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किसान आंदोलन : करनाल के संत बाबा राम सिंह के निधन से आहत बुजुर्ग ने ट्रैक्टर के नीचे आकर कर ली आत्महत्या

Janjwar Desk
18 Dec 2020 6:33 AM GMT
किसान आंदोलन : करनाल के संत बाबा राम सिंह के निधन से आहत बुजुर्ग ने ट्रैक्टर के नीचे आकर कर ली आत्महत्या
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प्रतीकात्मक

करनाल के गांव ठरवा निवासी 56 वर्षीय जसबीर सिंह बाबा राम सिंह से काफी प्रभावित थे, ऐसे में जब जसबीर सिंह ने बाबा राम सिंह की आत्महत्या की खबर सुनी तो खुद पर काबू नहीं रख पाये और आवेश में आकर आत्महत्या कर ली...

जनज्वार। किसान आंदोलन पिछले 23 दिनों से लगातार जारी है और वो सरकार की किसी बात पर झुकने को तैयार नजर नहीं आ रहे। हालांकि इस बीच अब तक लगभग 2 दर्जन किसानों की मौत हो चुकी है। मगर मौतें भी उन्हें विचलित नहीं कर रहीं, वे कृषि कानूनों के खिलाफ अपनी मांगो पर अड़े हुए हैं।

इसी दौरान एक किसान संत बाबा राम ​सिंह ने मोदी सरकार के किसान विरोधी और ​अड़ियल रुख से दुखी होकर कुंडली बॉर्डर पर आत्महत्या कर ली। खबरों के मुताबिक उन्होंने खुद को गोली मारकर आत्महत्या की। आत्महत्या से पहले किसान ने एक सुसाइड नोट भी लिखा था, जिसमें तमाम वो बातें लिखी थीं, जिस कारण उन्होंने आत्महत्या की।

अब एक बुरी खबर करनाल से आ रही है, जहां संत बाबा राम सिंह के निधन से आहत होकर एक बुजुर्ग ने कल 17 दिसंबर को ट्रैक्टर के नीचे आकर आत्महत्या कर ली।

कहा जा रहा है कि बुजुर्ग किसान सिंघड़ा नानकसर गुरुद्वारा प्रबंधक संत राम सिंह की मौत से बहुत दुखी था इसीलिए उसने गुरुवार 17 दिसंबर को ट्रैक्टर-ट्राली के नीचे आकर जान दे दी। पुलिस ने इस मामले में मृतक के बेटे के बयान के आधार पर धारा-174 के तहत कार्रवाई की है। जानकारी के मुताबिक करनाल के गांव ठरवा निवासी 56 वर्षीय जसबीर सिंह बाबा राम सिंह से काफी प्रभावित थे, ऐसे में जब जसबीर सिंह ने बाबा राम सिंह की आत्महत्या की खबर सुनी तो खुद पर काबू नहीं रख पाये और आवेश में आकर आत्महत्या कर ली।

यह भी पढ़ें : कृषि कानूनों के खिलाफ कुंडली बॉर्डर पर किसान ने की आत्महत्या, अबतक 21 किसानों की मौत

परिजनों और ग्रामीणों से मिली जानकारी के मुताबिक जसबीर सिंह अक्सर बाबा राम सिंह के दर्शन के लिए गुरुद्वारा परिसर में आते। जसबीर पहले जलमाना के निजी स्कूल में पढ़ाते थे, बाद में गांव में ही पंचायत की ओर से सरकारी स्कूल में पढ़ा रहे थे। मार्च में कोरोना महामारी के बाद से जसबीर सिंह घर पर ही थे और अपनी आठ एकड़ जमीन पर खेती करते थे।

पड़ोसियों के मुताबिक कल 17 दिसंबर को ट्रैक्टर के नीचे आकर जान देने से पहले जसबीर सिंह दोपहर 1:00 बजे के आसपास गुरुद्वारे से अंदर बाहर बार-बार चक्कर लगा रहे थे और काफी परेशान नजर आ रहे थे। फिर एकाएक वह गुरुद्वारा नानकसर के अंदर जा रही लकड़ी से भरी ट्रैक्टर-ट्राली के आगे खड़े हो गये। गंभीर हालत में जसबीर सिंह को अस्पताल ले जाया गया, जहां बीच रास्ते में उनकी मौत हो गई।

शुरुआती जानकारी के मुताबिक जसबीर सिंह जिस तरह जानबूझकर एकाएक तेज रफ्तार से आ रहे ट्रैक्टर के सामने आये, मौके पर मौजूद लोगों ने उन्हें रोकने का भी प्रयास किया, मगर वो नहीं रुके।

इस मामले में थाना प्रभारी का कहना है कि मृतक के बेटे अनिरुद्ध के बयान पर 174 के तहत कार्रवाई की जा रही है। अनिरुद्ध ने पुलिस को बयान दिया है कि उसके पिता अचानक नीचे गिर गए और ट्रैक्टर-ट्राली के नीचे आ गए।

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