कोरोना से मौत के मामले में आंकड़ा नहीं, मुंह छिपा रही बीजेपी : अखिलेश यादव
अखिलेश यादव ने CM योगी पर साधा निशाना
जनज्वार। कोरोना महामारी को लेकर राहत की बात यह है कि केस कम हो रहे हैं। लेकिन तीसरी लहर का खतरा मंडरा रहा है और दूसरी लहर ने देश को झकझोर कर रख दिया है। बीते अप्रैल और मई महीने में कोरोना से देश में मौत का तांडव देखने को मिला। श्मशानों-कब्रिस्तानों में हर जगह भीड़ दिखी। कई जगह तो लोग अपनों को सही ढंग से अंतिम विदाई भी नहीं दे पाये। लेकिन कोरोना से मौत के मामले में सरकारी आंकड़ों और वास्तविक तस्वीर में हमेशा विवाद रहा। अब यूपी के पूर्व सीएम अखिलेश यादव ने राज्य में कोरोना से हुई मौत को लेकर योगी सरकार को कठघरे में खड़ा किया है।
आंकड़े नहीं मुहं छिपा रही बीजेपीः अखिलेश
सपा प्रमुख ने एक ट्वीट के जरिये प्रदेश की बीजेपी सरकार पर सवाल उठाये हैं। उन्होंने मौत के आंकड़ों पर सवाल उठाते हुए ट्वीट में लिखा है कि बीजेपी आंकड़े नहीं अपना मुंह छिपा रही है।
सूचना के अधिकार के तहत मिली जानकारी से ये भंडाफोड़ हुआ है कि 31 मार्च, 2021 तक के कोरोनाकाल में 9 महीनों में उप्र के 24 ज़िलों में मृत्यु का आँकड़ा सरकार द्वारा दिये गये आँकड़ों से 43 गुना तक अधिक है।
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) June 22, 2021
भाजपा सरकार मृत्यु के आँकड़े नहीं दरअसल अपना मुँह छिपा रही है।#NoMoreBJP
दरअसल पूर्व सीएम ने सूचना के अधिकार के तहत मिली जानकारी का हवाला देते हुए कहा है कि राज्य के 24 जिलों में 31 मार्च 2021 के कोरोना काल के नौ महीनों में सरकारी आंकड़ों में जितनी मौतें हुई, वास्तविक आंकड़ा उसका एक-दो गुना नहीं बल्कि 43 गुना अधिक है।
वही पूर्व आईएएस अधिकारी सूर्य प्रताप सिंह ने अखिलेश के ट्वीट को लेकर छपी खबर और आंकड़ों का हवाला देते हुए योगी सरकार की कार्यशैली पर प्रश्नचिन्ह लगाये हैं. उन्होंने ट्वीट कर कहा कि यूपी वाले हाकिम 43 गुना मौत के आंकड़ें छुपा गये।
यूपी वाले हाकिम, 43 गुना मौत के आंकड़े छुपा गए l
— Surya Pratap Singh IAS Rtd. (@suryapsingh_IAS) June 22, 2021
मन में खोट रखते हो, तभी तो गिनती गलत करते हो l
इस असंवेदना के लिए कौन सा विश्लेषण दें, इन्हें? pic.twitter.com/BoOHItoqZx
प्रियंका गांधी ने भी उठाये थे सवाल
ये पहला मौका नहीं है जब विपक्ष ने उत्तर प्रदेश की योगी सरकार को कोरोना से हुई मौत के आंकड़ों के मामले में घेरा है। पहले भी सरकार पर इस महामारी से हो रही मौत के मामलों को छिपाने के आरोप लगते रहे हैं। इससे पहले कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने भी कोरोना काल में योगी सरकार की कार्यशैली को लेकर सवाल खड़े किये।
कोविड से हुई मौतों के बारे में सरकार के आँकड़ों और श्मशानों-कब्रिस्तानों के आँकड़ों में इतना फर्क क्यों?
— Priyanka Gandhi Vadra (@priyankagandhi) June 8, 2021
मोदी सरकार ने आँकड़ों को जागरूकता फैलाने और कोविड वायरस के फैलाव को रोकने का साधन बनाने के बजाय प्रोपागैंडा का साधन क्यों बना दिया? #ZimmedarKaun pic.twitter.com/KQVwhqJFju
और लोगों को हो रही परेशानी और मौत पर सरकार को घेरने की कोशिश की थी। 8 जून को भी प्रियंका गांधी ने अपने ट्विटर हैंडल पर एक वीडियो पोस्ट करते हुए प्रश्न किया था कि सरकार के आंकड़ों और श्मशान और कब्रिस्तान के आंकड़ों में इतना फर्क क्यों है। यूपी सरकार और केंद्र सरकार की नीतियों पर सवाल उठाते हुए प्रियंका ने आंकड़ों को प्रोपागैंडा की तरह इस्तेमाल किये जाने की बात कही थी। साथ ही सरकार को सलाह दी थी कि इन आंकड़ों का इस्तेमाल कर सरकार कोरोना के पसार को रोके।
बीजेपी सरकार के बचे है दिन चार- सपा
सपा प्रमुख के ट्वीट से पहले समाजवादी पार्टी की ऑफिसियल ट्विटर हैंडल से भी राज्य में हुए मौत के आंकड़ों और सरकार के आंकड़ों को लेकर सवाल किये गये।
अपने कुप्रबंधन तले कोरोना से नरसंहार की जिम्मेदार BJP अपने दामन से खून के छीटें मिटाने के लिए फर्जी आंकड़ों का सहारा ले रही है, शर्मनाक!
— Samajwadi Party (@samajwadiparty) June 21, 2021
आगरा में अप्रैल,मई में नगर निगम ने जारी किए 4591 मृत्यु प्रमाण पत्र, जबकि सरकारी रिकॉर्ड में सिर्फ 243 मौतें?
क्रूर सत्ता के "दिन है बचें चार" pic.twitter.com/jAgug19Jtb
योगी सरकार को घेरते हुए पार्टी ने एक अखबार की एक खबर का हवाला दिया है, जिसमें अप्रैल और मई 2021 में आगरा में हुई मौत का सरकारी आंकड़ा महज 243 बताया गया है, जबकि नगर निगम ने 4591 मौत के प्रमाण पत्र जारी किये हैं।
किसान नेता योगेन्द्र यादव ने बताया सबसे बड़ी त्रासदी
राजनीतिकार और किसान नेता योगेन्द्र यादव भी कोरोना से हुई मौत के मामले में मुखर रहे हैं। और सरकार को इसे लेकर घेरते रहे हैं।
सबसे बड़ी त्रासदी!
— Yogendra Yadav (@_YogendraYadav) June 18, 2021
कोरोना की दूसरी लहर में देश में हुई मौत पिछले सौ वर्ष में किसी भी देश में हुई सबसे बड़ी त्रासदी बनने वाली है। मृतकों की संख्या 25 से 50 लाख तक कहीं भी पहुंच सकती है। इस त्रासदी को सरकारें रोक नहीं पाईं तो कम से कम उस पर परदा तो न डालें।https://t.co/dUmYIJHHmf
योगेन्द्र यादव ने 18 जून को किये अपने ट्वीट में कहा कोरोना की दूसरी लहर में देश में हुई मौत पिछले सौ वर्ष में किसी भी देश में हुई सबसे बड़ी त्रासदी बनने वाली है। मृतकों की संख्या 25 से 50 लाख तक कहीं भी पहुंच सकती है। इस त्रासदी को सरकारें रोक नहीं पाईं तो कम से कम उस पर परदा तो न डालें।