Pilibhit Crime News : 6 दिन बाद भी बच्ची के गुनहगारों को नहीं दबोच सकी पुलिस, पिट रहे सैंकड़ों बेकसूरों के लिए छाती पीटती रहीं महिलाएं!
(पीलीभीत में पुलिसिया उत्पीड़ने के खिलाफ प्रदर्शन करते लोग image/janjwar)
निर्मलकान्त शुक्ल की रिपोर्ट
Pilibhit News : उत्तर प्रदेश के पीलीभीत स्थित बरखेड़ा (Barkheda) थाना क्षेत्र में हुए गैंगरेप और हत्याकांड को अंजाम देकर फरार हुए दरिंदों का 6 दिन बाद पुलिस सुराग लगा पाने में नाकाम रही। बल्कि पुलिस द्वारा क्षेत्रीय बेकसूरों की बेरहमी से जमकर ठुकाई-पिटाई किए जाने से पब्लिक अलग भड़क गई। जनपद में पुलिसिया ज्यादती के शिकार पकड़े गए बेकसूर लोगों के परिवार की महिलाओं ने रो-रोकर छाती पीटते हुए सड़कों पर उतर प्रदर्शन किया है।
गौरतलब है कि, पीलीभीत में एक छात्रा की गैंगरेप के बाद बेरहमी से हत्या कर दी गई थी। मामले में पुलिस हर रोज दर्जनों युवकों को पकड़ रही है और उनकी जमकर ठुकाई भी की जा रही है। अपर पुलिस महानिदेशक बरेली जोन अविनाश चंद्र भी यह स्वीकारते हैं कि दर्जनों लोगों को पकड़ा गया लेकिन जिनसे कुछ भी सुराग नहीं मिला, उनको छोड़ दिया गया।
कहा जा रहा कि, जिन बेकसूर युवकों को कसूरवार मानकर पुलिस थाने लाई थी, बाद में उनकी हालत देखकर परिवार के लोग सन्न रह गए। उन युवकों ने पुलिस की हिरासत में रहने के दौरान जो प्रताड़ना सही, उसको सुनकर लोगों के रोंगटे खड़े हो रहे हैं। पुलिस की इस ज्यादती को लेकर इन युवकों के परिवार वाले और नाते रिश्तेदार भड़के हुे हैं।
जबरन जुर्म कबूल करवा रही पुलिस
भड़के परिजनों ने पुलिस के खिलाफ सड़कों पर उतरकर जमकर नारेबाजी की। आरोप लगाया कि पुलिस मारपीट कर अब जबरन फर्जी जुर्म कुबूल कराने पर आमादा है। सड़कों पर उतरकर आंदोलन कर रही महिलाओं का कहना था कि 4-5 दिन से उनके पति थाने में पुलिस की हिरासत में है। घर में चूल्हा नहीं जल रहा है। अकेला कमाने वाला व्यक्ति पुलिस की प्रताड़ना सह रहा है। महिला ने बताया कि, पति थाने में भूखे प्यासे बैठे हैं। जब जुर्म किया नहीं तो जबरदस्ती कैसे कबूल कर लें। आंदोलनकारी महिलाओं ने यहां तक आरोप लगाया कि पुलिस एक बार छात्रा के परिवार के लोगों से क्यों नहीं सख्ती के साथ पूछताछ करती है?
महिलाओं ने किया विरोध
सड़कों पर जाम लगाने की सूचना मिलते ही बरखेड़ा थाने का सारा फोर्स मौके पर पहुंचा और महिलाओं को समझाने बुझाने का प्रयास किया। बमुश्किल महिलाओं और तमाम युवकों का गुस्सा जाकर शांत हुआ, तब जाम खुल सका। आंदोलनकारी महिलाओं ने पुलिस वालों को जमकर खरी-खोटी सुनाई। छात्रा गैंग रेप हत्याकांड को 6 दिन बीत चुके हैं लेकिन पुलिस के हाथ खाली के खाली है।
तमाम टीमों के बावजूद खाली पुलिस के हाथ
यह स्थिति तब है, जब पूरे बरेली जोन की पुलिस को अपर पुलिस महानिदेशक अविनाश चंद्र ने इस कांड के खुलासे में लगा रखा है। 5 दिन बाद इस पूरे मामले का ठीकरा अधिकारियों ने बरखेड़ा थाने के इंस्पेक्टर धीरज सिंह सोलंकी और जिरौनिया पुलिस चौकी के प्रभारी सतवंत सिंह पर फोड़ दिया और दोनों को निलंबित कर दिया लेकिन योगी की ठोको पुलिस अब तमाम सवालों से घिरती जा रही है। जैसे जैसे समय बीत रहा है, वैसे वैसे इस चर्चित हत्याकांड के खुलासे की संभावनाएं भी क्षीण होती जा रही है।
यह था मामला
पीलीभीत के बरखेड़ा में घर से कोचिंग में पढ़ने के लिए निकली थानाक्षेत्र के ग्राम डांडिया राझे की एक छात्रा को 13 नवंबर को दरिंदों ने रास्ते से अगवा कर लिया था। दरिंदों ने छात्रा से सामूहिक दुष्कर्म करने के बाद उसे मौत के घाट उतार दिया था। बाद में उसका शव गन्ने के खेत में फेंक दिया था। दुष्कर्म के दौरान दरिंदों ने बीयर पार्टी करके जश्न भी मनाया था। गांव से 500 मीटर की दूरी पर नग्न अवस्था में गन्ने के खेत में उसका शव पड़ा मिला था। शरीर पर गंभीर चोटों के निशान थे और मुंह में कपड़ा घुसा हुआ था।