Prashant Kishor News : प्रशांत किशोर ने शुरू की 'जन सुराज यात्रा', बोले - सत्ता में परिवारों का केंद्रीकरण राजनीति के लिए अभिशाप

Prashant Kishor News : पूर्व चुनाव रणनीतिकार प्रशांत किशोर ने कहा कि उनके गृह राज्य बिहार में जड़त्व की स्थिति ने राजनीति को खराब कर दिया है, जहां पिछले 3 दशकों में सत्ता की स्थिति सिर्फ 1200- 1300 परिवारों के बीच केंद्रित रही है....

Update: 2022-05-30 12:09 GMT

Prashant Kishor News : प्रशांत किशोर ने शुरू की 'जन सुराज यात्रा', बोले - सत्ता में परिवारों का केंद्रीकरण राजनीति के लिए अभिशाप

Prashant Kishor News : पूर्व चुनाव रणनीतिकार प्रशांत किशोर ने बीते रविवार को कहा कि उनके गृह राज्य बिहार में जड़त्व की स्थिति ने राजनीति को खराब कर दिया है, जहां पिछले 3 दशकों में सत्ता की स्थिति सिर्फ 1200- 1300 परिवारों के बीच केंद्रित रही है।

विकास सूचकांक के मामले में बिहार का स्तर नीचे 

प्रशांत किशोर ने कहा कि 'बिहार 1960 के दशक तक सबसे अच्छे शासित राज्यों में से एक था। 1960 के दशक के अंत में चीजें कमजोर हो गई और 1990 के दशक तक हम सभी विकास सूचकांक के मामले में नीचे आ गए। इस अवधि की विशेषता वाली सबसे बड़ी चीज राजनीतिक अस्थिरता थी। 23 वर्षों की अवधि (1967-1990) में बिहार ने 20 से अधिक सरकारें देखीं।

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के साथ-साथ राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद के साथ काम कर चुके प्रशांत किशोर ने दोहराया कि 'राज्य की स्थिति ठीक करने के लिए अभी बहुत कुछ करना बाकी है। भले ही हम नीतीश जी के सुशासन के दावों और लालू जी के सामाजिक न्याय के दावों पर विश्वास करें।'

प्रशांत किशोर ने राजनीतिक पहल के लिए क्यों चुना बिहार

प्रशांत किशोर ने कहा कि 'मैंने राजनीतिक पहल के लिए बिहार को क्यों चुना। इसका कारण सिर्फ यह नहीं कि यह मेरा राज्य है, सबसे पहले यहां हम एक ऐसे पैमाने पर सत्ता का केंद्रीकरण देखते हैं जिसमें कुछ समानताएं हैं। जरा कल्पना कीजिए कि ऐसे राज्य में जहां लगभग तीन करोड़ परिवार है, पिछले 30 वर्षों में सिर्फ 12 से 13 से राजनीतिक परिवारों में से ही विधायक सांसद और मंत्री रहे हैं। चाहे मुख्यमंत्री की कुर्सी पर कोई भी रहा हो।

प्रशांत किशोर ने शुरू की जब सूरज यात्रा  

बता दें कि प्रशांत किशोर ने बिहार के हाजीपुर से बीते रविवार को 'जन सुराज योजना' की शुरुआत कर दी है। यहां एक संवाददाता सम्मेलन में यात्रा की जानकारी देते हुए प्रशांत किशोर ने बताया कि वैशाली लोकतंत्र की धरती है, इसलिए जन सुराज यात्रा की शुरुआत के लिए यह सबसे योग्य स्थान है।

साथ ही उन्होंने कहा कि बिहार में नई राजनीतिक व्यवस्था बनाने की सोच के साथ यह प्रयास शुरू किया गया है। पिछले 4 से 5 दिन पूर्व तक मुझसे मिलने वालों की संख्या 18000 थी जो कि बढ़कर 60000 हो गई है। ये वैसे लोग हैं, जिन्होंने खुद हमसे मिलने के लिए संपर्क किया यह हमारी टीम के लोगों ने उनसे संपर्क किया था।

प्रशांत किशोर ने बताया कि वैशाली से शुरू जन सुराज यात्रा के दौरान सितंबर के अंत तक बिहार के सभी जिलों में गोष्टी के माध्यम से लोगों से मुलाकात की जाएगी। प्रशांत किशोर ने यह भी बताया कि वैशाली जिले में 4 दिनों तक करीब 350 किलोमीटर एरिया कवर कर जिले के सभी 16 प्रखंडों और 8 विधानसभा में करीब 40 प्रयासों को बताया जाएगा। यात्रा की समाप्ति के बाद 2 अक्टूबर को गांधी आश्रम चंपारण से पदयात्रा की शुरुआत की जाएगी। करीब 3000 किलोमीटर पदयात्रा बिहार के सभी जिलों में की जाएगी। प्रशांत किशोर ने कहा की पदयात्रा में करीब 12 से 15 महीने लग सकते हैं।

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