उन्नाव में पालतू कुत्ते पर पत्थर फेंकने से नाराज सवर्ण दबंग परिवार पर 14 वर्षीय ऋतिक यादव को बुरी तरह पीटने का आरोप, किशोर की मौत के बाद परिजनों के गंभीर आरोप
परिजनों का आरोप है कि आरोपी दबंग विश्वभर त्रिपाठी द्वारा ऋतिक यादव की पिटाई करने, उससे पैर धुलवाकर उसका पानी पिलवाने तथा ऋतिक का गिड़गिड़ाते हुए वीडियो बनाकर अपनी दबंगई दिखाने के लिए तमाम गांववालों को वीडियो दिखाये गये...
Unnao news : भाकपा (माले) के तीन सदस्यीय जांच दल ने शुक्रवार को उन्नाव कोतवाली क्षेत्र के मदऊखेड़ा गांव का दौरा किया। आरोप है कि मदऊखेड़ा गांव के 14 वर्षीय किशोर ऋतिक यादव ने पिछले 16 अक्टूबर की रात अपने घर लौटते हुए एक पालतू कुत्ते के भौंकने पर पत्थर फेंका था। इससे क्रोधित कुत्ते के दबंग मालिक विश्वम्भर त्रिपाठी द्वारा की गई मारपीट और अमानवीय व्यवहार से किशोर की तबीयत बिगड़ गई और उसकी मौत हो गई।
घटना की पड़ताल के लिए भाकपा (माले) राज्य सचिव सुधाकर यादव द्वारा गठित जांच टीम ने घटनास्थल का दौरा कर पीड़ित परिवार से भेंट की और वहां उपस्थित लोगों से घटना की जानकारी ली। जांच टीम में भाकपा (माले) की राज्य स्थाई समिति के सदस्य रमेश सिंह सेंगर, ऐपवा की राज्य कार्यकारिणी सदस्य कमला गौतम और पार्टी की उन्नाव इकाई के सदस्य अनिल कुमार सिंह शामिल थे।
जांच टीम करीब दो बजे दिन में मदऊखेड़ा पहुंची और मृतक के पिता संजू यादव, बुआ शिवकांती, दादी शांती देवी, चाची रेनू यादव व बहन खुशी से घटना के बारे में बातचीत की। परिवारजनों ने बताया कि 16 अक्टूबर की रात ऋतिक भागवत कथा सुनने गया था। लौटते समय विश्वम्भर त्रिपाठी के कुत्ते के भौंकने पर उसके द्वारा ढेला फेंकने की बात सुनने में आई है।
इससे क्रोधित होकर 17 अक्टूबर की रात विश्वम्भर त्रिपाठी, कृष्णा दुबे पुत्र कमलेश दुबे तथा शिवान्शु विश्वकर्मा पुत्र सुशील द्वारा ऋतिक को हिन्दू खेड़ा स्थित अपने घर पर बुलाकर उसे बुरी तरह मारा पीटा गया। परिजनों ने बताया कि दबंग विश्वभर त्रिपाठी के द्वारा ऋतिक की पिटाई करने, उससे पैर धुलवाकर उसका पानी पिलवाने तथा रितिक द्वारा गिड़गिड़ाने के वीडियो बनाकर अपनी दबंगई दिखाने के लिए तमाम गांववालों को वीडियो दिखाये गये।
पीड़ित परिवार ने यह भी बताया कि अब गांव का कोई भी व्यक्ति दबंग ब्राह्मण परिवार के डर से मुंह नहीं खोल रहा है। पुलिस का दबाव पड़ने के बाद गांव के अन्य लोगों ने चुप्पी साध ली है। जांच टीम को यह भी बताया गया कि आरोपी ब्राह्मण परिवार के प्रदेश के उप मुख्यमंत्री बृजेश पाठक से गहरे संबंध हैं।
पीड़ित परिवार ने पुलिस द्वारा आरोपियों को बचाने का आरोप लगाते हुए कहा कि घटना की उच्च स्तरीय जांच करवा कर न्याय दिलाया जाए। जांच टीम ने हिन्दू खेड़ा के भी कई लोगों से घटना के संबंध में पूछा, तो लोगों ने अपनी जुबान नहीं खोली।
भाकपा (माले) की जांच टीम इस नतीजे पर पहुंची है कि योगी शासन में सामंती दबंगों के हौसले इस कदर बुलंद हैं कि वे बेखौफ होकर दलितों, पिछड़ों और महिलाओं के साथ बड़े से बड़ा अपराध करने से नहीं डर रहे हैं। इसके पहले लखनऊ के काकोरी में 65 वर्ष के दलित बुजुर्ग रामपाल रावत से वहां के दबंग और आरएसएस से जुड़े परिवार के द्वारा पेशाब चटवाने जैसी अमानवीय घटना को अंजाम दिया गया।
उसके पहले रायबरेली के ऊंचाहार में दलित की भीड़ हत्या की घटना हुई। महिलाओं के साथ गैंगरेप की घटनाएं समेत प्रदेश में अपराधों की बाढ़ आ गई है। जांच टीम ने मांग की है कि उन्नाव की घटना के आरोपियों को तुरंत गिरफ्तार किया जाए, घटना की उच्च स्तरीय जांच करके दोषियों को कड़ी सजा दिया जाए तथा दलितों, पिछड़ों और महिलाओं के उत्पीड़न पर सख्ती से रोक लगाई जाए।