Begin typing your search above and press return to search.
राष्ट्रीय

लखनऊ के ईकाना स्टेडियम में हो सकता है Yogi Adityanath का शपथ ग्रहण समारोह, ये लोग होंगे शामिल

Janjwar Desk
14 March 2022 4:47 PM IST
UP Election 2022 Result : विधानसभा चुनाव हारने वाले नेताओं को MLC का टिकट नहीं देगी BJP
x

(विधानसभा चुनाव हारने वाले नेताओं को MLC का टिकट नहीं देगी BJP)

बीजेपी के थिंक टैंक का मानना है कि इस प्रचंड जीत के बाद योगी के शपथ ग्रहण समारोह में अपार भीड़ उमड़ सकती है। जिसको देखते हुए स्थान का चुनाव सोच-समझकर किया जाना तय हुआ है...

Yogi Adityanath : भारतीय जनता पार्टी को प्रचंड जीत दिलाने के बाद आज योगी के संभावित मंत्रीमंडल पर भी मुहर लग गई है। अब बीजेपी (BJP) योगी के शपथग्रहण समारोह की तैयारियों में जुट गई है। सूत्रों ने बताया कि योगी का दूसरी बार मुख्यमंत्री के लिए होने वाला शपथ ग्रहण समारोह बेहद खास व ग्रैंड तरीके से आयोजित किया जाएगा।

बता दें कि भाजपा ने 37 साल के लंबे अंतराल के बाद योगी आदित्यनाथ की अगुवाई में प्रचंड जीत हासिल की है। भाजपा के लिए यह जीत कई मायनों में बेहद खास है। इसे और खास बनाने के लिए शपथ ग्रहण समारोह को भव्य बनाने पर जोर होगा। बताया जा रहा कि योगी के शपथ ग्रहण समारोह में सबी भाजपा शासित राज्यों के मुख्यमंत्रियों को बुलाया जाएगा।

इस खास शपथ ग्रहण समारोह का आयोजन लखनऊ के ईकाना स्टोडियम (Ekana Stadium) में मनाने की चर्चा हो रही है। बीजेपी के थिंक टैंक का मानना है कि इस प्रचंड जीत के बाद योगी के शपथ ग्रहण समारोह में अपार भीड़ उमड़ सकती है। जिसको देखते हुए स्थान का चुनाव सोच-समझकर किया जाना तय हुआ है।

इससे पहले दिल्ली पहुँचे योगी आदित्यनाथ के मंत्रिमंडल की भी चर्चा हुई। शुरुआती दौर में ही पूर्वांचल, बुंदेलखंड, अवध, पश्चिम और तराई का प्रतिनिधित्व वहां के जीते हुए विधायकों को मिल सकता है। जिन विधायकों को उत्तर प्रदेश में नए मंत्रिमंडल में शामिल किया जा सकता है, उसमें प्रमुख नाम सुरेश खन्ना, बेबी रानी मौर्य, श्रीकांत शर्मा, बृजेश पाठक, सतीश महाना, सिद्धार्थ नाथ सिंह, सूर्य प्रताप शाही, आशुतोष टंडन, अनुराग सिंह, असीम अरुण, राजेश्वर सिंह, आशीष पटेल, नंदकुमार नंदी और नितिन अग्रवाल का नाम फिलहाल तय माना जा रहा है। इसके अलावा अपना दल और निषाद पार्टी के जीते हुए विधायकों की मंत्रिमंडल में भागीदारी का अनुमान है।

संगठन से जुड़े एक वरिष्ठ पदाधिकारी कहते हैं कि उत्तर प्रदेश में इस बार मंत्रिमंडल का गठन ऐसे जातिगत समीकरणों को साधते हुए हो रहा है, जो 2024 की राह को बहुत आसान कर दें। उनका इशारा है स्पष्ट रूप से दलितों और पिछड़ों की ओर था, जिनका इस बार पार्टी को बंपर वोट मिला है। राजनीतिक विश्लेषकों के मुताबिक वैसे तो मंत्रिमंडल का गठन सभी जाति बिरादरी और समुदायों के लोगों की बराबर भागीदारी के लिहाज से ही किया जाता है। लेकिन राजनीतिक हित और भविष्य की रूपरेखा तय करते हुए सभी सरकारें मंत्रिमंडल का गठन उसी लिहाज से करती हैं।

भाजपा से जुड़े सूत्रों का कहना है कि इस बार दिल्ली में तीन नाम भी सबसे ज्यादा चर्चा में रहे कि क्या इन्हें मंत्रिमंडल में शामिल भी किया जाएगा या नहीं। इसमें सिराथू से चुनाव हार चुके भाजपा के कद्दावर नेता केशव प्रसाद मौर्या और दिनेश शर्मा का नाम शामिल है। दोनों कद्दावर नेताओं के अलावा चर्चा में नाम भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्रदेव सिंह का ठीक चल रहा है। प्रदेश अध्यक्ष बनने से पहले स्वतंत्रदेव सिंह योगी सरकार में मंत्री थे। यह चुनाव उनकी अध्यक्षता में ही लड़ा गया और बंपर तरीके से जीत हासिल हुई।

इसके अलावा चर्चा रायबरेली की विधायक अदिति सिंह और भाजपा में हाल में शामिल हुई मुलायम सिंह यादव की बहू अपर्णा यादव को भी मंत्रिमंडल में शामिल करने की है। भाजपा के एक वरिष्ठ पदाधिकारी कहते हैं कि जिस तरीके से उत्तर प्रदेश में महिलाओं ने पार्टी में आस्था जताते हुए बंपर तरीके से वोट किया है, उसी लिहाज से मंत्रिमंडल में महिलाओं की भागीदारी भी होगी। इसीलिए कयास लगाए जा रहे हैं कि अदिति और अपर्णा को मंत्रिमंडल में जगह मिल सकती है।

Next Story

विविध