'वर्दी के नखरे कर रही-तेरे सी घरों में झाड़ू पोंछा करे हैं' दलित PSI के आरोपी को 11 दिन बाद भी न पकड़ सकी खट्टर की पुलिस
थाने पहुँचकर आरोपी ने महिला रूम में बैठी पीड़िता को जबरन धक्का देकर जमीन पर गिरा दिया। और बलात्कार करने की नियत से उसपर हावी हो गया...
जनज्वार ब्यूरो। हरियाणा (Haryana) के सोनीपत (Sonipat) में एक दलित महिला सब इंस्पेक्टर के साथ शारीरिक शोषण की घटना सामने आ रही है। शारीरिक शोषण किसी और ने नहीं बल्कि उसके ही विभाग में तैनात एक सब इंस्पेक्टर ने किया है। आरोप है कि पुलिस मामले में 11 दिन बाद भी आरोपी को गिरफ्तार नहीं कर सकी है।
जानकारी के मुताबिक, हरियाणा के जींद (Jind Haryana) स्थित तहसील संगतपुरा की रहने वाली एक पीड़िता थाना सिटी पुलिस में सब इंस्पेक्टर के पद पर तैनात है। महिला ने जनवरी 2021 में यहां पोस्टिंग ली थी। आरोप है कि इसी थाने में तैनात एएसआई सतीश 177/एसपीटी ने अनुसूचित जाति से संबंधित होने के कारण पीड़िता से छेड़छाड़ व जबरन बलात्कार करने का प्रयास किया।
महिला का कहना है कि, 29 अगस्त 2021 को वह पुलिस लाइन से थाने जा रहा थी। इसी दौरान आरोपी सतीश (Accused ASI Satish) ने उसे अपनी गाड़ी में जबरन बिठा लिया। रास्ते में गाड़ी रोककर वह गलत हरकतें करने लगा, जिसके बाद वह गाड़ी से उतरकर पैदल थाने गई। थाने पहुँचकर आरोपी ने महिला रूम में बैठी पीड़िता को जबरन धक्का देकर जमीन पर गिरा दिया। और बलात्कार करने की नियत से उसपर हावी हो गया।
इस घटना के दौरान महिला ने शोर मचाने का प्रयास करने सहित उसकी शिकायत उपर अधिकारियों से करने की कही तो आरोपी ने भद्दी-भद्दी गालियां देते हुए उससे कहा, 'तू ठहरी चमारिन तेरी कौन सुनेगा। हम जाटों के यहां तेरे जैसी औरतें झाड़ू पोंछा मारती हैं। आज अफसर बन गई तो भाव खा रही है।' इसके बाद आरोपी ने उल्टा उसे ही नौकरी से निकलवाने और किसी से शिकायत करने की कोशिश करने पर जान से मारने (Attempt Murder) की धमकी देकर बाहर निकल गया।
पीड़िता अपने घर पहुँचकर देर तक बैठकर रोती रही। पति के वापस आने पर उसने पूरी घटना उसे बताई। बहुत हिम्मत कर दोनो पति-पत्नी ने 31 अगस्त को दोषी एएसआई सतीश के खिलाफ थाने में तहरीर दी। महिला ने शारीरिक शोषण करने व जान से मारने की धमकी देने का आरोप लगाकर न्याय दिलाने की याचना की है।
इस सिलसिले में एडमम की एक टीम 8 सितंबर को सोनीपत में दलित महिला सब इन्स्पेक्टर (Dalit Women ASI) से मिली। टीम ने महिला (उम्र 22 वर्ष) और उसके पति से मुलाकात कर सभी बातों का जायजा लिया था। टीम को महिला ने बताया कि जनवरी 2021 उसकी सोनीपत थाने में जोईनिंग हुई थी, महिला अधिकारी ने बताया कि उसके साथ कई बार गलत करने की कोशिश की, जिसकी जानकारी उसने अपने पति को दी। इसके बाद दोनो ने हिम्मत जुटाकर थाने में कंप्लेन दी है।
इस बारे में एडमम की एक पदाधिकारी ने जनज्वार से बात करते हुए बताया कि, 'पीड़िता ने अपने पति के साथ जाकर SP सोनीपत (SP Sonipat) को प्रार्थना पत्र दिया था। इसमें अपराधी जाट समुदाय से ताल्लुक रखता है और उप सब इन्स्पेक्टर है। ये बेहद चौंकाने वाली बात है कि, महिला पुलिस अधिकारी होते हुये सुरक्षित ही नहीं है, तो आम आदमी कैसे सुरक्षित होगा। 31 अगस्त से इस केस में इतनी देरी से FIR दर्ज करने के बाद आरोपी को अभी तक गिरफ्तार नहीं किया जा सका है। आखिर जब महिला ने इतना बड़ा आरोप लगाया है तो सोंचने की बात है वह झूठ तो बोलेगी नहीं।'
पीड़िता को पति ने जनज्वार को फोन पर दी गई जानकारी में कहा कि, 'आरोपी काफी समय से हैरेसमेंट (Harrasement) कर रहा था। पीड़िता ने पहले तो इसे विभागीय कमी मानते हुए अधिक ध्यान नहीं दिया जिसके चलते आरोपी सतीश की हिम्मत बढ़ती रही। 28 की दोपहर की इस घटना में जब वह शाम को घर पहुँचे तो पत्नी ने पूरी बात बताई। हम लोगों ने 31 अगस्त को थाने जाकर कंप्लेन की। मुकदमा दर्ज कर लिया गया है, लेकिन आरोपी की अभी तक गिरफ्तारी नहीं हो सकी है।'
इस सिलसिले में हमने आरोपी का पक्ष जानने का भी प्रयास किया लेकिन संपर्क नहीं हो सका। हमने जींद के थाना सदर (PS Sadar) में भी बात की लेकिन वहां सिर्फ आड़े-उड़े (लोकल भाषा) के अलावा कोई जानकारी हाथ ना लग सकी। लेकिन यहां एक बात साफ है कि यूपी हो, एमपी हो, हरियाणा बिहार दोश के कई राज्यों में दलितों को आज भी गुलाम और हिकारत भरी नजरों से ही देखा जाता है।