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राजनीति

Who is Karnataka Minister Eshwarappa : कौन हैं मंत्री केएस ईश्वरप्पा, जिन पर लगा है संगीन आरोप, अब इस्तीफे से भी नहीं बनेगी बात

Janjwar Desk
13 April 2022 1:08 PM IST
Who is Karnataka Minister Eshwarappa : कौन हैं मंत्री केएस ईश्वरप्पा, जिन पर लगा है संगीन आरोप, अब इस्तीफे से भी नहीं बनेगी बात
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Who is Karnataka Minister Eshwarappa : भाजपा सरकार पर येदियुरप्पा के बाद एक बार फिर भ्रष्टाचार का आरोप लगा है। यह आरोप ऐसा है जिससे बचकर बाहर निकला भाजपा लिए भी आसान नहीं होगा।

Who is Karnataka Minister Eshwarappa : कर्नाटक के ठेकेदार संतोष पाटिल ( Contractor Santosh patil Suicide Case ) द्वारा आत्महत्या करने के बाद से सबसे ज्यादा चर्चा में बासवराज बोम्मई मंत्रिमंडल में शामिल पंचायती राज मंत्री केएस ईश्वरप्पा ( KS Eshwarappa ) हैं। पाटिल ने अपने सुसाइड नोट में आत्महत्या के लिए उन्हें साफ शब्दों में जिम्मेदार ठहराया है। इस घटना के बाद से कर्नाटक में सियासी भूचाल की स्थिति है। भाजपा सरकार पर येदियुरप्पा के बाद एक बार फिर भ्रष्टाचार का आरोप लगा है। यह आरोप ऐसा है जिससे बचकर बाहर निकला भाजपा लिए भी आसान नहीं होगा।

फिलहाल, इस मामले में मंत्री केएस ईश्वरप्पा ( KS Eshwarappa ) के खिलाफ आत्महत्या ( Suicide ) के लिए उक्साने यानि आईपीसी की धारा 306 के तहत मामला दर्ज ( FIR ) कर लिया गया है। ताजा अपडेट यह है कि उन्होंने इस्तीफे देने के संकेत भी दिए हैं। इसके बावजूद उनका बचना मुश्किल है।

Who is Karnataka Minister KS Eshwarappa ?

येदियुरप्पा को किया था सीएम पद छोड़ने के लिए मजबूर

बसवराज बोम्मई ( CM basavraj Bommai ) सरकार में मंत्री केएस ईश्वरप्पा की गिनती कर्नाटक में बड़े भाजपा ( BJP ) नेताओं में होती है। ईश्वरप्पा अभी कर्नाटक सरकार में ग्रामीण विकास और पंचायती राज मंत्री हैं। ईश्वरप्पा वही नेता हैं, जिन्होंने पिछले साल कर्नाटक के तब के सीएम बीएस येदियुरप्पा पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाए थे। आलाकमान से येदियुरप्पा को हटाने की मांग भी की थी। साथ ही कहा था कि येदियुरप्पा मुख्यमंत्री रहे तो अगला चुनाव जीतना मुश्किल हो जाएगा। इसके बाद ईश्वरप्पा के साथ बाकी और विधायक भी जुड़ गए और आखिरकार येदियुरप्पा को हटना पड़ा।

डिप्टी सीएम भी रह चुके हें ईश्वरप्पा

चौंकाने वाली बात यह है कि एक साल पहले भ्रष्टाचार के मुद्दे पर येदियुरप्पा को घेरने वाले ईश्वरप्पा अब खुद कमीशन मांगने के आरोपों और ठेकेदार की सुसाइड के मामले में घिर गए हैं। शिमोगा जिले से आने वाले ईश्वरप्पा कर्नाटक भाजपा के कद्दावर नेताओं में से एक हैं। वह कर्नाटक के डिप्टी सीएम भी रह चुके हैं।

इमरजेंसी के दौरान खा चुके हैं है जेल की हवा

पूर्व पीएम इंदिरा गांधी के कार्यकाल के दौरान 25 जून 1975 से 21 मार्च 1977 तक देश में आपातकाल लागू रहा। इस दौरान ईश्वरप्पा जेल भी गए। इमरजेंसी खत्म होने के बाद जब उन्हें रिहा किया गया तो वो राजनीति में आ गए। 1982 में भाजपा ने उन्हें शिवमोगा का जिला अध्यक्ष बनाया।

RSS से है उनका नाता

10 जून 1948 को ईश्वरप्पा का जन्म कर्नाटक के बेल्लारी जिले में हुआ था। 1950 के दशक में उनका परिवार बेल्लारी से शिवमोगा आ गया। उनके पिता एक मंडी में दिहाड़ी मजदूरी का काम किया करते थे। परिवार की आर्थिक तंगी को देखते हुए ईश्वरप्पा ने भी काम में हाथ बंटाना शुरू कर दिया। उनकी मां ने इसका विरोध किया था। उनकी मां ने उन्हें काम की बजाय पढ़ाई पर ध्यान देने को कहा था। छात्र जीवन में ईश्वरप्पा राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) से जुड़ गए। शिमोगा में कॉलेज की पढ़ाई करते हुए वो अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (ABVP) में एक्टिव रहे। ग्रेजुएशन करने के बाद ईश्वरप्पा ने अपना खुद का कारोबार भी शुरू किया।

5 बार के विधायक, डिप्टी सीएम भी रहे

साल 1989 के विधानसभा चुनाव में भाजपा ने उन्हें शिमोगा से उतारा। इस चुनाव में उन्होंने तब के स्वास्थ्य मंत्री एचएस श्रीनिवास को 1,304 वोटों से हराया था। खुद पहली बार विधानसभा पहुंचे। 1992 में भाजपा ने उन्हें कर्नाटक का प्रदेश अध्यक्ष नियुक्त किया। ईश्वरप्पा शिमोगा से 5 बार के विधायक रह चुके हैं। 2006-07 में जब कर्नाटक में भाजपा और जनता दल (सेक्युलर) की साझा सरकार बनी, तो उन्हें मंत्री बनाया गया। 2008 में राज्य में भाजपा की जीत के बाद बीएस येदियुरप्पा की सरकार में बिजली मंत्री बनाए गए। 2012 से 2013 में जगदीश शेट्टार की सरकार में डिप्टी सीएम बने।

साल 2013 के विधानसभा चुनाव में ईश्वरप्पा हार गए। 2014 में भाजपा ने उन्हें विधान परिषद भेजा। 2018 में ईश्वरप्पा ने फिर शिमोगा से चुनाव लड़ा और इस बार जीत हासिल की। जुलाई 2019 में एचडी कुमारस्वामी की सरकार गिरने के बाद भाजपा सत्ता में आ गई। येदियुरप्पा सरकार में पहले राज्य मंत्री और बाद में कैबिनेट मंत्री बनाए गए।

अब ठेकेदार संतोष पाटिल सुसाइट केस में उनका हाथ सामने आया है। पाटिल ने सुसाइड नोट में ईश्वरप्पा को जिम्मेदार ठहराया है। चार करोड़ के एक ठेके में 40 फीसदी कमीशन की मांग की। पाटिल के भाई प्रशांत की शिकायत पर मंत्री केएस ईश्वरप्पा के खिलाफ पुलिस ने केस भी दर्ज कर लिया है। विपक्ष में उन्हें गिरफ्तार करने की मांग की है। इस बात की संभावना है कि सीएम बासवराज बोम्मई उनसे इस्फीफा देने को कहें।

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