हमारे पास आदेश हैं।

स बारे में खनन अधिकारी रंजीत निर्मल का कहना है कि अभी मौजूद समय जनपद में 5 पट्टे चल रहे हैं जिसमें 2 जालौन व 3 पट्टे उरई में चल रहे हैं। ओवरलोड के सवाल पर खनन अधिकारी ताल ठोंक कर कह रहे हैं कि सभी गाड़ियां अंडरलोड चल रही हैं। साथ ही बताया कि ओवरलोड मिली अब तक 70 गाड़ियों को पकड़ कर कार्रवाई की जा चुकी है।

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