Begin typing your search above and press return to search.
दुनिया

Rahul Gandhi लंदन में बोले - भारत राष्ट्र नहीं, राज्यों का संघ, इस बयान के खिलाफ भाजपा, जानिए क्या है पूरा सच

Janjwar Desk
22 May 2022 9:09 AM IST
National Herald Case : ED ने राहुल गांधी को नया समन भेजा, 13-14 जून को पूछताछ के लिए बुलाया
x

National Herald Case : ED ने राहुल गांधी को नया समन भेजा, 13-14 जून को पूछताछ के लिए बुलाया

राहुल गांधी ( Rahul Gandhi ) ने कहा कि जब मैं अपने देश की आवाज को कुचला हुआ देखता हूं, तो यह मुझे परेशान करता है। मैं सोचता हूं कि मुझे क्या करना चाहिए और क्या करना चाहिए।

लंदन। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ( Rahul Gandhi ) का विदेशी दौरा एक बार फिर सुर्खियों में हैं। इस बार चर्चा में होने की वजह उनका अपने अंदाज में पहले की तरह भारत के आंतरिक मामलों को लेकर विदेशों में बोलना है। राहुल गांधी ( Rahul Gandhi ) ने लंदन ( London ) के कैम्ब्रिज यूनिवर्सिटी में आइडियाज फॉर इंडिया ( Ideas for India ) सम्मेलन में एक साक्षात्कार में कई मुद्दे उठाए। उनके उठाए गए मुद्दों को लेकर इंडिया में सियासी चर्चा चरम पर है।

साथ ही सोशल मीडिया ( Social Media ) पर ये भी चर्चा है कि उन्होंने एक सवाल के जवाब में कहा कि भारत राष्ट्र नहीं, राज्यों का संघ है, लेकिन उनके इस बयान को किसी भी प्रमुख मीडिया संस्थानों की रिपोर्ट में जिक्र नहीं है। केवल ओपी इंडिया में इस बात का जिक्र जरूर है।

दरअसल, यह बयान राहुल गांधी ( Rahul Gandhi )ने दो फरवरी को राष्ट्रपति के अभिभाषण पर लोकसभा में धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा के दौरान कही थी। उन्होंने कहा कि कि भारत राष्‍ट्र नहीं है। इसके बजाय इसे राज्यों के संघ के रूप में वर्णित किया गया है।

संविधान में क्या​ लिखा है

यह बात बिल्‍कुल सही है कि संविधान में भारत को राष्‍ट्र के तौर पर वर्णित नहीं किया गया है। संविधान के अनुच्‍छेद 1 में भारत को 'यूनियन ऑफ स्‍टेट्स' यानी 'राज्यों का संघ' बताया गया है। हालांकि, इसके संविधान को प्रकृति में संघीय बताया गया है। संविधान निर्माता डॉ. बीआर अंबेडकर के अनुसार, 'फेडरेशन ऑफ स्‍टेट्स' के बजाय 'यूनियन ऑफ स्‍टेट्स' को रखने की दो अहम वजहें हैं। पहला, इंडियन फेडरेशन यानी भारतीय संघ अमेरिकी फेडरेशन की तरह राज्यों के बीच एग्रीमेंट का नतीजा नहीं है। दूसरा, राज्यों को फेडरेशन से अलग होने का कोई अधिकार नहीं है। फेडरेशन एक यूनियन है क्योंकि यह तितर-बितर नहीं हो सकता है।

राहुल गांधी ने लंदन में क्या कहा?

1. कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ( Rahul Gandhi ) ने डीप स्टेट की बात करते हुए कहा कि देश के प्रमुख संवैधानिक संस्थानों पर आरएसएस का कब्जा हो गया है। भारत के लोग उन संस्थानों पर हमले देख रहे हैं जिन्होंने संवैधानिक दायरे में रहकर देश का निर्माण किया। इन संस्थानों पर अब डीप स्टेट का कब्जा है। मैं खुद को एक ऐसे व्यक्ति के रूप में देखता हूं जो भारत के उस विचार का बचाव करता है जब मैं अपने देश की आवाज को कुचला हुआ देखता हूं, तो यह मुझे परेशान करता है। मैं सोचता हूं कि मुझे क्या करना चाहिए और क्या करना चाहिए।

2. उन्होंने बेरोजगारी, महंगाई, अर्थव्यवसथा व अन्य मुद्दों पर कहा कि भारत अभी अच्छी स्थिति में नहीं है। भाजपा ने पूरे देश में केरोसिन छिड़क दिया है। आपको एक चिंगारी चाहिए और हम बड़ी मुसीबत में पड़ जाएंगे। मुझे लगता है कि यह विपक्ष, कांग्रेस की भी जिम्मेदारी है जो लोग, समुदायों, राज्यों और धर्मों को एक साथ लाती है। हमें माहौल को शांत करने की जरूरत है। अगर तनाव का माहौल शांत नहीं हुआ तो चीजें गलत हो सकती हैं।

3. राहुल गांधी नेे कहा कि चीन का भारत में वही पैर्टन दिख रहा है जो रूस ने यूक्रेन में किया है। रूस जो यूक्रेन में कर रहा है कुछ उसी तरह से चीन लद्दाख में कर रहा है। कांग्रेस नेता ने कहा कि मोदी सरकार इस मुद्दे पर बात तक नहीं करना चाहती है। राहुल गांधी ने कहा कि चीन की सेनाएं लद्दाख और डोकलाम दोनों जगह डेरा डाले हुए हैं। चीनी सेना ने अभी-अभी पैंगोंग झील के ऊपर एक बड़ा पुल बनाया है। वे इंफ्रास्ट्रक्चर तैयार कर रहे हैं। वे जाहिर तौर पर किसी न किसी चीज की तैयारी कर रहे हैं लेकिन सरकार इस बारे में बात नहीं करना चाहती। सरकार बातचीत को दबाना चाहती है। यह भारत के लिए शुभ संकेत नहीं है।

4. भारतीय विदेश नीति के पैटर्न में आये बदलाव पर उन्होंने कहा कि मैं यूरोप के नौकरशाहों से बात कर रहा था और उन्होंने कहा कि भारतीय विदेश सेवा पूरी तरह से बदल गई है। अब वे कुछ भी नहीं सुनेंगे। वे घमंडी हैं। अब वे बस हमें बताते हैं कि उन्हें क्या आदेश मिल रहे हैं।

5. कांग्रेस की स्थिति और उयदपुर चिंतन को लेकर पूछे गए सवालों पर कहा कि ध्रुवीकरण और मीडिया का प्रभुत्व ने भाजपा को लाभ पहुंचाया है। आरएसएस ने एक ऐसी संरचना का निर्माण किया है जो बड़े पैमाने पर प्रवेश कर चुकी है। विपक्षी दलों और कांग्रेस को इस तरह के ढांचे का निर्माण करने की जरूरत है। राहुल ने कहा कि हमें और अधिक आक्रामक रूप से उन 60 से 70 फीसदी लोगों के पास जाने की जरूरत है, जो भाजपा को वोट नहीं देते हैं और हमें इसे एक साथ करने की जरूरत है। मीडिया और संचार पर भाजपा ने कब्जा कर लिया है तो हमें मीडिया और संचार के अन्य तरीके देखने होंगे। फ़ंड को भी पाने के नए तरीके तलाशने होंगे। हमें जनआंदोलन करना होगा। ये लड़ाई है इंडिया को दोबारा पाने की। कांग्रेस किसी भी विपक्षी पार्टी से बड़ी नहीं है लेकिन कांग्रेस के पास नेशनल विजन है जैसे राज्यों की पार्टियों के लिए अपने राज्यों के लिए होता है। या​नि राहुल गांधी ने भी कहा कि हम कांग्रेस को बिग ब्रदर के रूप में नहीं देखते।

विदेश मंत्री जयशंकर का पलटवार

भारतीय की विदेश नीति पर राहुल गांधी के बयानों पर पलटवार करते हुए विदेश मंत्री एस जयशंकर ( S jaishankar ) ने कहा कि भारतीय विदेश सेवा बदल गई है। वे सरकार के आदेशों का पालन करते हैं। वे दूसरों के तर्कों का विरोध करते हैं। इसे अहंकार नहीं बल्कि आत्मविश्वास और राष्ट्रहित की रक्षा करना कहते हैं।

Next Story

विविध