दिल्ली दंगों में उमर खालिद की गिरफ्तारी पर प्रशांत भूषण बोले, जांच में कुकृत्य पर थोड़ा भी संदेह नहीं
प्रशांत भूषण ने उमर खालिद की गिरफ्तारी को दुर्भावनापूर्ण कार्रवाई बताया है और इसे शांतिपूर्ण कार्यकर्ताओं को फंसाने की साजिश कहा है...
जनज्वार। दिल्ली दंगा की साजिश रचने के आरोप में जेएनयू छात्र संघ के पूर्व नेता व एक्टिविस्ट उमर खालिद की गिरफ्तारी पर वरिष्ठ वकील व सामाजिक कार्यकर्ता प्रशांत भूषण ने कड़ी आपत्ति दर्ज करायी है। प्रशांत भूषण ने ट्वीट कर कहा है कि दिल्ली दंगा की जांच में कुकृत्य पर अब थोड़ा भी संदेह नहीं है। मालूम हो कि दिल्ली पुलिस के स्पेशल सेल ने उमर खालिद को रविवार रात को लंबी पूछताछ के बाद गिरफ्तार कर लिया और उनका फोन जब्त कर लिया।
इस मामले में सोमवार की सुबह प्रशांत भूषण ने ट्वीट कर कहा, येचुरी, योगेंद्र यादव, जयती घोष और अपूर्वानंद का नाम शामिल किए जाने के बाद दिल्ली पुलिस द्वारा उमर खालिद की गिरफ्तारी ने दिल्ली दंगों की जांच में दुर्भावना पूर्ण कुकृत्य को लेकर थोड़ा भी संदेह नहीं रहा। यह जांच के नाम पर शांतिपूर्ण कार्यकर्ताओं को फंसाने की साजिश है।
हाल ही में उत्तर पूर्वी दिल्ली में हुए दंगों के मामले में दिल्ली पुलिस ने आरोप पत्र दाखिल किया था जिसमें माकपा महासचिव सीताराम येचुरी, स्वराज अभियान के नेता योगेंद्र यादव, जयती, घोष व अपूर्वानंद का नाम शामिल किया गया था।
मइस मामले को लेकर आरोपी देवांगना कलिता, नताशा नरवाल और गुलफिशा फातिमा द्वारा दिए गए बयान में प्रमुख हस्तियों के नाम लिए गए थे। ये तीनों गैरकानूनी गतिविधि निवारण अधिनियम के तहत आरोपों का सामरना कर रहे हैं।
15 जनवरी को को सीलमपुर में हुए प्रदर्शन को लेकर फातिमा ने बयान दिया था कि योजना के अनुसार भीड़ बढने लगी थी। उमर खालिद, चंद्रशेखर रावण, योगेंद्र यादव, सीताराम येचुरी और वकील इस भीड़ को भड़काने के लिए आगे आने लगे।
रविवार को वरिष्ठ कांग्रेस नेता व पूर्व गृहमंत्री पी चिदंबरम ने एक ट्वीट कर कहा था कि दिल्ली पुलिस द्वारा दिल्ली दंगा मामले में एक पूरक आरोप पत्र में सीताराम येचुरी सहित कई प्रमुख हस्तियों व कार्यकर्ताओं का नाम शामिल कर आपराधिक न्याय प्रणााली का मजाक उड़ाया गया है।