अखिलेश-जयंत के साथ राकेश टिकैत के पोस्टर पर BKU ने काटा बवाल, किसानों का नहीं होने देंगे सियासी इस्तेमाल
एनएच-58 पर बीकेयू के एक पोस्टर में जयंत चौधरी, अखिलेश यादव और राकेश टिकैत एक साथ दिखे।
UP Assembly Election 2022 : उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव को लेकर राजनीति चरम पर है। खासकर किसानों वोट बैंक को अपने पक्ष में करने के लिए सभी राजनीतिक दल जोड़तोड़ में जुटे हैं। किसान नेता राकेश टिकैत ( Rakesh Tikait ) की लोकप्रियता भी आसामान छूने लगी है। इस बीच मेरठ में एनएच 58 पर अखिलेश और जयंत ( Akhilesh and Jayant Chaudhary ) के साथ राकेश टिकैत के पोस्टर लगाए जाने के बाद भारतीय किसान यूनियन ( Bhartiya Kisan Union ) के नेताओं ने बवाल काटना शुरू कर दिया है। किसान नेताओं का कहना है कि हम अपने पोस्टर का सियासी इस्तेमाल नहीं होने देंगे। किसानों के इस विरोध में सपा-रालोद गठबंधन ( SP-RLD Alliance ) के सामने नई मुसीबत खड़ी कर दी है। साथ ही इस बात की भी चर्चा है कि क्या राकेश टिकैत रालोद की टिकट पर चुनाव लड़ेंगे।
सियासी स्टंट
एनएच-58 पर लगे भारतीय किसान यूनियन के पोस्टर में लिखा है कि हार गया अभिमान, जीत गया किसान। अब इन पोस्टर में अखिलेश यादव दिख रहे हैं। आरएलडी नेता जयंत चौधरी दिख रहे हैं और बीच में तिरंगा लिए राकेश टिकैत खड़े हैं। पोस्टर में राकेश टिकैत को सबसे बड़े कद के रूप में दिखाया गया है। अब इस पोस्टर पर बवाल भारतीय किसान यूनियन ने काटा है। भाकियू ने साफ कर दिया गया है कि उनके नेता का पोस्टर राजनीतिक फायदे के लिए इस्तेमाल नहीं किया जा सकता। फिलहाल, भारतीय किसान यूनियन ने इसे एक राजनीतिक स्टंट करार दिया है।
बीकेयू सिर्फ किसान हित में काम करता है
इस मुद्दे पर भारतीय किसान यूनियन के कार्यकर्ताओं का कहना है कि उन्होंने पोस्टर नहीं देखें हैं लेकिन अगर ऐसे पोस्टर लगे हैं तो यह राजनीतिक स्टंट है। इनसे भाकियू का कोई लेना देना नहीं है। कार्यकर्ताओं का कहना है कि वो सिर्फ किसान हित में कार्य करते हैं। अगर कोई वोट के लिए राकेश टिकैत का फोटो लगा रहा है तो ये अनुचित है क्योंकि उनका यूनियन अराजनैतिक है। वैसे इस विवाद पर अखिलेश यादव या फिर जयंत ने कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है। राकेश टिकैत ने भी आगे आकर कोई बयान जारी नहीं किया है।
कल राकेश टिकैत पहुंचेंगे मेरठ
ताजा जानकारी के मुताबिक कल राकेश टिकैत मेरठ पहुंचेंगे। वहां पर भारतीय किसान यूनियन अपने नेता का दिल खोलकर स्वागत करने जा रहा है। बताया जा रहा है कि राकेश टिकैत के आने के बाद वेस्टर्न यूपी टोल प्लाजा को भी मुक्त किया जा सकता है। किसानों का कहना है कि टिकैत के आदेश अनुसार ही कोई फैसला लिया जाएगा। दिल्ली की सीमाओं से तो किसानों ने जाना शुरू कर दिया है, अब दूसरी जगहों से भी घर वापसी की तैयारी तेज हो गई है।