UP में एक तरफ भारी पुलिसबल के बीच हत्यायें और दूसरी तरफ योगी सरकार के पुतलादहन पर गिरफ्तारियां, माले ने की कड़ी निंदा
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लखनऊ। भाकपा (माले) ने ध्वस्त कानून व्यवस्था के खिलाफ गाजीपुर जिले में योगी सरकार का पुतला फूंकने पर जनसंगठनों के तीन कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार कर लेने और कई अन्य की धरपकड़ के लिए पुलिस द्वारा छापे डालने की कड़ी निंदा की है। पार्टी ने इसे लोकतंत्र.विरोधी दमनकारी कार्रवाई बताते हुए गिरफ्तार कार्यकर्ताओं की अविलंब रिहाई और धर-पकड़ पर फौरन रोक लगाने की मांग की है।
राज्य सचिव सुधाकर यादव ने कहा कि एक ओर अपराधियों के हौसले बुलंद हैं। वे सरेआम गोली मार रहे हैं। पुलिस हिरासत में अतीक अहमद और अशरफ अहमद के डबल मर्डर, जालौन में परीक्षा देकर घर लौट रही छात्रा को बीच सड़क दिनदहाड़े गोली मारी गई। उन्नाव में जमानत पर छूटे गैंग रेपिस्टों ने बलात्कार पीड़िता का न सिर्फ घर जला दिया, बल्कि परिवार के दूधमुंहे दो बच्चों को जलती आग में फेंक दिया। ये घटनाएं दिखाती हैं कि प्रदेश में कानून का राज नहीं है।
दूसरी तरफ, कानून व्यवस्था के नाम पर राजनीतिक विरोध का गला दबाया जा रहा है और कार्यकर्ताओं का उत्पीड़न किया जा रहा है। राज्य सचिव ने कहा कि गाजीपुर में माले नेता पंकज भारद्वाज, अखिल भारतीय किसान महासभा के कार्यकर्ता आजाद यादव और संजय विश्वकर्मा को पुतला दहन करने पर कल 18 अप्रैल से लेकर आज 19 अप्रैल तक एक के बाद एक गिरफ्तार कर लिया गया। गिरफ्तारियों का सिलसिला जारी है।
माले नेता ने कहा कि वामपंथी दलों ने प्रदेश की बिगड़ी कानून व्यवस्था को लेकर गुरुवार 20 अप्रैल को संयुक्त रुप से हर जिले में राज्यपाल को संबोधित ज्ञापन अधिकारियों को सौंपने का निर्णय लिया है। उन्होंने आगाह किया कि इस प्रतिवाद कार्यक्रम में कोई प्रशासनिक बाधा न डाली जाए।