Champawat news : चंपावत में प्रसूता के इलाज में लापरवाही बरतने से हुई मौत, CRPF जवान पति ने लगाये अस्पताल के डाॅक्टरों पर गंभीर आरोप
Champawat news : चंपावत में प्रसूता के इलाज में लापरवाही बरतने से हुई मौत, CRPF जवान पति ने लगाये अस्पताल के डाॅक्टरों पर गंभीर आरोप
Champawat news : उत्तराखंड राज्य की स्वास्थ्य विभाग की बदहाली के किस्सों के बीच एक और प्रसूता को इलाज में लापरवाही की वजह से अपनी जान से हाथ धोना पड़ा। बच्चे को जन्म देने के तीन दिन बाद आए बुखार की वजह से यह प्रसूता एक के बाद दूसरे अस्पताल में इलाज के लिए चक्कर लगाती रही, लेकिन बरेली के एक निजी अस्पताल में उसकी इलाज के दौरान मौत हो गई। दस दिन पूर्व चम्पावत में आपरेशन से बच्ची को जन्म देने वाली प्रसूता की मौत के बाद परिजनों व ग्रामीणों ने डॉक्टरों व स्टॉफ पर महिला के उपचार में लापरवाही करने के साथ ऑपरेशन के लिए पैसे मांगने का आरोप लगाया है।
जानकारी के मुताबिक चम्पावत के बाजरीकोट निवासी दीपक राम छत्तीसगढ़ के बीजापुर में 196 सीआरपीएफ में तैनात है। दीपक की 24 वर्षीय पत्नी संध्या ने 19 जुलाई को जिला अस्पताल में ऑपरेशन के बाद बच्ची को जन्म दिया, जिसे तीन दिन अस्पताल में रहने के बाद डॉक्टर ने स्थिति ठीक होने पर घर भेज दिया। घर जाने के बाद तीसरे दिन से महिला को बुखार आने पर जिला अस्पताल लाया गया, जहां एक दिन भर्ती करने पर उसे हायर सेंटर रेफर कर दिया। 29 जुलाई को बरेली राममूर्ति अस्पताल में उपचार के दौरान महिला ने दम तोड़ दिया।
महिला की मौत के बाद परिजनों व ग्रामीणों ने जिला अस्पताल का घेराव कर अस्पताल गेट पर नारेबाजी करते हुए डॉक्टर के खिलाफ कार्यवाही की मांग की। इस मामले में महिला के पति दीपक राम का कहना है कि डॉक्टर ने पहले ऑपरेशन में लापरवाही की। धोखे से गलत नस कटने की बात कही, लेकिन बताया नहीं। इससे उसके शरीर में इंफेक्शन फैल गया। ऑपरेशन के नाम पर डॉक्टर ने साढ़े पांच हजार रुपये भी लिए। जब पत्नी की तबियत खराब होने पर दुबारा अस्पताल ले आए तो चार घंटे तक डॉक्टर उन्हें देखने नहीं आई। घर से बैठकर ही दवा देने की बात कहती रही। हालत खराब होने पर उन्होंने मेरी पत्नी को रेफर कर दिया, जिससे उसकी मौत हो गई। दीपक का इल्जाम है कि यदि समय पर उसकी पत्नी को इलाज मिल जाता तो उसकी जान बचाई जा सकती थी।
इस मामले में पीएमएस डॉ.एचएस ऐरी को एक शिकायती पत्र सौंपकर कार्यवाही की भी मांग की गई है, जिस पर डॉ. ऐरी ने बताया कि अस्पताल में ऑपरेशन के 11 दिन बाद महिला की मौत हुई है। परिजनों ने शिकायती पत्र सौंपा है, जिसकी जांच कर कार्रवाई की जाएगी। ऑपरेशन के नाम पर पैसे मांगना पूरी तरह से गलत है। इस आरोप की गंभीरता से जांच की जाएगी। दूसरी ओर सीएमओ डॉ. केके अग्रवाल के अनुसार मामले की जांच के लिए तीन सदस्यीय टीम गठित कर दी गई है। इसमें पीएमएस डॉ. एचएस ऐरी, सर्जन डॉ. प्रभा जोशी व एसीएमओ डॉ. श्चेता खर्कवाल शामिल हैं। सीएमओं ने जांच टीम में एक सप्ताह में जांच रिपोर्ट मांगी है।
दूसरी ओर इस मामले में आम आदमी पार्टी कार्यकर्ताओं ने संध्या के परिजनो के साथ कलक्ट्रेट में डीएम से मुलाकात कर जिला अस्पताल के दोषी डॉक्टरों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की। कार्यकर्ता प्रसूता के परिजनों को साथ डीएम से मिले और इस मामले की जांच कराकर दोषी डाक्टरों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की। डीएम नरेंद्र सिंह भंडारी ने जांच रिपोर्ट के आधार पर कार्रवाई करने का आश्वासन दिया। डीएम से मिलने वालों में मृतका संध्या की मां फूलमती, पति दीपक कुमार एवं आरती के अलावा आप नेता राहुल सती, बीना कन्नौजिया, संजय बिष्ट, प्रताप सिंह बिष्ट, दीपक जोशी, पवन बगौटी आदि शामिल थे।
मंडल स्तर के अधिकारियों की टीम भी करेगी जांच
प्रसूता संध्या की मौत के मामले में अस्पताल की लापरवाही के आरोपों को लेकर डीएम ने सोमवार को जांच के आदेश दिए थे मगर 24 घंटे बाद भी जांच शुरू नहीं हो सकी है। एसीएमओ डॉ. श्वेता खर्कवाल ने बताया कि 3 अगस्त से इस संबंध में बयान लिए जाएंगे। निर्धारित समयावधि में जांच पूरी कर ली जाएगी। वहीं जिला स्तरीय जांच के अलावा मंडल स्तर पर भी जांच होगी। डीएम नरेंद्र सिंह भंडारी ने बताया कि उच्चस्तरीय जांच के मद्देनजर मंडलायुक्त दीपक रावत से मंडल स्तर के अधिकारियों से जांच कराने का आग्रह किया गया था। मंडलायुक्त ने निष्पक्ष जांच के लिए टीम बनाने को सहमति दे दी है।