बिहार में सरकार बनाने का खेल शुरू, चुनाव हारने के बावजूद वीआईपी प्रमुख मुकेश साहनी बनेंगे मंत्री

एनडीए में जीतनराम मांझी की हम पार्टी और मुकेश साहनी की वीआईपी पार्टी वैसे तो छोटे घटक दल हैं, पर जिस तरह के चुनाव परिणाम आए हैं, हर दल की महत्ता बढ़ गई है...

Update: 2020-11-15 02:30 GMT

जनज्वार ब्यूरो, पटना। बिहार में नई सरकार के गठन को लेकर कवायद जारी है। एनडीए के घटक दलों के बीच मंत्रिमंडल गठन को लेकर चर्चाएं चल रहीं हैं। माना जा रहा है कि इस बार मंत्रिमंडल में एनडीए के सभी चार घटक दलों की सहभागिता होगी। सभी दलों को अपने-अपने विधायकों के संख्या बल के आधार पर मंत्रिमंडल में जगह दी जाएगी।

इस लिहाज से बीजेपी को मंत्रिमंडल में 20 सीटें मिल सकती हैं, जबकि जदयू कोटे से 12 मंत्री बनाए जा सकते हैं। एनडीए में जीतनराम मांझी की हम पार्टी और मुकेश साहनी की वीआईपी पार्टी वैसे तो छोटे घटक दल हैं, पर जिस तरह के चुनाव परिणाम आए हैं, हर दल की महत्ता बढ़ गई है।

एनडीए के अंदरखाने से जो चर्चाएं निकल कर सामने आ रही हैं, उनपर भरोसा करें तो वीआईपी और हम पार्टी को मंत्रिमंडल में एक-एक सीट मिलेगी। ऐसे में बड़ा सवाल यह है कि दोनों दलों में से कौन-कौन मंत्री बनेंगे।

हम पार्टी के प्रमुख जीतनराम मांझी पहले ही संकेत दे चुके हैं कि वे मंत्रिमंडल में शामिल नहीं होंगे, हालांकि वे इमामगंज विधानसभा सीट से विधायक चुने गए हैं। वहीं वीआईपी पार्टी के प्रमुख मुकेश साहनी चुनाव हार गए हैं। वे सिमरी बख्तियारपुर से मैदान में थे।

हालांकि वीआईपी पार्टी में जो चर्चा चल रही है, उसके अनुसार विधानसभा चुनाव हार जाने के बावजूद अपनी पार्टी की ओर से मुकेश साहनी मंत्री बनाए जाएंगे। बाद में उन्हें विधान परिषद में भेजकर सदन का सदस्य बनाया जाएगा। साहनी यह कह चुके हैं कि महागठबंधन की ओर से उन्हें उपमुख्यमंत्री पद का ऑफर मिला था, जिसे वे ठुकरा चुके हैं।

जीतनराम मांझी भी महागठबंधन की ओर से प्रस्ताव मिलने और उसे ठुकरा देने की बात कह चुके हैं। ऐसे में हम पार्टी की ओर से जीतनराम मांझी के पुत्र सन्तोष कुमार सुमन, जो अभी विधान पार्षद हैं, उन्हें मंत्रिमंडल में भेजा जा सकता है। हम पार्टी के सूत्र इस बात पर मुहर लगा रहे हैं।

इस बार वीआईपी पार्टी और हम पार्टी दोनों को चार-चार सीटें जीतने में सफलता मिली है। बिहार विधानसभा चुनावों में एनडीए को 125 सीटें मिली हैं, जिनमें बीजेपी को 74 और जदयू को 43 सीटें हासिल हुई हैं। बिहार विधानसभा में कुल 243 सीटें हैं और बहुमत का आंकड़ा 122 का है।

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