Babul Supriyo Join TMC : तृणमूल कांग्रेस में शामिल हुए बाबुल सुप्रियो, भाजपा को झटका

Babul Supriyo Join TMC : राजनीति से सन्यास की घोषणा कर चुके बाबुल सुप्रियो अब फिर टीएमसी में शामिल हो गए हैं....

Update: 2021-09-18 13:11 GMT

(बाबुल सुप्रियो ने अभिषेक बनर्जी की मौजूदगी में थामा टीएमसी का दामन। फोटो : तृणमूल कांग्रेस/फेसबुक )

Babul Supriyo Join TMC जनज्वार। पश्चिम बंगाल (West Bengal) में भाजपा (BJP) को तगड़ा झटका लगा है। दरअसल पूर्व केंद्रीय मंत्री और पूर्व भाजपा सांसद (BJP MP) बाबुल सुप्रियो (Babul Supriyo) आज औपचारिक रूप से टीएमसी (TMC) में शामिल हो गए हैं। सुप्रीयो ने हाल ही में तब भाजपा छोड़ दी थी जब केंद्रीय मंत्रीमंडल में फेरबदल किया गया था। उन्होंने राजनीति से ही सन्यास लेने की घोषणा की थी। सुप्रियों ममता बनर्जी के भतीजे और पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव अभिषेक बनर्जी (Abhishek Banerjee) और सांसद डेरेक ओ ब्रायन (Derek O Brien) की मौजूदगी में टीएमसी में शामिल हुए। 

सुप्रियो के टीएमसी में शामिल होने पर पार्टी के कुणाल घोष (Kunal Ghosh) ने कहा कि भाजपा के कई नेता टीएमसी नेतृत्व के संपर्क में हैं। वे भाजपा से संतुष्ट नहीं हैं। एक आज शामिल हुए, दूसरा कल शामिल होना चाहता है। यह प्रक्रिया चलती रहेगी। रुकिए और देखते रहिए। 

तृणमूल कांग्रेस ने अपने फेसबुक पोस्ट में लिखा, " आज राष्ट्रीय महासचिव अभिषेक बनर्जी और राज्यसभा सांसद डेरेक ओ ब्रायन की मौजूदगी में पूर्व केंद्रीय मंत्री व मौजूदा सांसद बाबुल सुप्रियो तृणमूल कांग्रेस परिवार में शामिल हुए। हम इस अवसर पर उनका गर्मजोशी से स्वागत करते हैं।"

वहीं बाबुल सुप्रियो ने कहा है कि टीएमसी में आने के बाद गर्व महसूस हो रहा है। उन्होंने कहा कि जब मैंने कहा था कि मैं राजनीति छोड़ दूंगा तो इसका मतलब मेरे दिल से था। हालांकि मुझे लगा कि एक बहुत बड़ा अवसर मुझे (टीएमसी में शामिल होने पर) सौंपा गया है। मेरे सभी दोस्तों ने कहा था कि राजनीति छोड़ने का मेरा फैसला गलत और भावनात्मक था।  

सुप्रियो ने आगे कहा कि मुझे बहुत गर्व है कि मैं अपना फैसला बदल रहा हूं। मैं बंगाल की सेवा करने के महान अवसर के लिए वापस आ रहा हूं। मैं बहुत उत्साहित हूं। मैं सोमवार को दीदी (Mamata Banerjee) से मिलूंगा। गर्मजोशी भरे स्वागत से अभिभूत हूं। दीदी और अभिषेक ने मुझे बहुत अच्छा मौका दिया है। चूंकि मैं टीएमसी में शामिल हो गया हूं इसलिए आसनसोल में अपनी सीट पर बने रहने का कोई मतलब नहीं है। मैं आसनसोल की वजह से राजनीति में आया हूं। मैं उस निर्वाचन क्षेत्र के लिए यथासंभव प्रयास करूंगा।   

इससे पहले जब उन्होंने फेसबुक पर भाजपा (BJP) को छोड़ने की घोषणा की थी तो सबको हैरत में डाल दिया था। सुप्रियो ने कहा था कि उन्होंने भाजपा के शीर्ष नेताओं से मुलाकात की लेकिन उन्होंने अपने अगले कदम के बारे में अभी कोई निर्णय नहीं लिया है। इसके अलावा एक टीवी चैनल से बातचीत में उन्होंने कहा था कि भविष्य में मैं क्या करता हूं यह तो वक्त ही बताएगा। उन्होंने यह भी संकेत दिया था कि इस्तीफे का फैसला आंशिक रूप से उन्होंने मंत्री पद जाने और भाजपा की पश्चिम बंगाल ईकाई के नेतृत्व के साथ मतभेदों के कारण लिया था।  

सुप्रियो आसनसोल (Asansol) से दो बार सांसद रह चुके हैं। वह उन मंत्रियों में शामिल थे जिन्हें 7 जुलाई को एक बड़े फेरबदल के तहत केंद्रीय मंत्रिपरिषद से हटा दिया गया था। पश्चिम बंगाल के विधानसभा चुनाव (West Bengal Assembly Election) में उन्होंने टीएम के अरूप विस्वास के खिलाफ चुनाव लड़ा था और उन्हें हार का सामना करना पड़ा था। 

 

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