दिल्ली दंगे के आरोपी और AAP के पूर्व पार्षद ताहिर हुसैन पर पुलिस ने लगाया UAPA
यूएपीए गैर जमानती है। साथ ही इसमें आरोप सिद्ध होने पर पांच साल कैद या फिर उम्रकैद तक की सजा का प्रावधान है...
नई दिल्लीः दिल्ली पुलिस स्पेशल सेल ने उत्तर पूर्वी दिल्ली में हुई हिंसा के मामले में दो आरोपियों ताहिर हुसैन और सफूरा जरगर पर गैर कानूनी गतिविधि रोकथाम अधिनियम (यूएपीए), 1967 लगा दिया है। आम आदमी पार्टी(आप) निलंबित निगम पार्षद ताहिर हुसैन और सफूरा जरगर फिलहाल न्यायिक हिरासत में जेल में बंद हैं।
न्यूज एजेंसी आईएएनएस के मुताबिक दिल्ली पुलिस स्पेशल सेल के उच्च पदस्थ सूत्रों ने बुधवार को इसकी पुष्टि की। ताहिर हुसैन और सफूरा जरगर को काफी पहले दिल्ली पुलिस ने गिरफ्तार किया था। दिल्ली के उत्तर पूर्वी जिले में हुई खूनी हिंसा के बाद अपराध शाखा ने छह मार्च को आपराधिक मामला दर्ज किया था।
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एफआईआर में साफ साफ लिखा था कि उस हिंसा के पीछे (24 और 25 फरवरी, 2020) जेएनयू छात्र उमर खालिद और उसके कुछ साथियों की भूमिका संदिग्ध लग रही है। एफआईआर में उमर खालिद के कई विवादित और भड़काऊ भाषणों का भी जिक्र किया गया था।
एफआईआर के मुताबिक, उत्तर पूर्वी दिल्ली जिले में हिंसा की भूमिका तब बनाई गई थी, जब अमेरिकी राष्ट्रपति भारत के दौरे पर थे।
अपराध शाखा द्वारा दर्ज एफआईआर के मुताबिक, हिंसा के लिए भीड़ को इकट्ठा करने की जिम्मेदारी दानिश नामक शख्स को दी गई थी। अपराध शाखा ने मामला दर्ज करने के बाद आगे की जांच दिल्ली पुलिस स्पेशल सेल के हवाले कर दी थी।
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दिल्ली पुलिस स्पेशल सेल के एक उच्च पदस्थ सूत्र ने पहचान उजागर न करने की शर्त पर कहा, सफूरा और ताहिर हुसैन पर यूएपीए की धाराएं भी लगा दी गई हैं। ये धाराएं सोमवार को जोड़ी गई हैं।
उल्लेखनीय है कि यूएपीए गैर जमानती है। साथ ही इसमें आरोप सिद्ध होने पर पांच साल कैद या फिर उम्रकैद तक की सजा का प्रावधान है।