Begin typing your search above and press return to search.
राष्ट्रीय

Kanpur News: आधा शरीर कटने के बाद भी बिना तड़पे लेटा रहा, साले की शादी में नहीं मिली छुट्टी तो Train से कटकर दी जान

Janjwar Desk
15 Feb 2022 4:29 PM IST
kanpur news
x

(ट्रेन से कटने के बाद कुछ इस तरह लेटा रहा रेलवे कर्मचारी)

Kanpur News: ऐसा लग रहा था मानो वह पटरियों पर चुपचाप लेटा है। आवाज तक नहीं निकाली। बस आंखों से आंसू निकल रहे थे। 10 मिनट बाद धीरे-धीरे उसकी आंखें बंद हो गईं...

Kanpur News: यूपी के कानपुर (Kanpur) में एक रेलवे कर्मचारी ने ट्रेन के आगे पटरियों पर कूदकर अपनी जान दे दी। वह रेलवे में ट्रैकमैन के पद पर तैनात था। हादसे का नजारा देखने वालों ने जनज्वार को बताया कि ट्रेन के नीचे आधा शरीर कटने के बाद भी कर्मचारी बिल्कुल शांत लेटा है। ऐसा लग रहा था मानो वह पटरियों पर चुपचाप लेटा है। आवाज तक नहीं निकाली। बस आंखों से आंसू निकल रहे थे। 10 मिनट बाद धीरे-धीरे उसकी आंखें बंद हो गईं।

इस सुसाइड के पीछे की जो वजह है वह हैरान करने वाली है। मौके पर मौजूद कुछ लोग ट्रैकमैन से सुसाइड करने की वजह के बारे में पूछते भी हैं। जिसके बाद अधकटी हालत में कर्मचारी में बता रहा है कि उसे छुट्टी नहीं दी गई। उसे अपने साले की शादी में जाना था।

पनकी रेलवे स्टेशन पर किया सुसाइड

कानपुर के पनकी स्टेशन पर सुसाइड की इस घटना की सूचना पर पहुंचे GRP सिपाहियों ने ट्रैकमैन के शव को कब्जे में ले लिया। घटना की जानकारी उसके परिवार को दी। पति की मौत की जानकारी मिलते ही उसकी पत्नी बेहोश हो गई। घटना के बाद घर में कोहराम मच गया। जानकारी पर पुलिस पहुंची जांच में जुटी।

छुट्टी न मिलने पर दी जान

पड़ताल करती पुलिस

मृतक के परिजनों ने बताया कि रमेश के साले का मंगलवार को तिलक समारोह था। शादी 19 फरवरी को है। तिलक समारोह में जाने के लिए रमेश ने अपने इंचार्ज PWI चित्रेश कुमार तिवारी से छुट्‌टी मांगी थी। छुट्‌टी न मिलने की वजह से वह परेशान था। इसी परेशानी में सोमवार को रमेश ने पनकी स्टेशन पर ट्रेन के सामने कूद कर जान दे दी।

फतेहपुर का रहने वाला था

रमेश यादव रेलवे में ट्रैकमैन के पद पर पनकी स्टेशन पर ही कार्यरत था। वह फजलगंज स्थित तेजाब मिल रेलवे कॉलोनी में रहता था। रमेश के साथ उसकी पत्नी और 5 साल का बेटा भी यहीं रह रहे थे। रमेश मूल रूप से भटपुरवा फतेहपुर का रहने वाला बताया जा रहा है।

पिता की जगह मिली थी नौकरी

ट्रैकमैन रमेश यादव के दोस्तों ने बताया कि 2014 में उसे अपने पिता धर्मपाल यादव के स्थान पर नौकरी मिली थी। इसके बाद से ही वह फतेहपुर से अपने पत्नी व बेटे को लेकर तेजाब मिल रेलवे कॉलोनी में रह रहा था। परिजनों ने बताया कि रमेश के ससुर रामचंद्र यादव भी रेलवे में थे।

कटने के बाद इसलिए नहीं हुआ दर्द

ट्रेन से आधा शरीर कट जाने के बावजूद रमेश को दर्द नहीं होने का कारण एक्सपर्ट्स ज्यादा खून बहने को मान रहे हैं। कानपुर की CSJM यूनिवर्सिटी के हेल्थ साइंस डिपार्टमेंट के डायरेक्टर डॉ. प्रवीण कटियार ने बताया कि कई बार ज्यादा खून बहने से शरीर के अंग सुन्न पड़ जाते हैं और दर्द खत्म हो जाता है। इसके अलावा कोई कितना दर्द बर्दाश्त कर सकता है, यह इस पर भी निर्भर करता है।

धरने पर बैठे नाराज कर्मचारी

धरने पर कर्मचारी

घटना से नाराज रेलवे कर्मचारी अनिश्तिकालीन धरने पर बैठ गए हैं। कर्मचारी सीके तिवारी और अजय तिवारी को हटाने की मांग पर अड़े हुए हैं। वहीं कानपुर, आगरा और झांसी मंडल के रेलवे कर्मचारियों ने प्रदर्शन को समर्थन दिया है। कर्मचारियों का कहना है कि जब तक दोनों अधिकारियों को यहां से नहीं हटाया जाएगा वे कार्य बहिष्कार जारी रखेंगे। मौके पर पहुंचे सीटीएम हिमांशु उपाध्याय ने धरना समाप्त कराने का प्रयास किया, लेकिन कर्मचारी नहीं माने।

Next Story

विविध