DM ने मांगी 10 लाख की घूस तो परेशान होकर अम्बाला के व्यापारी ने किया सुसाइड, व्यापार मंडल ने की CBI जांच की मांग
अम्बाला। अम्बाला सिटी अनाज मंडी के आढ़ती मदनलाल जिंदल ने सोमवार 5 अक्टूबर की सुबह अपनी आढ़त की दुकान में फंदा लगाकर जान दे दी। जिंदल के पास से एक पेज का सुसाइड नोट मिला है, जिसमें उसनने अपनी मौत का जिम्मेदार हैफेड के डीएम (जिला प्रबंधक) विकास देसवाल को ठहराया है। जिंदल के बेटे शुभम की शिकायत पर विकास देसवाल के खिलाफ आत्महत्या के लिए मजबूर करने का केस दर्ज किया गया है।
मूलरूप से कुरुक्षेत्र के इस्माइलाबाद के रहने वाले मदनलाल जिंदल करीब 20 साल से अम्बाला सिटी के सेक्टर-8 में रह रहे थे। परिजनों का कहना है कि करीब चार साल पहले राइस मिल खोली थी और मिल चलाने के लिए हर साल हैफेड डीएम से परमिशन लेनी होती है। कोरोना लॉकडाउन में पहले ही धंधा चौपट हो गया था और अब इतना वक्त बीत जाने के बावजूद डीएम मिल चलाने की अनुमति नहीं दे रहे थे जिसके कारण जिंदल बहुत परेशान थे।
इस मामले में जिंदल के बड़े भाई सुभाष जिंदल ने आरोप लगाया कि डीएम मिल शुरू करने के लिए रिश्वत मांग रहे थे। इसी वजह से मदन जिंदल परेशान थे।
इस मामले में उद्योग व्यापार मंडल के अध्यक्ष तथा आप प्रवक्ता विमल किशोर और महासचिव अनिल गुप्ता ने कहा कि हरियाणा में भ्रष्टाचार चरम सीमा पर है। व्यापारियों को परेशान किया जा रहा है उत्पीड़न किया जा रहा है, जिसका ताजा उदाहरण अंबाल शहर की अनाजमंडी में कल सुबह करीब 11.30 बजे शुभम ट्रैडर्स के नाम से आढ़त मालिक आढ़ती मदनलाल द्वारा सुसाइड कर लिया था,और उन्होंने एक सुसाईड नोट लिखा, जिसमें हैफेड डीएम को अपनी मौत कारण बताया है। इस मामले में हैफेड डीएम के खिलाफ पुलिस ने मृतक मदनलाल के बेटे शुभम की शिकायत पर धारा 306 के तहत केस दर्ज कर लिया है, जिसके बाद सिटी थाना पुलिस मामले की जांच में जुट गई है।
व्यापारी के बेटे शुभम ने पुलिस को दिए बयान में कहा कि उनके पिता कुछ समय से परेशान थे और वह कहते थे कि डीएम हैफेड विकास देशवाल सैलर चलाने की परमिशन नहीं दे रहे हैं और डीएम 10 लाख रिश्वत की मांग कर रहे हैं। डीएम द्वारा नाजायज तौर पर तंग करने के कारण मेरे पिता ने सुसाइड कर लिया।
उद्योग व्यापार मंडल के अध्यक्ष विमल किशोर तथा महासचिव अनिल गुप्ता ने मांग की कि हैफेड डीएम राजीव देशवाल को तुरंत गिरफ्तार किया जाए तथा इस मामले की CBI जाँच हो और मृतक के परिवार को 50 लाख का मुआवजा ओर परिवार से एक व्यक्ति को सरकारी नौकरी दी जाए।