Lakhimpur Kheri : कांड के सूत्रधार हैं केंद्रीय मंत्री अजय मिश्र टेनी, अब BJP नेता ने ही खोला मोर्चा

Lakhimpur Kheri : लखीमपुर खीरी में किसानो के मारे जाने के मामले में अब पार्टी के अंदर से ही विरोध के स्वर उठने लगे हैं, विपक्ष पहले से केंद्रीय गृह राज्यमंत्री अजय मिश्र टेनी के इस्तीफे की मांग कर रहा है..

Update: 2021-10-15 03:53 GMT

एसआईटी ने लखीमपुर खीरी हत्याकांड को हत्या माना। इस मामले में आज केंद्रीय मंत्री अजय मिश्र टेनी के बेटे व मुख्य आरोपी आशीष मिश्र कोर्ट में पेश होंगे। 

Lakhimpur Kheri : लखीमपुर खीरी Lakhimpur Kheri Violence) में किसानों और बीजेपी कार्यकर्ताओं (BJP workers) के मारे जाने के मामले में अब पार्टी के अंदर से ही विरोध के स्वर उठने लगे हैं। विपक्ष जहां लगातार केंद्रीय गृह राज्यमंत्री अजय मिश्र टेनी (Ajay Mishra Teni) के इस्तीफे की मांग कर रहा है, वहीं बीजेपी की ओर से अबतक इसपर खुलकर कुछ नहीं कहा गया है। अजय मिश्र टेनी का बेटा आशीष मिश्र टेनी इस मामले में गिरफ्तार हो चुका है।हालांकि, विपक्ष गृह राज्यमंत्री की बर्खास्तगी की मांग कर रहा है।

इस मांग को लेकर गुरुवार, 14 अक्टूबर 2021 को कांग्रेस का एक उच्चस्तरीय प्रतिनिधिमंडल राष्ट्रपति (President of India) से भी मिला है। इस बीच पूर्व विधायक व बीजेपी नेता ने अजय मिश्र टेनी को हटाए जाने की मांग करते हुए पार्टी कार्यकर्ताओं की तुलना 'गिरमिटिया मजदूरों' से कर दी है।

आब बीजेपी नेता और पूर्व विधायक राम इकबाल सिंह (Ram Ojhal Singh) ने लखीमपुर खीरी मामले में सीधे तौर पर केंद्रीय मंत्री अजय मिश्रा का हाथ बताया है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, राम इकबाल सिंह ने केंद्रीय गृह राज्यमंत्री अजय मिश्रा को लखीमपुर कांड की साजिश का सूत्रधार करार देते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) से उन्हें तत्काल बर्खास्त करने की मांग की। सिंह ने बलिया के नगरा इलाके में मीडिया से बात करते हुए लखीमपुर कांड के लिए केंद्रीय गृह राज्यमंत्री अजय मिश्रा को जिम्मेदार ठहराया है।

बीजेपी नेता रामइकबाल सिंह ने कहा, "घटना के कुछ दिन पहले केंद्रीय गृह राज्य मंत्री के दिये गये धमकी भरे बयान ने ही आग में घी का काम किया है। गृह राज्य मंत्री को किसानों से माफी मांगनी चाहिए थी, लेकिन वह अपने बेटे के बचाव में लगे हुए थे।" 

उत्तर प्रदेश भाजपा कार्य समिति के सदस्य और पूर्व विधायक सिंह यहीं नहीं रुके बल्कि, उन्होंने आगे कहा, "गृह राज्य मंत्री के पुत्र ने गाड़ी से किसानों को रौद कर मार डाला। उच्चतम न्यायालय के हस्तक्षेप के बाद ही उसे गिरफ्तार किया गया, मगर मिश्रा आज भी मंत्री की कुर्सी पर हैं। ऐसे में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को उन्हें तत्काल बर्खास्त कर देना चाहिए। ऐसा नहीं करने पर नरेंद्र मोदी को लेकर भी सवाल उठ रहे हैं।"

लखीमपुर कांड व गोरखपुर में कारोबारी हत्याकांड से भाजपा सरकार की 'किरकिरी' हुई है। उन्होंने कहा कि लखीमपुर की घटना में भाजपा कार्यकर्ता भी मारे गए हैं। सरकार को उनकी भी सुधि लेनी चाहिए। उन्होंने दावा किया कि इस घटना पर सरकार की बेरुखी से प्रदेश भर के कार्यकर्ता आक्रोशित हैं। पूर्व विधायक ने कहा कि भाजपा में दल के समर्पित कार्यकर्ताओं की स्थिति गिरमिटिया मजदूर जैसी हो गई है।  

बता दें कि रविवार, 3 अक्टूबर, 2021 को उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य के लखीमपुर दौरे से पहले किसानों के प्रदर्शन के दौरान भड़की हिंसा में आठ लोग मारे गए थे।

आरोप है कि घटना में एक एसयूवी ने चार किसानों को कुचल दिया जो तीन नए कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे थे। बाद में कथित तौर पर भाजपा के दो कार्यकर्ताओं और एक चालक को पीट-पीटकर मार डाला गया था, जबकि हिंसा के दौरान एक स्थानीय पत्रकार की भी जान चली गई।

इस मामले में केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा के बेटे आशीष मिश्रा और अन्य के खिलाफ हत्या की धारा में मुकदमा दर्ज किया गया है। आशीष मिश्र टेनी की गिरफ्तारी हो चुकी है।

लखीमपुर खीरी हिंसा में मारे गए चार किसानों सहित एक पत्रकार व बीजेपी कार्यकर्ताओं का पोस्टमॉर्टम होने के बाद रिपोर्ट भी सामने आ चुकी है। पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट के मुताबिक सभी के शरीर में एक से अधिक चोटों के निशान मिले। रिपोर्ट में 3 किसानों को हेड इंजरी (Lakhimpur Kheri Violence) के अलावा चार को मरने से पहले बुरी तरह पीटने की बात सामने आई है।

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