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भूल जाना मैं आपकी बेटी हूँ- जल्लाद आफताब का Sorry सुनकर साथ ना जाती श्रद्धा तो आज उसके 35 टुकड़े ना हुए होते

Janjwar Desk
15 Nov 2022 3:55 PM IST
भूल जाना मैं आपकी बेटी हूँ- जल्लाद आफताब का Sorry सुनकर साथ ना जाती श्रद्धा तो आज उसके 35 टुकड़े ना हुए होते
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Delhi Murder Case: भूल जाना मैं..आपकी बेटी हुँ। दिल्ली (Delhi) में 35 टुकड़े कर मारी गई श्रद्धा मदान के अपने पिता से ये आखिरी शब्द थे। आफताब पूनावाला के सॉरी कहने के बाद श्रद्धा फिर से उसके साथ जाकर रहने लगी, जिसका पिता ने विरोध किया तो श्रद्धा ने बड़ा बेढ़ब जवाब दिया था...

Delhi Murder Case: भूल जाना मैं..आपकी बेटी हुँ। दिल्ली (Delhi) में 35 टुकड़े कर मारी गई श्रद्धा मदान के अपने पिता से ये आखिरी शब्द थे। आफताब पूनावाला के सॉरी कहने के बाद श्रद्धा फिर से उसके साथ जाकर रहने लगी, जिसका पिता ने विरोध किया तो श्रद्धा ने बड़ा बेढ़ब जवाब दिया था। जवाब जिसे बेटी के मुँह से शायद ही कोई पिता सुनना चाहे।

बेटी की मौत के बाद श्रद्धा के परिजनों ने आरोप लगाया है कि आफताब (Aftab) उनकी बेटी के साथ मारपीट करता था। लेकिन यह मारपीट इस कदर खौफनाक रूप ले लेगी यह शायद ही किसी को उम्मीद हो। श्रद्धा (Shraddha) जब आफताब को छोड़कर गई तो आफताब उसे महज एक सॉरी बोलकर वापस अपने साथ ले आया था, यही सॉरी उसकी जिंदगी तबाह कर गया। क्योंकि अगर यह सॉरी सुनकर श्रद्धा आफताब के साथ नहीं जाती तो शायद आज जिंदा होती।

मिली जानकारी के मुताबिक श्रद्धा ने परिवार तो परिवार अपने दोस्तों तक की बात नहीं मानी। महाराष्ट्र के पालघर में रहने वाले श्रद्धा के एक दोस्त ने बताया कि वह आफताब के साथ 2018 से रिलेशन में थी। शुरूआत में तो सबकुछ ठीक रहा लेकिन समय बीतते आफताब श्रद्धा को मारने पीटने लगा। ऐसा करने पर भी वह आफताब को छोड़ ना सकी।

इसके बाद दोनों नौकरी के लिए दिल्ली शिफ्ट हो गये। आफताब अमीन पूनावाला के साथ लिव-इन-रिलेशन में रह रही श्रद्धा की हत्या (Shraddha Murder Case) का असल कारण दोनों के रिश्तों में खटास आना बताया जा रहा है। दोनों एक दूसरे पर शक करने लगे थे। इसी बात को लेकर दोनों के बीच आए दिन झगड़ा होने लगा था।

पुलिस पूछताछ में श्रद्धा के एक दोस्त लक्ष्मण ने बताया कि उसे जुलाई में ही श्रद्धा को लेकर आशंका थी। उसकी तरफ से कोई जवाब या मैसेज नहीं आ रहा था और तो उसका फोन भी बंद था। कई अन्य दोस्तों से पूछताछ के बाद भी जब कोई जवाब नहीं मिला तो लक्ष्मण ने श्रद्धा के बाई के जरिये पुलिस से संपर्क किया।

श्रद्धा के पिता विकास मदान बताते हैं कि आफताब से मिलने के बाद श्रद्धा बदल गई थी। कई बार बेटी को समझाने के बाद भी उसपर कोई असर नहीं होता था। दी गई FIR में विकास मदान ने बताया कि, जब हमने रिलेशनशिप का विरोध किया तो श्रद्धा यह कहकर घर से चली गई कि भील जाना मैं आपकी बेटी हूँ। पिता को अब अफसोस है कि काश श्रद्धा उसकी बात मान लेती।

पुलिस ने 12 नवंबर को आफताब अमीन पूनावाला को गिरफ्तार किया था। इस दौरान वह गुरूग्राम में जॉब करता रहा। किसी को उसपर शक नहीं हुआ। फ्लैट का समय से 9 हजार रूपया किराया देकर वह बेहद रिजर्व रहता था। पुलिस ने उसे उसके मोबाइल की लोकेशन और अन्य तकनीकि मदद से हिरासत में लिया था।

पुलिस इस एंगल पर भी काम कर रही है कि क्या इससे पहले भी किसी और की हत्या या अन्य कोई अपराध तो नहीं किया गया है। क्योंकि अब जो कहानी सामने आ रही है उस मुताबिक आफताब को श्रद्धा से कभी प्यार रहा ही नहीं। उसके दिमाग में शुरू से तो कुछ और ही चल रहा था। पुलिस का कहना है कि आफताब को अपने किये पर कोई पछतावा नहीं है।

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