'अक्षय कुमार खाते हैं गोबर' कहने वाले BJP नेता कथीरिया ने अब गोबर पर किया नया दावा, जानिये इनका इतिहास

कथीरिया ने कहा कि गाय का गोबर रेडिएशन रोक सकता है, जिसका इस्तेमाल मोबाइल में होना चाहिए, उन्होंने दावा किया कि यह चिप मोबाइल हैंडसेट से निकलने वाले रेडिएशन को काफी कम कर देता है....

Update: 2020-10-13 13:03 GMT

जनज्वार। गाय के गोबर से कोरोना भागने के बाद इसके फिर से नए गुण निकलकर सामने आ रहे हैं। यह गुण निकाला है भाजपा के दर्जा प्राप्त केन्द्रीय मंत्री बनने जा रहे पूर्व केन्द्रीय मंत्री वल्लभभाई कथीरिया ने। कथीरिया ने इसे लेकर कई तरह के दावे भी किए हैं। पहले भी गोबर दावों में ही रहता आया है, कुछ चुनिंदा सरकारों में। गोबर में कई बार विवाद भी हुए। अबकी गोबर का दावा नया है। अक्षय कुमार ने गोबर खाकर दिखाया की पुष्टि करते हुए नए बनने जा रहे केन्द्रीय मंत्री का दावा है कि गोबर एंटी रेडिएशन यानी विकिरण विरोधी है।

दरअसल सोमवार 12 अक्टूबर को 'कामधेनु दीपावली अभियान' के राष्ट्रव्यापी अभियान के दौरान वल्लभभाई कथीरिया ने गाय के गोबर से बनी एक चिप का अनावरण किया। उनने दावा भी किया कि यह मोबाइल हैंडसेट से निकलने वाले रेडिएशन को काफी कम कर देता है।

साथ ही कथीरिया ने कहा, आपने कुछ दिन पहले सुना होगा कि अभिनेता अक्षय कुमार, उन्होंने गाय का गोबर खाया है। आप इसे खा सकते हैं। यह एक दवा की तरह है। लेकिन हम अपने विज्ञान को भूल गए हैं। उन्होंने कहा, अब हमने एक शोध परियोजना शुरू की है। हम इन विषयों पर शोध करना चाहते हैं जिन्हें हम एक मिथक मानते हैं।

गाय के गोबर और गौमूत्र को लेकर कई तरह के दावे किए जाते हैं जिनपर अक्सर विवाद खड़ा हो जाता है। इसी कड़ी में मत्स्य, पशुपालन और डेयरी मंत्रालय के अंतर्गत आने वाले राष्ट्रीय कामधेनु आयोग के चेयरमैन वल्लभभाई कथीरिया ने गाय के गोबर को लेकर एक अलग दावा किया है। कथीरिया ने कहा कि गाय का गोबर रेडिएशन रोक सकता है, जिसका इस्तेमाल मोबाइल में होना चाहिए। उन्होंने दावा किया कि यह चिप मोबाइल हैंडसेट से निकलने वाले रेडिएशन को काफी कम कर देता है।

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पूर्व मंत्री कथीरिया ने कहा कि यदि आप बीमारी से बचना चाहते हैं तो इस चिप का इस्तेमाल कर सकते हैं। कथीरिया ने दावा किया कि गाय का गोबर एंटी-रेडिएशन है और सभी की रक्षा करता है। यह वैज्ञानिक रूप से सिद्ध है। चिप का उपयोग विकिरण को कम करने के लिए मोबाइल फोन में किया जा सकता है, जो आपको बीमारियों से सुरक्षित रखेगा। इस आयोग की स्थापना केंद्र ने फरवरी, 2019 में की थी। जिसका उद्देश्य 'गायों का संरक्षण और विकास' करना है। कथीरिया ने इस चिप को 'गौसत्व कवच' का नाम दिया है। जिसका पैटेंट गुजरात के राजकोट स्थित श्रीजी गौशाला का है।

गाय के गोबर से बने कई उत्पादों को प्रदर्शित करते हुए पूर्व सांसद ने कहा, गाय का गोबर सभी की रक्षा करता है, यदि आप इसे घर लाते हैं तो आपका स्थान रेडिएशन फ्री हो जाएगा। कथीरिया ने बताया, 500 से अधिक गौशालाएं इस तरह के एंटी-रेडिएशन चिप्स का निर्माण कर रही हैं। एक चिप की कीमत 50 से 100 रुपये के बीच है। एक व्यक्ति तो ऐसे चिप्स को अमेरिका में निर्यात कर रहा है, जहां वह इसे 10 डॉलर प्रति चिप की दर से बेच रहा है। राष्ट्रीय कामधेनु आयोग मत्स्य, पशुपालन और डेयरी मंत्रालय के अंतर्गत आता है। केंद्रीय बजट 2019-20 में इसकी घोषणा की गई थी।

कौन हैं वल्लभभाई कथीरिया

पेशे से चिकित्सक कथीरिया राजकोट से चार बार लोकसभा सांसद रहे। पहली बार 1996 में राजकोट सीट से लोकसभा का चुनाव जीते थे। वर्ष 1998 में 14वीं लोकसभा के लिए वह इसी सीट से भारी मतों से चुनाव जीते थे। साल 1999 में तीसरी बार जीतने पर केन्द्र में मंत्री बनाया गया था, जिसके बाद 2004 में फिर जीत दर्ज की थी। गई फरवरी को पेश किए गए लेखानुदान आयोग के गठन की घोषणा की गई थी। कथीरिया गुजरात में गौसेवा आयोग के अध्यक्ष भी रह चुके हैं और अब फिर केन्द्रीय मंत्री का दर्जा दिया जाएगा।

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