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अंधविश्वास : समय पर इलाज न मिलने से महिला की गई जान, सांप के काटने पर परिजन कराते रहे झाड़-फूंक
समय पर इलाज न मिलने से महिला की गई जान, सांप के काटने पर परिजन कराते रहे झाड़-फूंक
21वीं सदी आ गई है परंतु आज भी लोग भुत-प्रेत, तंत्र मंत्र जैसी चीजों पर विश्वास करते हैं। हमारे देश में स्वास्थ्य व्यवस्थाएं चाहे जितनी भी बेहतर हो गई हो, लेकिन आज भी बहुत से लोग ऐसे हैं जो, डॉक्टर्स की जगह तांत्रिकों पर ज्यादा विश्वास करते हैं, जिसके कारण वह खुद को तो हानि पहुंचाते ही हैं साथ के साथ दूसरों की भी दुर्गति कर देते हैं। ऐसा ही एक अंधविश्वास का हैरान कर देने वाला मामला बिहार नालंदा जिले से सामने आया है। यह मामला सिलाव थाना क्षेत्र के गणेश बगीचा का है, जहां एक महिला को सांप ने कांट लिया इलाज की बजाय उसे झाड़ फूंक कराने के लिए ले जाया गया, जिसके कारण उसकी मौत हो गई।
अस्पताल ले जाने की बजाय लिया झाड़ फूंक का सहारा
मृतक महिला की पहचान सुंदर मांझी की पत्नी कोसमी देवी के रूप में हुई है। एक तरफ जहां विज्ञान नए-नए अविष्कार करके लोगों के जीवन को आसान बनाने का निरंतर प्रयास कर रहा है। वहीं दूसरी ओर नालंदा में अंधविश्वास ने एक महिला की जान ले ली। परिजनों ने शर्पदंश की शिकार महिला को इलाज के लिए अस्पताल ले जाने की बजाय मनसा माता के मंदिर के पास झाड फूंक कराने में समय नष्ट कर दिया जिसके कारण महिला की मौत हो गई।
अस्पताल में सांप काटने वाले मरीज का होता है मुफ्त इलाज
अगर शर्पदंश की शिकार महिला को समय रहते इलाज के लिए अस्पताल ले जाया जाता तो उसकी जान बच सकती थी। गौरतलब है कि अस्पताल में सांप काटने वाले मरीज का मुफ्त में उपचार होता है। अब तक दर्जनों मरीजों को अस्पताल से इलाज कराकर उन्हें सुरक्षित घर भेजा गया है फिर भी लौग अंधविश्वास के चक्कर में पड़कर अपनी जान गंवा रहे है। लोग तुरंत डॉक्टर्स के पास जाने की जगह झाड़ फूंक कराने में अपना समय व्यर्थ कर देते हैं और बाद में इसकी भरी कीमत उन्हें चुकानी पड़ती है।