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समाज

प्रेम विवाह करने वाले सपा के युवा नेता की पत्नी की संदिग्ध मौत, पति ने लगाया ससुरालियों पर हत्या का आरोप

Janjwar Desk
8 Dec 2020 7:02 AM GMT
प्रेम विवाह करने वाले सपा के युवा नेता की पत्नी की संदिग्ध मौत, पति ने लगाया ससुरालियों पर हत्या का आरोप
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हंसते-खिलखिलाते अंकित और प्रीति

थाने में धरने पर बैठा प्रेम विवाह करने वाला सपा नेता, लगाया ससुराल वालों पर पत्नी के हत्या का आरोप, कहा मेरी पत्नी के पिता महेंद्र प्रसाद यादव पुलिस विभाग में है, जिनके दबाव में पुलिस मामले को दबाने में जुटी हुई है...

संतोष देव गिरि की रिपोर्ट

जनज्वार ब्यूरो, वाराणसी। उत्तर प्रदेश के नक्सल प्रभावित जनपद चंदौली जिले का अलीनगर कोतवाली इन दिनों सुर्खियों में है। वजह है पांच 5 वर्ष के लंबे प्रेम संबंध के बाद प्रेम विवाह में बंधे प्रेमी जोड़े को ज्यादा दिन एक साथ नहीं रहने दिया गया। लड़के का आरोप है कि उसके ससुरालियों ने लड़की की हत्या की है।

समाजवादी छात्र सभा उत्तर प्रदेश के सचिव अंकित का आरोप है कि उनकी प्रेमिका प्रीति के परिवार वालों ने पारिवारिक मर्जी के खिलाफ विवाह रचाने से खिन्न होकर उसे मौत की नींद सुला दिया। पत्नी की हत्या से आहत प्रेमी जो समाजवादी पार्टी का युवा नेता भी है, पहले तो पुलिस को तहरीर देकर कारवाई की गुहार लगाई, लेकिन जब पुलिस ने कोई कारवाई नहीं की तो वह थक हारकर अलीगंज थाने में ही धरने पर बैठ गया। अंतत: पुलिस को इस मामले में अंकित के आगे झुकना पड़ा और मुकदमा कायम करना ही पड़ा है।

हालांकि अभी किसी की गिरफ्तारी इस मामले में नहीं हो पाई है। प्रीति यादव हत्याकांड में नया मोड़ तब आया जब उसके पति अंकित द्वारा प्रीति यादव के मां, बाप पर हत्या करने और उसकी लाश को छुपाने का आरोप लगाकर चंदौली के अलीनगर थाने में मुकदमा दर्ज करा दिया है। इसके अलावा अंकित ने प्रीति की हत्या का आरोप लगाते हुए सोशल मीडिया पर तमाम पोस्टें शेयर की हैं।

पुलिस मामले की छानबीन में जुट गई है। गौरतलब है समाजवादी पार्टी के चर्चित छात्र नेता अंकित यादव व प्रीति यादव में लगभग 5 वर्ष पहले से ही प्रेम चल रहा था, लेकिन परिजनों द्वारा प्रीति यादव की शादी कहीं और तय किए जाने पर प्रीति यादव ने अंकित यादव के साथ 9 नवंबर 2020 को कोर्ट मैरिज कर ली और प्रीति यादव व अंकित यादव साथ-साथ रहने लगे, जिससे परिजनों द्वारा तय की गई शादी टूट गई।


प्रीति यादव के इस कदम से परिजनों के अहम को ठेस पहुंची। वे किसी तरह अपनी इज्जत बचाने के लिए अंकित यादव के घर जाकर प्रीति को फिर रीति रिवाज से अंकित के साथ शादी करने के लिए मनाकर अपने घर ले आए और अंकित और प्रीति की 2 नवंबर को इंगेजमेंट कर दी गयी।

लेकिन इस मामले में एक नया मोड़ तब आ गया जब 29 नवंबर को अंकित और प्रीति यादव के बीच में कोई भी वार्तालाप नहीं हुई, घबराये अंकित यादव ने जब प्रीति यादव के परिजनों से पूछताछ की तो उन्होंने बताया कि प्रीति कपड़ा प्रेस करते समय करंट की चपेट में आ गई थी जिससे प्रेस के करंट लगने से उसकी मौत हो गई। उसका अंतिम संस्कार कर दिया गया।

अंकित कहता है, अचानक अपने प्यार के मौत की इस खबर को सुनकर मैं सदमे में आ गया। अंकित का कहना है कि प्रीति के घरवालों ने उसको मौत के घाट उतारा है और इस मामले का खुलासा न हो जाये इसलिए जल्दबाजी में अंतिम संस्कार भी कर दिया, वो भी उसे बताये बिना।

अंकित ने एक ट्वीट में लिखा है, 'सिर्फ़ एक गलती अपनी मर्ज़ी से शादी, दुनिया उजड़ गयी मेरी! @drpreetiyadav9 को तो अभी डाक्टर बनना था,सब बर्बाद हो गया मेरा मै लड़ाई मरते दम तक लड़ूँगा,मुझे न्याय चाहिये।'

अंकित यादव इस मामले को लेकर अलीनगर थाना पहुंचे तो पुलिस ने पहले तो मुकदमा दर्ज करने से मना कर दिया, लेकिन अंकित यादव के जोर डालने पर प्रीति यादव के परिजनों पर अलीनगर थाना पर मुकदमा पंजीकृत कर लिया गया है। वहीं इस संबंध में अंकित यादव का कहना है कि "परिजनों द्वारा प्रीति की हत्या कर उसके लाश को गायब कर दिया गया है, जबकि पुलिस भी इस मामले को गंभीरता से नहीं ले रही है जिसके कारण आज भी अपराधी खुलेआम घूम रहे हैं। जब तक अपराधियों की गिरफ्तारी और सजा नहीं होती है तब तक मैं भी अपनी प्रेमिका व पत्नी प्रीति यादव के कातिलों को छोड़ने वाला नहीं हूं।"

अंकित यादव ने सवाल उठाया कि पुलिस का ध्यान इस तरफ आकृष्ट करना चाहता हूं कि यदि उनकी पत्नी प्रीति की मौत करंट लगने से हुई तो उसके परिजनों द्वारा उन्हें सूचना क्यों नहीं दी गई? उसका मेडिकल क्यों नहीं कराया गया? क्यों उसे जलाने की बात आ रही है? इस मामले को देखते हुए कहीं ना कहीं परिजनों के हत्या का संदेह और भी पुख्ता होता जा रहा है, क्योंकि प्रीति ने अपने प्रेम को पाने के लिए जो कदम उठायी थी उस से आहत होकर परिजनों द्वारा उसकी हत्या ही कर दी गई है।


अंकित कहते हैं, मेरी पत्नी की हत्या के इस मामले को पुलिस न जाने किस नजरिए से देखती है और प्रीति के कातिलों को जेल भेजने का कार्य करती है या ऐसे कातिलों को खुलेआम घूमने की इजाजत देती है। लेकिन यह लड़ाई तब तक जारी रहेगी जब तक मेरी पत्नी के कातिलों को सजा नहीं मिलेगी।

दूसरी ओर इस संबंध में अपर पुलिस अधीक्षक प्रेमचंद कहते हैं, अंकित यादव द्वारा दी गई तहरीर पर मुकदमा पंजीकृत कर कार्यवाही की जा रही है, जिसमें 302/201 के अंतर्गत मुकदमा पंजीकृत कर विवेचना की गई। प्रथम विवेचना में परिजनों से मिली जानकारी के अनुसार प्रेस करने के दौरान करंट लगने से रास्ते में प्रीति की मौत होने की बात आ रही है और उसका अंतिम संस्कार कर दिया गया है, लेकिन इस मामलों पर विवेचना जारी है और जैसे ही इस घटना की विवेचना में कोई दोषी पाए जाते हैं तो उन लोगों के खिलाफ कार्यवाही की जाएगी।

चंदौली के छात्र नेता अंकित यादव की छवि समाजवादी पार्टी के युवा फायर ब्रांड नेता के तौर पर बनी हुई है, लेकिन हालात यह देखिये कि मुश्किलों के इस दौर में उनके अपने पार्टी के लोगोंं ने भी उनसे दूरी बना रखी है।


अंकित यादव इस वक्त गम व गुस्से के दौर से गुजर रहे हैं। अपनी नई नवेली पत्नी को खोने से जहां अंकित को गहरा आघात लगा है, वहीं पत्नी के हत्यारों पर कार्यवाही में पुलिसिया ढिलाई से उनके अंदर गम-गुस्सा व आक्रोश भी पनप रहा है। ऐसी विषम परिस्थिति में अंकित समाजवादी पार्टी से अलग-थलग पड़ गए हैं। ऐसा पहली बार नहीं है। इसके पहले भी सपा व उसके दिग्गज नेता अंकित के साथ ऐसा कर चुके हैं।

हालांकि इसके इतर युवा सपाइयों में अपने हमउम्र व साथी अंकित यादव के प्रति भरपूर संवेदनाएं है और वे उनका साथ देने का जज्बा भी दिखा रहे हैं। अंकित यादव अपनी पत्नी प्रीति यादव की हत्या का आरोप मायके पक्ष पर लगा रहे हैं। उनका आरोप है कि अपने मान-प्रतिष्ठा को बचाने के लिए घरवालों ने उनकी पत्नी प्रीति यादव की हत्या कर दी और शव को जला दिया। पत्नी की मौत की खबर उन्हें नहीं दी गयी। यहां तक कि उसका अंतिम संस्कार का मौका भी निर्दयी परिजनों ने उनसे छिन लिया।

फिलहाल इस मामले में अलीनगर पुलिस ने अंकित की तहरीर पर उनकी पत्नी के परिजनों के खिलाफ हत्या व साक्ष्य छिपाने का मामला दर्ज किया है, लेकिन अंकित उनकी गिरफ्तार की लड़ाई लड़ रहे हैं। यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि इस लड़ाई में फिलहाल वह बिल्कुल अकेले हैं। उनके साथ न तो सपा संगठन है ना ही दिग्गज सपा नेता ही उनका साथ दे रहे हैं। जबकि चंदौली जनपद में सपा के कई पूर्व व वर्तमान जनप्रतिनिधियों के अलावा सपा का जिला संगठन के साथ ही मुगलसराय के कई दिग्गज सपाईयों के अलावा तमाम फ्रंटल संगठनों के पदाधिकारी व नेता अच्छा-खासा राजनीतिक रसूख व पुलिस-प्रशासनिक पकड़ रखते हैं।

अभी तक कोई भी नेता खुलकर अंकित यादव के पक्ष में सामने नहीं आया और ना ही प्रकरण की निष्पक्ष जांच व न्याय की मांग की। यही वजह है कि अलीनगर थाने में अंकित यादव को अकेले धरने पर बैठना पड़ा। कोई भी छोटा या बड़ा नेता उनके साथ मौजूद नहीं दिखा। सवाल उठ रहा है कि समाजवादी पार्टी जब अपने ही कार्यकर्ताओं व नेताओं के पक्ष में खड़ी नहीं हो सकती तो वह आमजन के हक की लड़ाई कैसे लड़ेगी?

फेसबुक वाल पर पत्नी के अंतिम पत्र को किया सार्वजनिक

सपा नेता अंकित यादव ने 5 दिसंबर शनिवार को अपनी पत्नी प्रीति द्वारा लिखित अंतिम पत्र को फेसबुक वाल पर सार्वजनिक कर पुलिस प्रशासन से न्याय की गुहार लगायी है। पत्र में प्रीति ने अपनी शादी का जिक्र किया है। साथ ही अपने न होने पर अपने पति अंकित यादव व उसके घरवालों की भी फिक्र की है। इसके अलावा उन्होंने अपने व पति के साथ होने वाले संभावित अनहोनी के लिए जिम्मेदार मायके पक्ष के लोगों का भी उल्लेख भी पत्र में किया है।


अंकित यादव के फेसबुक वाल पर साझा पत्र में साफ पता चलता है कि प्रीति व अंकित की शादी हिन्दू परम्परा अनुसार बीते 25 सितंबर 2020 को हुई थी। इसके बाद दोनों ने बीते नौ नवंबर 2020 को अपने इस प्रगाढ़ प्रेम व बंधन को सब रजिस्ट्रार कार्यालय में कानूनी मान्यता दी और एक साथ नए जीवन की शुरूआत की।

इसी के बाद जब प्रीति के मायके वालों द्वारा अंकित यादव से ही धूमधाम के साथ पुनः शादी कराने का उस पर दबाव बनाना शुरू किया तो अपने ससुराल से जाते वक्त उन्होंने एक खत लिखा, जिसमें प्रीति ने लिखा कि "अगर मेरे साथ या मेरे पति के साथ कुछ भी गलत होता है या मारपीट होती है तो उसके जिम्मेदार मेरे मायके वाले होंगे। जिसमें उन्होंने अपने पापा, भाई, बड़े पापा, चाचा के नाम का उल्लेख किया है। साथ ही संभावित अनहोनी के लिए अपने पति अंकित यादव व उसके परिवार वालों को प्रताड़ित न करने का आग्रह भी प्रीति ने पत्र की अंतिम लाइन में किया है। इस पत्र को सार्वजनिक कर अंकित ने पुलिस प्रशासन के साथ-साथ समाज से न्याय की उम्मीद जताई है। अब देखना है कि उक्त प्रकरण आगे कौन सा मोड़ आता है।

समाजवादी पार्टी के छात्र नेता अंकित यादव 4 दिसंबर शुक्रवार को अलीनगर थाने में धरने पर बैठ गए थे। इस दौरान उन्होंने अलीनगर थाना पुलिस पर अपनी पत्नी के हत्यारों को बचाने व मदद करने का आरोप लगाया। कहा कि तहरीर देने के दो दिन बाद भी पुलिस ने न तो एफआईआर दर्ज की, और अब उनकी गिरफ्तारी में आनाकानी कर रही है।

अंकित यादव ने अलीनगर पुलिस को दिए गए तहरीर में आरोप लगाया कि बीते 9 नवंबर को प्रीति यादव से उसकी शादी होने के बाद उसके पिता महेंद्र प्रसाद के अलावा उसके परिवार के लोग काफी नाराज थे। कोर्ट मैरिज होने के बाद उसकी पत्नी के पिता घर आए और मान-प्रतिष्ठा का हवाला देते हुए अरेंज मैरिज शादी करने की बात कही। इसके बाद 23 नवंबर को मेरी पत्नी की मां खरीदारी के बहाने उसे अपने घर ले गयी और 29 नवंबर को उसकी हत्या करके शव को गायब कर दिए।


अंकित कहते हैं, मेरी पत्नी की मौत की सूचना दिए बगैर ही उसके पिता, भाई व मां ने शव को जला दिया। पत्नी की हत्या की जानकारी के बाद जब मैं अलीनगर थाने पहुंचा और तहरीर दी तो दो दिन बार पुलिस ने एफआईआर दर्ज की। इसके अलावा पत्नी प्रीति यादव द्वारा लिखे गए लेटर और पूर्व में उसके पिता-भाई व घरवालों द्वारा की गई मारपीट के सबूते भी अलीनगर थाना प्रभारी को दिए। बावजूद इसके अलीनगर पुलिस हत्यारोपियों को बचा रही है।

आरोप है कि लड़की के पिता महेंद्र प्रसाद यादव पुलिस विभाग में है, जिनके दबाव में पुलिस मामले को दबाने में जुटी हुई है। यही वजह है कि पुलिस उन्हें बचा रही है और अब तक हत्यारोपियों की गिरफ्तारी नहीं हो सकी। अंकित यादव ने बताया कि खुलेआम घूम रहे हत्यारोपियों द्वारा उन्हें जान से मारने की धमकी दी जा रही है। ऐसे में उसे विवश होकर अलीनगर पुलिस की कार्य प्रणाली के खिलाफ थाने में धरने पर बैठना पड़ा है। मांग की है कि उन्हें यह जानकारी होनी चाहिए कि उसकी पत्नी की मौत कैसे और किन परिस्थितियों में हुई है?

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