UP Board Exams : सुबह थी परीक्षा रात को ही हल किए हुए प्रश्न पत्र बिकने लगे, प्रशासन का कदाचारमुक्त परीक्षा का दावा हुआ फुस्स!
UP Board Exams : मंगलवार की सुबह होने वाली यूपी बोर्ड की संस्कृत की परीक्षा के हल प्रश्नपत्र सोमवार की देर रात ही बिकनी शुरू हो गई। हालांकि यह सही था या गलत इस बारे में कोई स्पष्टता नहीं थी फिर भी नकल माफिया इसे बेखौफ बेच रहा था। इस मामले में बलिया जिले के जिलाधिकारी आईबी सिंह और एसपी राजकरन नय्यर ने खुद संज्ञान लेकर मामले की पड़ताल शुरू कर दी है।
UP Board Exams : उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) में भले ही प्रशासन (Administration) तमाम सख्ती के साथ यूपी बोर्ड (UP Board) की परीक्षा लेने का दावा कर रहा हो। बलिया (Balia )में प्रशासन के बिना नकल के परीक्षा करवाने के दावे फुस्स होते नजर आ रहे हैं। सरकारी अमले की ओर से जारी की गयी चेतावनी का कोई असर फिलहाल नकल माफियाओं पर होता तो नजर नहीं आ रहा है। तमाम सख्ती के बावजूद परीक्षा के एक दिन पहले ही प्रश्नपत्र की हल की हुई कापियां महंगे दामों पर बेची जाने की खबर आ रही है।
दरअसल मीडिया में चल रही खबरों के मुताबिक मंगलवार की सुबह होने वाली यूपी बोर्ड की संस्कृत की परीक्षा के हल प्रश्नपत्र सोमवार की देर रात ही बिकनी शुरू हो गई। हालांकि यह सही था या गलत इस बारे में कोई स्पष्टता नहीं थी फिर भी नकल माफिया इसे बेखौफ बेच रहा था। इस मामले में बलिया जिले के जिलाधिकारी आईबी सिंह और एसपी राजकरन नय्यर ने खुद संज्ञान लेकर मामले की पड़ताल शुरू कर दी है।
आपको बता दें कि देश की सबसे बड़ी बोर्ड परीक्षा यूपी बोर्ड को बिना नकल के संपन्न कराने का दावा प्रशासन की ओर से हर बार किया जाता है पर नकल माफिया हर बार अपने गलत मंसूबों में कामयाब हो जाता है। इसका खामियाजा अंतिम रूप से वहां के छात्र-छात्राओं को भुगतना पड़ता है। प्रदेश में सरकारी की ओर से तमाम सख्ती के बावजूद यहां नकल का कारोबार बंद नहीं हो पा रहा हैं। इन पर ठोस कार्रवाई नहीं होने से हर साल प्रश्नपत्र लीक होने की खबरें आती रहती हैं। प्रदेश में इस बार नई सरकार आयी है इस बार भी ऐसी खबरों के आने से अभिभावकों और छात्रों के बीच संशय का माहौल बन गया है।
क्षेत्र में परीक्षा प्रारंभ होने से पहले ही नकल माफिया बोर्ड की डुप्लीकेट कॉपी खुलेआम बेच रहे थे। नकल की तमाम खबरे मीडिया मे आने के बाद से भी प्रशासन की ओर से नकल माफियाओं के खिलाफ कड़ी कार्रवाई नहीं होने से उनके हौसले बुलंद होते जा रहे हैं। ऐसी खबरों से ना केवल प्रदेश की बदनामी होती है बल्कि इससे छात्रों का भविष्य भी अंधकारमय होने का खतरा बढ़ता जा रहा है।