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Agnipath Scheme: मोदी सरकार की "अग्निपथ योजना" से नाराज 22 साल के सचिन ने की आत्महत्या, कर रहा था सेना की तैयारी

Janjwar Desk
17 Jun 2022 4:05 AM GMT
Agnipath Scheme: मोदी सरकार की अग्निपथ योजना से नाराज 22 साल के सचिन ने की आत्महत्या, कर रहा था सेना की तैयारी
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Agnipath Scheme: हरियाणा के रोहतक में आर्मी की तैयारी करने वाले एक 22 साल के लड़के ने केंद्र सरकार की अग्निपथ योजना (Agnipath scheme) के विरोध में सुसाइ़ड कर लिया है.

Agnipath Scheme: हरियाणा के रोहतक में आर्मी की तैयारी करने वाले एक 22 साल के लड़के ने केंद्र सरकार की अग्निपथ योजना (Agnipath scheme) के विरोध में सुसाइ़ड कर लिया है. युवक की मृत्यु की पुष्टि जिला पुलिस ने की है. मृतक के परिवार के अनुसार वह पिछले दो साल से रोहतक में पीजी में रहा करता था और आर्मी की तैयारी करता था. केंद्र सरकार द्वारा लाए गए 'अग्निपथ योजना' से वह काफी दुखी थी और इसी वजह से उसने आत्महत्या कर ली. मृतक की पहचान सचिन के रुप में हुई है.

बुधवार को की सुसाइड

सचिन के दोस्तों के मुताबिक उसने बुधवार रात में ही आत्महत्या कर ली थी. बृहस्पतिवार को देर तक जब उसका दरवाजा नहीं खुला तो दोस्तों ने दरवाजा तोड़ा जिसके बाद उन्हें सचिन की लाश मिली. पोस्टमार्टम के बाद सचिन की बॉडी को उसके परिवार वालों को सौंप दिया गया. सचिन का अंतिम संस्कार उसके पैतृक गांव जींद जिले के लजवाना कलान में किया गया.

2 साल से इंतजार

सचिन दो साल पहले गोवा पुलिस की फिजीकल और मेडिकल परीक्षा पास कर चुका था लेकिन लिखित परीक्षा के लिए दो वर्ष से इंतजार कर रहा था जो अब इंतजार ही रहेगा. परिवार जनों के अनुसार सचिन ने सुसाइड करने से पूर्व अपनी बहन से फोन पर बात की थी और कहा था कि वो भारतीय सेना में शामिल होने के अपने सपने को अब कभी पूरा नहीं कर पाएगा. सचिन के पिता भी आर्मी में थे वहीं उसके बड़े भाई बेरोजगार हैं.

बिहार में बवाल

अग्‍न‍िपथ योजना के खिलाफ बिहार के कई जिलों में दूसरे दिन भी अभ्यर्थियों का प्रदर्शन जारी है। गुरुवार को जहानाबाद, बक्सर और नवादा में ट्रेन रोकी गई. छपरा और मुंगेर में सड़क पर आगजनी के बाद जमकर प्रदर्शन हो रहा है. इन लोगों का कहना है कि सरकार अपना फैसला वापस ले.

प्रदर्शन कर रहे छात्रों ने कहा कि हम सेना में जाने के लिए बहुत कड़ी मेहनत करते हैं. इसे चार साल के लिए सीमित कैसे किया जा सकता है? जिसमें ट्रेनिंग के दिन और छुट्टियां भी शामिल हों? सिर्फ तीन साल की ट्रेनिंग के बाद हम देश की सुरक्षा कैसे कर सकते हैं? सरकार को इस स्कीम को वापस लेना चाहिए. जहानाबाद में प्रदर्शन कर रहे एक छात्र ने कहा कि हम चार साल के बाद काम करने कहां जाएंगे? चार साल की सर्विस के बाद हम लोग बेघर हो जाएंगे. इसलिए हम लोग सड़कों पर उतरे हैं. प्रदर्शनकारी ने कहा कि देश के नेताओं को समझना होगा कि जनता जागरूक है.

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