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राजनीति

नीतीश फिर मारेंगे पलटी पर जीतनराम मांझी बोले - बिहार के हित में फैसला लेंगे तो करूंगा स्वागत

Janjwar Desk
22 Oct 2022 11:05 AM GMT
Sushil Modi and Jitanram Manjhi
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सुशील मोदी बोले - जीतन राम मांझी वरिष्ठ नेता हैं। 

नीतीश कुमार ( Nitish Kumar ) के लिए एक बार फिर पलटी मारना आसान नहीं है। वो अपने पीएम की मुहिम को बहुत आगे बढ़ा चुके हैं। पीछे हटने पर नुकसान ज्यादा हो सकता है।

पटना। बिहार में भाजपा नेताओं की अड़ंगेबाजी से परेशान होकर जेडीयू प्रमुख नीतीश कुमार ( Nitish Kumar ) ने अगस्त में महागढ़बंधन की सरकार तो बना ली, लेकिन यहां आने के बाद से वो पहले से ज्यादा उलझ गए हैं। हालात ये हैं कि नीतीश कुमार खुद से फैसला नहीं ले पा रहे हैं कि क्या करें, और क्या नहीं?

आगे कुआं पीछे खाई की सियासी स्थिति में फंसे नीतीश कुमार ( Nitish Kumar ) को लेकर बिहार की राजनीति में तरह-तरह की बातें की जा रही हैं। माना जा रहा हे कि वो एक बार फिर पलटी मार सकते हैं, लेकिन उनके ऐसा करना उतना आसान नहीं है। ऐसा इसलिए कि वो पीएम बनने की मुहिम को बहुत आगे बढ़ा चुके हैं। पीछे हटने पर उनको और भी ज्यादा नुकसान हो सकता है। एक तो ये कि जो लोग उन्हें पलटूराम कहते हैं वो साबित करने की स्थिति में होंगे कि देख लिया, नीतीश अपनी फितरत से बाज नहीं आते। उन पर भरोसा करना खुद को धोखा देने के बराबर है।

इस बीच बिहार पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी ( Jitanram manjhi ) ने मीडिया की ओर यह पूछे जाने पर कि क्या नीतीश फिर पलटी मारेंगे, उन्होंने कहा कि राज्य के हित में सीएम नीतीश कुमार अगर सत्ता फिर से बदलने का फैसला लेते हैं तो हम उसका स्वागत करेंगे। उन्होंने पीके के दावे पर अपनी बात रखी, जिसमें नीतीश कुमार के भाजपा से मिले होने की बात कही गई है।

मांझी ( Jitanram manjhi ) ने कहा कि राजनीतिक में कोई 2 जोड़ 2 चार ही नहीं होता। 2 जोड़ 2 छह और 2 जोड़ 2 बराबर 2 भी होता है। राजनीति में अभी जो परिस्थिति चल रही है उसमें नीतीश कुमार कोई दिक्कत समझते हैं तो इधर उधर की बात कर सकते हैं। सत्ता बदलने की बात कर सकते हैं। पूर्व सीएम मांझी ने महामाया बाबू का उदाहरण देते हुए कहा कि उन्होंने ने भी पाला बदला था। महामाया बाबू ने पाला बदले जाने पर कहा था कि जनहित में अगर सौ बार भी पाला बदलना पड़ेगा तो बदलूंगा। हालांकि, उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार ने ऐसी बात नहीं कहीं है। वे इसे नकार रहे हैं।

बता दें कि चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर ने तीन दिन पहले दावा करते हुए कहा था कि सीएम नीतीश कुमार ( Nitish Kumar ) ने जेडीयू सांसद और राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश के जरिए भाजपा के साथ संवाद के लिए एक रास्ता खुला रखा है। प्रशांत किशोर ने कहा है कि नीतीश कुमार भाजपा के संपर्क में हैं और अगर स्थिति की मांग हुई तो वह फिर से उस पार्टी के साथ गठजोड़ कर सकते हैं। इस पर एक दिन पहले नीतीश कुमार पीके की टिप्पणी को खारिज करते हुए कहा था कि वो युवा हैं, कुछ भी कह सकते हैं। मैंने उन्हें सम्मान दिया उन्होंने मेरा अपमान किया।

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