Big Breaking : भजनलाल शर्मा बने राजस्थान के नये CM, छत्तीसगढ़-मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्रियों से है ये खास रिश्ता

Big Breaking : जिस तरह से छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश में संघ से जुड़े नेताओं को मुख्यमंत्री बनाकर भाजपा हाईकमान ने चौंकाने का काम किया है, कुछ इसी तरह पहली बार विधायक बने भाजपा के छात्र संगठन एबीवीपी और संघ से जुड़े रहे भजनलाल शर्मा के नाम का ऐलान करके चौंकाया है...

Update: 2023-12-12 10:58 GMT

Big Breaking : राजस्थान के नये मुख्यमंत्री का ताज भजनलाल शर्मा के सिर पर सज चुका है। मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव और छत्तीसगढ़ के नवनिर्वाचित ​मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की तरह भजनलाल भी संघ के काफी करीबी माने जाते हैं।

मूल रूप से भरतपुर के वाले भजनलाल शर्मा संगठन में लंबे समय से काम करते रहे हैं। राजस्थान प्रदेश महामंत्री के तौर पर उन्होंने जमीनी तौर पर काम किया। भाजपा ने पहली बार जयपुर की सांगानेर जैसी सुरक्षित सीट से भजनलाल को चुनाव में खड़ा किया था। इतना ही नहीं मौजूदा विधायक अशोक लाहोटी का टिकट काटकर भजनलाल शर्मा को प्रत्याशी बनाया गया था। सांगानेर को भाजपा का गढ़ माना जाता है, इसलिए यहां उनके सिर जीत का सेहरा बंध गया। माना जा रहा है कि संगठन में महत्वपूर्ण जिम्मेदारियों का निर्वहन करने के कारण उन्हें मुख्यमंत्री पद तोहफे में दिया गया है। 

गौरतलब है कि राजस्थान में लंबे इंतजार के बाद आखिर मुख्यमंत्री का फैसला आज मंगलवार 12 दिसंबर को शाम चार बजे हुई बैठक में लिया गया है। बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा मुख्यमंत्री चयन की बैठक के लिए खुद जयपुर पहुंचे और तीनों पर्यवेक्षकों राजनाथ सिंह, विनोद तावड़े और सरोज पांडेय की मौजूदगी में बीजेपी विधायक दल की बैठक ली। इस बैठक में राजस्थान के नए मुख्यमंत्री के नाम का प्रस्ताव रखा गया और फिर सर्वसम्मति से मुख्यमंत्री के बतौर भजनलाल शर्मा के नाम का ऐलान किया गया। जिस तरह से छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश में संघ से जुड़े नेताओं को मुख्यमंत्री बनाकर भाजपा हाईकमान ने चौंकाने का काम किया है, कुछ इसी तरह पहली बार विधायक बने भाजपा के छात्र संगठन एबीवीपी और संघ से जुड़े रहे भजनलाल शर्मा के नाम का ऐलान करके चौंकाया है। 

भजन लाल शर्मा ब्राह्मण समाज से आते हैं और सिटिंग विधायक अशोक लाहोटी का टिकट काटकर प्रत्याशी बनाए गए थे। लंबे समय से बीजेपी और संगठन में काम कर रहे हैं। राजस्थान में करीब 7 फीसदी आबादी ब्राह्मण हैं। राजस्थान में सीएम के नाम के एलान के साथ ही दो डिप्टी सीएम के नाम का एलान भी हो गया है। दीया कुमारी और प्रेम चंद्र बैरवा को उपमुख्यमंत्री बनाया जाएगा, जबकि वासुदेव देवनानी विधानसभा के स्पीकर होंगे।

इस बार राजस्थान मुख्यमंत्री पद का नाम इसलिए भी चौंकाने वाला है, क्योंकि राजनीतिक पर्यवेक्षक भी लगातार ये दावा कर रहे थे कि क्योंकि भाजपा ने हाल ही में महिला आरक्षण बिल पास किया है, इसलिए यहां जरूर मुख्यमंत्री कोई महिला बनेगी और भला वसुंधरा राजे सिंधिया से बड़ा राज्य में कौन सा नाम था। हालांकि अंदरखाने यह खबरें भी चर्चा का विषय बनी हुईं थीं कि वसुंधरा राजे सिंधिया पार्टी आलाकमान की पसंद नहीं हैं।

वसुंधरा राजे सिंधिया के अलावा राजस्थान के मुख्यमंत्री पद के लिए केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत, सीपी जोशी, जयपुर राजघराने से जुड़ी दीया कुमारी, बाबा बालकनाथ, स्पीकर ओम बिड़ला, अर्जुन मेघवाल, राजेंद्र सिंह राठौड़ और राज्यवर्धन सिंह राठौड़ के नामों की भी खूब चर्चा थी, मगर इन सबको किनारे कर एक ब्राह्मण मुख्यमंत्री और वह भी पहली बार विधायक चुने गये भजनलाल शर्मा के नाम पर मुहर लगाकर भाजपा हाईकमान ने ठीक वैसे ही चौंकाने वाला काम किया है, जैसा कि कभी उत्तराखंड में किया था। 

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