Champawat By Election: चम्पावत उपचुनाव की मतगणना से एक दिन पहले ही कांग्रेस प्रत्याशी ने हार स्वीकार की, कार्यकर्ताओं से लेकर पार्टी पर लगा दिए यह आरोप

Champawat By Election: उत्तराखंड की चम्पावत विधानसभा के लिए हुए उपचुनाव के नतीजों के बारे में भले ही स्थिति साफ हो, लेकिन मतगणना से एक दिन पहले ही कांग्रेस प्रत्याशी ने अपनी पराजय को स्वीकारने वाले अंदाज में कार्यकर्ताओं व पार्टी नेताओं पर गंभीर आरोप लगाए।
चम्पावत विधानसभा सीट में संपन्न हुए उपचुनाव के बाद तथा चुनावी मतगणना से पूर्व एक समाचार एजेंसी को दिए गए साक्षात्कार में कांग्रेस प्रत्याशी निर्मला गहतोड़ी ने पार्टी कार्यकर्ताओं से लेकर पार्टी के वरिष्ठ नेताओं तक पर अपनी खार उतारी। चंपावत उपचुनाव प्रचार शुरू होने से मतदान निपटने तक कांग्रेस के 90 प्रतिशत वरिष्ठ कार्यकर्ता नदारद बताते हुए कांग्रेस प्रत्याशी ने बताया कि इसके लिए सबने कई बहाने बनाए। कांग्रेस प्रत्याशी निर्मला गहतोड़ी ने कहा कि चुनाव के नतीजे पर उन्हें किसी प्रकार का कोई संशय नहीं है, लेकिन हार पर भी वह संघर्ष से डिगेंगी नहीं।
राज्य के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के खिलाफ चुनावी समर में उतरी कांग्रेस प्रत्याशी निर्मला गहतोड़ी ने चुनावी कैंपेन की बाबत दिल खोलते हुए बताया कि मेरे पास बस 137 साल पुरानी भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस का चुनाव निशान था। यही मेरी अकेली पूंजी थी। इसके अलावा सब कुछ एकला चलो की तर्ज पर मुझे ही मैनेज करना पड़ा। बाकी चुनाव अभियान तो छोड़िए, पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत की चुनावी सभा की व्यवस्था भी मुझे ही अपने स्तर से करनी पड़ी। चुनाव प्रचार शुरू होने से मतदान निपटने तक कांग्रेस के 90 प्रतिशत वरिष्ठ कार्यकर्ता नदारद थे। इसके लए सबने कई बहाने बनाए। गहतोड़ी के अनुसार उनके चुनाव की बेहद कमजोर स्थिति को देखते हुए खुद उन्हें मैदान से हटाने के लिए प्रलोभन दिए गए लेकिन वह मैदान में डटीं रहीं।
महिला एवं बाल विकास बोर्ड की पूर्व अध्यक्ष व चम्पावत की पूर्व जिलाध्यक्ष रही कांग्रेस प्रत्याशी निर्मला गहतोड़ी के अनुसार संगठन से लेकर कई वरिष्ठ और जिम्मेदार नेताओं का उन्हें चुनाव में अपेक्षित सहयोग नहीं मिला। फरवरी में हुए आम चुनाव में टिकट के लिए आवेदन करने वाले कई नेता भी कांग्रेस से अलग हो गए थे। पार्टी के ज्यादातर पदाधिकारी-कार्यकर्ता उपचुनाव से पहले ही भाजपा में चले गए थे। बाकी बचे कार्यकर्ताओं में से भी 90 प्रतिशत कार्यकर्ता जनता के बीच नहीं गए।
श्रीमती गहतोड़ी ने कहा वरिष्ठ नेताओं के मना करने के बाद उन्होंने आसन्न पराजय को देखते हुए भी पार्टी की खातिर इस चुनाव में उतरने पर रजामंदी जताई। लेकिन चुनाव में मेरे साथ धोखा हुआ। गहतोड़ी ने कहा कि इन बिंदुओं को पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष सोनिया गांधी तक पहुंचाया जायेगा।
कांग्रेस प्रत्याशी निर्मला गहतोड़ी ने कहा कि चुनाव के नतीजे पर उन्हें कोई संशय नहीं है। लेकिन हार कर भी वह संघर्ष से डिगेंगी नहीं। उनका मुकाबला सीएम से था। इसीलिए उनसे कई वोटरों ने कहा कि इस बार नहीं, वर्ष 2027 में वे उन्हें वोट देंगे। उन्होंने कहा कि अगर 2021 में सल्ट में हुए उपचुनाव की तरह स्थानीय संगठन ने साथ दिया होता तो ये मुकाबला एकतरफा नहीं होता।
