PM Modi Security Lapse: सुप्रीम कोर्ट के वकीलों का दावा, PM सुरक्षा चूक मामले में सुनवाई से पहले SFJ ने किए धमकी भरे कॉल
PM Modi Security Lapse: एक वकील ने बताया कि ऐसा लग रहा था कि कॉल पहले से रिकॉर्ड की गई थी। कॉलर ने पीएम का रास्ता रोकने के जिम्मेदारी लेते हुए कहा कि जब 1984 के सिख विरोधी दंगों के दोषियों को सुप्रीम कोर्ट सजा नहीं दे सकती तो पीएम की सुरक्षा मामले में सुनवाई का उसे कोई हक नहीं है...
PM Modi Security Lapse: पंजाब में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सुरक्षा (PM Modi Security Breach) में चूक मामले पर आज यानि सोमवार 10 जनवरी को दिल्ली के सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) में सुनवाई हुई। मगर इस मामले में अब सुप्रीम कोर्ट के वकीलों ने बड़ा दावा किया है। मामले की सुनवाई से पहले कई वकीलों ने आरोप लगाए कि उन्हें सिख फॉर जस्टिस (SFJ) की तरफ से धमकी भरे कॉल आए हैं। वकीलों का आरोप है कि फोन करने वाले का कहना था कि उसके संगठन ने ही पीएम का रास्ता रोका था। वकीलों को धमकी भरे ये कॉल सुनवाई से ठीक पहले आए।
वकीलों को धमकी भरे कॉल से सनसनी
एक वरिष्ठ वकील ने बताया कि ऐसा लग रहा था कि कॉल पहले से रिकॉर्ड की गई थी। नंबर ब्रिटेन का मालूम होता है। कॉलर ने पीएम का रास्ता रोकने के जिम्मेदारी लेते हुए कहा कि जब 1984 के सिख विरोधी दंगों के दोषियों को सुप्रीम कोर्ट सजा नहीं दे सकती तो पीएम की सुरक्षा (PM Security Lapse) मामले में सुनवाई का उसे कोई हक नहीं है। वहीं, एक वकील ने बताया कि उसे +447418365564 से फोन आया था। उसका कहना है कि पहले से रिकॉर्ड मैसेज में धमकी दी गई कि SFJ ने ही पीएम मोदी के काफिले को रोका था। कॉलर का कहना था कि सुप्रीम कोर्ट को इस मामले की सुनवाई नहीं करनी चाहिए। वकील की शिकायत के बाद बार के कई मेंबरों ने बताया कि उन्हें भी ऐसी ही धमकियां मिल रही हैं।
सुप्रीम कोर्ट बनाएगा जांच कमेटी
हालांकि, सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court of India) ने वकीलों को धमकी की परवाह किए बगैर मामले की सुनवाई की। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सुरक्षा में चूक मामले की सुनवाई चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया एनवी रमना (Chief Justice of India NV Ramana) की अध्यक्षता वाली बेंच कर रही है। सुप्रीम कोर्ट ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के पंजाब दौरे पर हुई सुरक्षा चूक की जांच के लिए केन्द्र और पंजाब सरकार द्वारा गठित अलग-अलग समितियों पर रोक लगा दी। कोर्ट ने कहा कि वो अपने पूर्व जस्टिस की अध्यक्षता में एक समिति गठित करेगा। सीजेआई एनवी रमना ने कहा कि इस संबंध में औपचारिक आदेश जल्द पारित किया जाएगा।
गौरतलब है कि पंजाब में पांच जनवरी को पीएम मोदी के रैली कार्यक्रम के दौरान प्रदर्शनकारियों के कारण प्रधानमंत्री का काफिला एक फ्लाईओवर पर करीब 15 से 20 मिनट तक फंसा रहा था। इसके बाद प्रधानमंत्री मोदी कार्यक्रम में शामिल हुए बिना ही पंजाब से दिल्ली लौट गए थे। गृह मंत्रालय ने इसे पीएम की सुरक्षा में चूक मानते हुए पंजाब सरकार से जवाब मांगा था। हालांकि, पंजाब सरकार इस बात से लगातार मुकरती रही कि प्रधानमंत्री की सुरक्षा में किसी तरह की कोई चूक हुई है।